headline
stringlengths 4
3.02k
| article
stringlengths 3
125k
|
---|---|
CBDT की सफाई- आयकर विभाग नहीं कर रहा सोशल मीडिया की निगरानी | अकसर ऐसी खबरें आती रहती हैं कि आयकर अधिकारी आपके सोशल मीडिया अकाउंट की जासूसी कर रहे हैं. लेकिन अब इन खबरों को केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) ने सिरे से खारिज कर दिया है. सीबीडीटी के चेयरमैन पीसी मोदी ने कहा, ''अगर आपको लगता है कि आयकर अधिकारी आपकी अघोषित आय की जांच के लिए सोशल मीडिया पोस्ट की जासूसी करते हैं, उनके विदेशों में घूमने और महंगी खरीदारी की फोटो पर निगरानी रखते हैं, तो यह गलत धारणा है.''
पीसी मोदी के मुताबिक आयकर विभाग को इस तरह के तौर-तरीके अपनाने की जरूरत नहीं है. उन्होंने आगे कहा कि विभाग के पास बड़े लेनदेन से जुड़े आंकड़े विभिन्न एजेंसियों के जरिए आते हैं. आयकर विभाग के पास आंकड़ों का विश्लेषण करने की एक सुदृढ़ व्यवस्था है. इस वजह से ऐसे लेनदेन के स्रोत और जगह की जानकारी उसे मिल जाती है.
दरअसल, सीबीडीटी चेयरमैन से पूछा गया था कि क्या आयकर अधिकारी या आयकर विभाग लोगों के फेसबुक, ट्विटर, इंस्टाग्राम या अन्य सोशल मीडिया हैंडल पर निगरानी रखते हैं. इसी का जवाब देते हुए सीबीडीटी चेयरमैन ने ये बातें कहीं. बता दें कि सीबीडीटी आयकर विभाग के लिए नीतियां बनाने वाला शीर्ष निकाय है.
प्री-फिल्ड आईटीआर से होगी आसानी
सीबीडीटी प्रमुख ने इसके साथ ही यह भी बताया कि आयकर विभाग जल्द ही प्री-फिल्ड आईटीआर उपलब्ध कराएगा. इसके जरिए आयकर रिटर्न भरना आसान हो जाएगा. बता दें कि आम बजट पेश करते हुए वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने प्री-फिल्ड आईटीआर का जिक्र किया था. इस फॉर्म में आयकर रिटर्न भरने वाले आयकरदाताओं की प्री-लोडेड डिटेल होगी. इसमें संशोधन का विकल्प दिया जाएगा. मतलब यह कि अगर आप प्री-लोडेड फॉर्म में दिए गए आंकड़ों से इत्तेफाक नहीं रखते हैं तो बदलाव कर सकते हैं. |
एजेंडा आजतक: जब एजेंडा एक तो दूरियां कैसी? | इसे नेताओं की अदा कहें या राजनीति की मजबूरी कि जो घोषणाएं पार्टियों के मंच से होनी चाहिए, उनके लिए एजेंडा-आजतक नेताओं को ज्यादा रास आया. एजेंडा के दूसरे दिन के पहले सत्र का आगाज करते हुए भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष नितिन गडकरी ने फरमाया, ''मैं बीजेपी के अध्यक्ष की हैसियत से, पूरी जिम्मेदारी से बोलता हूं कि लोकसभा चुनाव के पहले पार्टी अपना नेता घोषित नहीं करेगी. '' दूसरी तरफ पूर्व क्रिकेटर और पाकिस्तान की तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी के अध्यक्ष इमरान खान ने विदेश नीति जैसे संवदेनशील मुद्दे पर न सिर्फ बेबाकी से राय जाहिर की बल्कि यहां तक कह दिया कि अगले चुनाव में अगर उनकी पार्टी की सरकार आई तो पाकिस्तान की धरती का इस्तेमाल भारत के खिलाफ आतंकवाद के लिए नहीं करने देंगे.
यही नहीं, इसी पड़ाव पर देश के गृह मंत्री सुशील कुमार शिंदे ने कसाब की फांसी के लिए चलाए गए ऑपरेशन एक्स के राज खोले और अफजल गुरु और दाउद इब्राहिम को लेकर सरकार की रणनीति का भी खुलासा किया.
इतनी वजनदार घोषणाओं से अगर आपको लगता है कि एजेंडा-आजतक राजनीति के गूढ़ चिंतन का ही प्लेटफॉर्म है तो थोड़ा रुक जाइए. जब 'धक-धक गर्ल' माधुरी दीक्षित मंच पर आईं तो शायर जावेद अख्तर ने पहली बार यह राज फाश किया कि 'एक लड़की को देखा तो ऐसा लगा' गाना असल में माधुरी के लिए लिखा गया था, बाद में न जाने कहां से मनीषा कोइराला वहां आ गईं. अभिनेत्री काजोल की चहकती मुस्कान और आमिर खान के दिल की हसरतों का गवाह भी यह मंच बना.
इसी मंच पर बाबा रामदेव और कांग्रेस नेता संजय निरुपम के बीच हाथापाई के अलावा बाकी सब कुछ हुआ और भर पेट झगड़े के बाद दोनों ने एक-दूसरे को नमन भी किया. और जब एजेंडे के सत्र 'भारत-पाकिस्तान क्रिकेट: मैच या महायुद्ध? ' में कपिल देव, मोहम्मद अजहरुद्दीन, सौरव गांगुली, वकार युनूस और वसीम अकरम यानी एक साथ दोनों मुल्कों के पांच कप्तान नमूदार हुए तो आयोजन हॉल से लेकर फेसबुक और ट्विटर तक सवालों की जैसे झड़ी लग गई.
एजेंडे के ही सत्र 'छोड़ो कल की बातें' में इमरान खान ने कहा कि भारत और पाकिस्तान दोनों ही मुल्कों के राजनेता चाहते हैं कि भरोसे के आधार पर रिश्ता बने. उनका मानना था कि हर बड़े फैसले में 'रिस्क' होते हैं. 21वीं सदी के लिए नई सोच की जरूरत है. इमरान ने भरोसा दिलाया कि ''पाकिस्तान में तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी अगर सत्ता में आएगी, तो मैं अपनी धरती का इस्तेमाल भारत के खिलाफ नहीं होने दूंगा. ''
आतंकवाद का जिक्र हो और कसाब की फांसी की चर्चा न हो, कैसे मुमकिन है? गृह मंत्री सुशील कुमार शिंदे बोले, ''अगर आतंकवादी गुपचुप हमला कर सकते हैं तो हम फांसी का फैसला खामोशी से क्यों नहीं ले सकते? '' उन्होंने साफ किया कि अफजल गुरु सहित सात लोगों की फांसी की फाइल उनके पास है और उस पर मौजूदा संसद सत्र के बाद फैसला होगा.
लेकिन आतंक के साये से दूर क्रिकेट के मैदान के बारे में पूर्व कप्तान गांगुली बोले, ''पाकिस्तान के साथ मैच महायुद्ध तो नहीं लगा. हां, दबाव रहा. लेकिन इतना जरूर है कि पाकिस्तान से जीतने के बाद मजा आया. '' सौरव ने पाक मेहमाननवाजी का वह वाकया भी याद किया जब एक दुकानदार ने उनसे इसलिए उनके पसंदीदा पाकिस्तानी जूतों की कीमत लेने से मना कर दिया था क्योंकि वे उसके मेहमान थे. लेकिन कपिल ने याद दिलाया कि सौरव से पहले भारत-पाक क्रिकेट का स्वाद कुछ ज्यादा ही तीखा था. कपिल ने कहा, ''हम ऐसे दोस्ताना खेल की बात सोच ही नहीं सकते थे. तब यह लगता था कि जीतें चाहे हारें, लेकिन सामने वाले को मारकर आना है. '' वसीम अकरम की राय भी कुछ इसी तरह की थी, ''पहले दोनों देशों के बीच क्रिकेट में और ज्यादा दबाव होता था, पर अब इसे खेल की तरह देखा जाता है. '' वैसे अकरम को एक अफसोस भी है, ''मैं अपने 'प्राइम टाइम' में सचिन तेंदुलकर को कभी गेंदबाजी नहीं कर पाया. '' पांच कप्तान जब मंच से क्रिकेट पर चर्चा कर रहे थे और छठे कप्तान इमरान खान दर्शक दीर्घा से उन पर नजर रखे हुए थे तो स्लेजिंग यानी बकझक का जिक्र भी छिड़ गया. अजहर ने 1992 के विश्वकप में जावेद मियांदाद और किरण मोरे के बहुचर्चित पंगे का जिक्र किया. सवाल घूमकर इमरान तक पहुंचा कि मैच के बाद उन्होंने मियांदाद को क्या नसीहत दी? इस पर इमरान के शब्द थे, ''जब आपको पता है कि नसीहत देने का कोई मतलब ही नहीं है, तो दूसरे काम में दिमाग लगाना ज्यादा बेहतर है. ''
क्रिकेटरों के बाद मैदान संभाला मिस्टर परफेक्शनिस्ट आमिर खान ने. सत्यमेव जयते जैसे सीरियल के निर्माण के बावजूद वे खुद को सामाजिक कार्यकर्ता नहीं बल्कि 'एंटरटेनर' के तौर पर ही देखते हैं. भविष्य की योजना के बारे में खुलासा करते हुए वे बोले, ''मेरा एक सपना है कि मैं महाभारत बनाऊं. मैं कृष्ण के रोल में फिट बैठूंगा. मेरी मां भी मुझे बचपन में यही बुलाती थीं. वैसे मेरा सबसे प्रिय किरदार है कर्ण, पर मैं वो किरदार नहीं निभा पाऊंगा. ''
एजेंडा में चर्चा के दौरान माधुरी दीक्षित का कहना था कि कैमरे के पीछे भी महिलाओं का बोलबाला बढ़ रहा है और उनकी इमेज भी बदली है, जो ''सिल्वर स्क्रीन'' पर नजर आती है. फिल्म अभिनेत्री काजोल ने एजेंडा-आजतक में शिरकत करके चर्चा को और भी ज्यादा जीवंत बना दिया. काजोल ने खुलासा किया कि अगर अच्छी स्क्रिप्ट मिले तो वे शाहरुख खान के साथ काम करने को तैयार हैं.
लेकिन बाबा रामदेव सरकार के साथ चलने को तैयार नहीं. लगातार दहाड़ते आ रहे बाबा ने इस मंच पर भी कहा कि अगर कांग्रेस काला धन के मुद्दे पर सजग नहीं होती है तो परिणाम भुगतना पड़ेगा. सरकार का बचाव करते हुए संजय निरुपम ने सफाई देनी चाही कि काला धन रखने वालों के नाम उजागर करना अंतरराष्ट्रीय संधियों के खिलाफ है. वहीं बाबा रामदेव ने सवाल उठाया कि अगर अमेरिका कालेधन को अपने देश में ला सकता है तो भारत क्यों नहीं?
वैसे इस मंच से कही गर्ई लालू प्रसाद यादव की इस बात को भी दर्ज करना होगा कि बजट सत्र के बाद देश चुनाव मोड में जा सकता है. कांग्रेस के अघोषित प्रवक्ता की बात को हल्के में मत लीजिएगा, क्योंकि उनके पास सीटें भले कम हों, सियासी तजुर्बा असीमित है. |
पंजाब: फेसबुक पर हुए लाइव, फिर गोली मारकर प्रेमी जोड़े ने की खुदकुशी | संगरूर में लड़के और लड़की ने खुद को गोली मारकर की आत्महत्या
खुदकुशी से पहले लाइव वीडियो बनाकर पुलिस के लिए रिकॉर्ड किया मैसेज
पंजाब में संगरूर के गुर्जरा गांव के रहने वाले एक 25 वर्षीय नौजवान ने अपने ही गांव की रहने वाली एक लड़की के साथ आत्महत्या कर ली. दोनों ने मरने से पहले सोशल मीडिया पर अपना एक लाइव वीडियो शेयर किया. जिसमें उन्होंने संदेश दिया कि पुलिस किसी को तंग या परेशान ना करे.
साथ ही उन्होंने इस वीडियो में कहा कि वह अपनी मर्जी से ही अपनी जीवनलीला खत्म कर रहे हैं. नौजवान ने वीडियो सोशल मीडिया पर डालकर पहले लड़की को मौत के घाट उतारा और फिर खुद को गोली मार ली.
जानकारी के मुताबिक दोनों एक दूसरे से प्यार करते थे. मरने से पहले वीडियो बनाया जिसमें दोनों के चेहरे पर मौत का कोई खौफ नहीं दिख रहा था. लड़के ने घटना को अपने फार्म हाउस पर जाकर अंजाम दिया. रात करीब डेढ़ बजे, पहले फेसबुक पर वीडियो पोस्ट किया गया. इसके बाद लड़के ने लड़की को दो गोलियां मारी और फिर खुद को भी गोली मारकर आत्महत्या कर ली.
दिड़बा के डीएसपी विलियम जेजी ने बताया कि दोनों मरने वाले एक ही गांव के रहने वाले थे. लड़का 12वीं पास था जबकि लड़की बीए कर रही थी. डीएसपी विलियम जेजी ने बताया कि शुरुआती जांच में यही पाया गया है कि लड़की को कोई भयानक बीमारी थी जिस कारण दोनों ने यह कदम उठाया. |
शिवराज बने सेन्ट्रल जोन काउंसिल के उपाध्यक्ष | मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान सेन्ट्रल जोन काउंसिल के उपाध्यक्ष बनाये गये हैं. चौहान के पूर्व काउंसिल के उपाध्यक्ष छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह थे.
आधिकारिक सूत्रों के अनुसार चौहान का काउंसिल में कार्यकाल एक वर्ष का रहेगा और अगले वर्ष 3 मई 2013 को खत्म होगा.
चौहान वर्ष 2008-09 में भी इस काउंसिल के उपाध्यक्ष रहे हैं. सेन्ट्रल जोन काउंसिल में उत्तराखंड, उत्तरप्रदेश, छत्तीसगढ़ और मध्यप्रदेश राज्य है. |
PM ने 'अच्छे कपड़ों' से कसा राहुल पर तंज, कांग्रेस का पलटवार | कर्नाटक में चुनावी रैली के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी लगातार कांग्रेस पार्टी पर हमले कर रहे हैं. लेकिन इस बार उन्होंने कपड़ों के बहाने कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी पर निशाना साधा. लेकिन कांग्रेस पार्टी ने भी पीएम मोदी की पुरानी तस्वीरों के सहारे उनपर पलटवार किया है.
दरअसल, प्रधानमंत्री ने एक चुनावी सभा में कहा, 'हम कांग्रेस के अध्यक्ष के सामने नहीं बैठ सकते हैं, आप नामदार और हम कामदार हैं, हम तो अच्छे कपड़े भी नहीं पहन सकते हैं
आपके सामने कैसे बैठेंगे
'. पीएम मोदी ने तंज कसते हुए कहा, 'आप (राहुल) जिस भाषा में भी बात कर सकें, हाथ में कागज लिए बगैर कर्नाटक सरकार की उपलब्धियां ही जनता के सामने बोल दीजिए.' पीएम ने यह बयान राहुल की ओर से संसद में 15 मिनट बोलने की चुनौती के जवाब में दिया था.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर पलटवार करते हुए कांग्रेस पार्टी ने कहा, 'अब बात नामदार और कामदार नहीं, बल्कि ईमानदार की होगी'. पार्टी ने यह भी कहा कि प्रधानमंत्री मोदी राफेल, जय शाह और पीयूष गोयल के मामलों पर 'सच बोलने की हिम्मत दिखाएं'
कांग्रेस के ट्विटर हैंडल से पीएम मोदी को लेकर एक वीडियो ट्वीट किया गया. इसका कैप्शन दिया गया- 'द एम्परर्स न्यू क्लोथ'. आपको बता दें कि इस नाम की एक शॉर्ट स्टोरी है, जिसमें दो ठग एक राजा को सोने का सूट दिलाने के नाम पर बेवकूफ बना देते हैं.
The Emperor's new clothes.
#MakeOverDiaries
pic.twitter.com/ErFFlxnBoP
— Congress (@INCIndia)
May 1, 2018
वहीं, कांग्रेस की सोशल मीडिया टीम की प्रमुख राम्या ने प्रधानमंत्री मोदी की जैकेट वाली पुराने तस्वीर ट्विटर पर पोस्ट किए जाने का हवाला देते हुए कांग्रेस सांसद सुष्मिता देव ने कहा कि प्रधानमंत्री जवाब दें कि यह जैकेट 17,000 यूरो की नहीं है तो फिर इसकी कीमत क्या है?
राम्या ने इससे पहले पीएम मोदी को एक फोटो ट्वीट की थी जिसमें वो एक
ब्रांडेड जैकेट पहने हुए
हैं. इसके फोटो के साथ राम्या ने सवाल किया कि यह जैकेट खरीदने के लिए किसका क्रेडिट कार्ड इस्तेमाल किया गया है.
प्रधानमंत्री मोदी और राहुल गांधी के बीच कपड़ों को लेकर जंग पहली बार नहीं छिड़ी है. इससे पहले भी विपक्षी नेता पीएम मोदी के नाम वाले सूट से लेकर बीजेपी को 'सूट-बूट की सरकार' बताते आए हैं. वहीं राहुल गांधी ने भी एक जनसभा के दौरान जनता को अपना फटा हुआ कुर्ता दिखा दिया था. |
महिला टीचर करती थी नाबालिग छात्र से सेक्स, 10 साल की सजा | अमेरिका के इलिनॉयस से एक महिला टीचर के अपने नाबालिग छात्र से शारीरिक संबंध स्थापित करने का सनसनीखेज मामला सामने आया है. 41 वर्षीय आरोपी महिला टीचर 5 बच्चों की मां है और उसने अपना जुर्म कबूल कर लिया है. उसे 10 वर्ष जेल की सजा सुनाई गई है.
आरोपी महिला टीचर नॉर्थ बून हाईस्कूल में स्पेशल एजुकेशन की टीचर है. गार्डन प्रेयरी की रहने वाली सारा एल. मायर्स ने अपने छात्र के साथ सेक्स की बात स्वीकार कर ली है. हालांकि अभी उस पर यौन शोषण के एक अन्य आरोप में भी कोर्ट केस चल रहा है.
महिला टीचर स्पेशल एजुकेशन के अलावा मैथ भी पढ़ाती थी. हालांकि बून काउंटी के शेरिफ कार्यालय ने बताया है कि पीड़ित छात्र स्पेशल एजुकेशन का छात्र नहीं था. फॉक्स न्यूज के मुताबिक, पीड़ित छात्र अपने यौन शोषण की शिकायत करने खुद आगे आया.
पीड़ित छात्र ने बताया कि नवंबर, 2016 से ही उसके और आरोपी महिला टीचर के बीच शारीरिक संबंध रहे हैं. आरोपी महिला टीचर के खिलाफ इस केस की सुनवाई अगले साल जनवरी तक चलनी थी, लेकिन दोनों पक्षों ने इसी सप्ताह अंतिम फैसला सुनाए जाने पर सहमति दे दी.
गौरतलब है कि इसी साल अमेरिका के कैलिफोर्निया में भी गुरू-शिष्य के रिश्तों को तार-तार करता एक चौंकाने वाला मामला सामने आया था, जब एक महिला टीचर ने अपने स्टूडेंट को शराब पिलाकर जबरन उसके साथ शारीरिक संबंध बनाए थे.
इतना ही नहीं, आरोपी टीचर ने संबंध बनाए जाने के दौरान आपत्तिजनक हालत में फोटो भी खींची और उन अश्लील तस्वीरों को वायरल करने की धमकी देकर वह पीड़ित छात्र को ब्लैकमेल भी करती रही. पति से तलाक होने के बाद महिला टीचर अपनी क्लास के एक स्टूडेंट से दिल लगा बैठी.
इतना ही नहीं महिला टीचर पीड़ित छात्र पर रोज
शारीरिक संबंध बनाने का दबाव
भी बनाती. अंतत महिला टीचर के यौन शोषण से तंग आकर छात्र ने अपनी मां को पूरी बात बताई. पीड़ित छात्र की मां ने इसकी शिकायत पुलिस में की, जिसके बाद महिला टीचर को गिरफ्तार कर लिया गया. |
मोबाइल फोन के लिए डांटने पर जवान ने मेजर को मारी गोली | जम्मू-कश्मीर में तैनात एक जवान ने मोबाइल फोन के इस्तेमाल को रोकने पर अपने मेजर को गोली मार दी. रेजिमेंट में जांच के दौरान मेजर ने पाया कि जवान ड्यूटी के वक्त मोबाइल फोन पर लगा हुआ था. इस पर उन्होंने उसे डांटा और मोबाइल को जब्त कर लिया. इससे गुस्साए जवान ने इस वारदात को अंजाम दिया है. सेना पुलिस इस मामले की जांच कर रही है.
जानकारी के मुताबिक, 71 सशस्त्र रेजिमेंट में तैनात मेजर शिखर थापा 8 राष्ट्रीय राइफल्स में तैनात थे. जांच के दौरान उन्होंने देखा कि एक जवान ड्यूटी के दौरान मोबाइल फोन के साथ लगा हुआ है. उन्होंने जवान को डांटा और उसका मोबाइल फोन लेकर जब्त कर लिया. इस दौरान मोबाइल फोन नीचे गिर गया और क्षतिग्रस्त हो गया. इस जवान और मेजर में बहस हो गई.
बताया जाता है कि कश्मीर के उड़ी सेक्टर में हुई इस घटना के बाद जैसे ही मेजर आगे बढ़े गुस्साए जवान ने एके-47 से उन पर गोलियां बरसा दी. मेजर को आनन-फानन में आर्मी अस्पताल ले जाया गया. लेकिन डॉक्टरों ने उनको वहां मृत घोषित कर दिया.
सेना पुलिस
इस मामले की जांच कर रही है. विस्तृत जानकारी का इंतजार है. |
सोने से पहले करें ये 5 काम, मिनटों में आ जाएगी नींद | आजकल अधिकतर लोग नींद ना आने की समस्या से जूझ रहे हैं. नींद न आने की कई अलग-अलग वजहें हो सकती हैं. कई बार अधिक तनाव या काम के प्रेशर के चलते भी कुछ लोग ठीक से सो नहीं पाते हैं. लेकिन अगर आपको हमेशा ही सोने में दिक्कत होती है, तो इसकी वजह इनसोमनिया भी हो सकती है.
बता दें, इनसोमनिया एक ऐसी बीमारी है, जिसमें व्यक्ति को नींद नहीं आती है और पूरी रात बिस्तर पर करवटें बदलते हुए ही निकल जाती है. नींद पूरी न होने की वजह से व्यक्ति को दिनभर थकान महसूस होती है. कई लोगों को चक्कर आते हैं, मूड स्विंग होता रहता है, किसी काम में ध्यान नहीं लगता है. आपको भी अगर सोने में परेशानी होती है तो आप इन टिप्स को अपनाकर एक सुकून भरी नींद ले सकते हैं.
1. गुनगुने पानी से नहाएं-
एक लंबे थकान भरे दिन के बाद, गुनगुने पानी से नहाने से आपको सिर्फ रिलेक्स ही महसूस नहीं होता है, बल्कि नींद भी अच्छी आती है. सोने से करीब 2 घंटे पहले गुनगुने पानी से नहाएं, ताकि सोते समय आपकी बॉडी का टेंपरेचर नॉर्मल हो जाए. इससे आपको नींद अच्छी आएगी.
2. लैवेंडर का तेल-
लैवेंडर का तेल मूड को बेहतर करने और अच्छी नींद के लिए जाना जाता है. इसके लिए अपनी हथेली में लैवेंडर के तेल की कुछ बूंदें लेकर सूंघने से नींद अच्छी आती है.
3. गर्म दूध और शहद-
सदियों से गर्म दूध के साथ शहद का सेवन किया जा रहा है. गर्म दूध में शहद मिलाकर पीने से अच्छी नींद आती है. दूध में अमीनो एसिड ट्रिप्टोफैन पाया जाता है, जो नेचुरल तरीके से व्यक्ति को शांति और सुकून का एहसास कराता है.
4. हर्बल चाय-
रात को सोने से पहल हर्बल चाय पीने से कई फायदे होते हैं. इसके सेवन से शरीर को शांति मिलती है और आपको आसानी से नींद आ जाती है.
5. मैग्नीशियम-
अच्छी सेहत के लिए मैग्नीशियम मिनरल बहुत अहम होता है. ये मांसपेशियों को रिलेक्स करता है, साथ ही तनाव को भी कम करता है. कई स्टडी की रिपोर्ट में भी ये साबित हो चुका है कि मैग्नीशियम व्यक्ति की स्लिप साइकल को बेहतर करता है, जिससे नींद अच्छी आती है.
सोने से पहले ना करें ये गलतियां-
- सोने से पहले कैफिन, अल्कोहल का सेवन ना करें.
- रात के समय हमेशा हल्का खाना ही खाएं.
- रात का खाना हमेशा सोने से 2 घंटे पहले खाएं.
- सोने से पहले टीवी या मोबाइल के इस्तेमाल से बचें. |
गुजरात से विलुप्त हो जाएगी नर्मदा नदी | गुजरात में नर्मदा नदी गायब होने की कगार पर आ गई है. इसका असर नदी किनारे के गावों में दिख रहा है. मध्यप्रदेश से गुजरात में प्रवेश करने के बाद नर्मदा नदी की हालत काफी बिगड़ जाती है और वो नाले में तब्दील हो जाती है जिसे पैदल भी पार किया जा सकता है.
नर्मदा नदी पर बांध बनने से नदी का मुख्य बहाव रुक गया है. इसके चलते भरूच शहर के आस पास पानी खारा होने लगा है. नदी में पानी नहीं होने की वजह से मवेशियों को भी परेशानी होती है.
आम लोगों के लिए नर्मदा कभी लाइफलाइन हुआ करती थी. लेकिन अब नदी का ही वजूद मिटता जा रहा है तो इंसान का क्या होगा. |
BJP अध्यक्ष अमित शाह के बेटे जय शाह की आज होनी है सगाई, जुटेंगे कई दिग्गज नेता | बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह के बेटे जय शाह की आज सगाई है. अहमदाबाद के वाईएमसीए क्लाब में जय की मंगनी की जोरदार तैयारियां चल रही हैं. राजनाथ सिंह और अरुण जेटली समेत कई मंत्रियों और बीजेपी के बड़े नेताओं के पहुंचने की उम्मीद है. स्थानीय प्रशासन वीआईपी मेहमानों के स्वागत में जुटा है.
बीजेपी अध्यक्ष बनने के बाद आज अमित शाह एक और बड़ी जिम्मेदारी निभाने जा रहे हैं. अमित शाह के बेटे की रिशिता पटेल से आज सगाई है. बेटे जय शाह की सगाई वाईएमसीए क्लब में होगी. सगाई के लिए क्लब के आसपास के इलाके को चमका दिया गया है.
वाईएमसीए की ओर जाने वाली सड़क की हालत कई साल से काफी खराब थी, लेकिन उस सड़क को रातों रात चमका दिया गया है. इसके अलावा वाईएमसीए के सामने लाल रंग का मंडप भी सजा दिया गया है. इस तैयारी में कहीं कोई कोर कसर बाकी ना रह जाए, इसके लिए अहमदाबाद महानगर पालिका ने पूरा जोर लगा दिया है.
बीजेपी अध्यक्ष के बेटे की सगाई में पार्टी के कई दिग्गज नेताओं के आने की संभावना है. गृहमंत्री राजनाथ सिंह, वित्तमंत्री अरुण जेटली, सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी समेत मोदी सरकार के कई मंत्री अमित साह के बेटे की सगाई में शिरकत करेंगे. इसके अलावा पार्टी के बड़े नेताओं के भी सगाई समारोह में आने की संभावना है. गुजरात की मुख्यमंत्री आनंदी बेन पटेल के अलावा राज्य का पूरा मंत्रिमंडल इस सगाई का साक्षी बन सकता है. |
टीआरएस नेता साम्बशिवूदू की हत्या | आंध्रप्रदेश के नालगोंडा जिले में रविवार रात अज्ञात लोगों ने पूर्व माओवादी और तेलंगाना राष्ट्र समिति (
टीआरएस
) के नेता सांबशिवूदू की हत्या कर दी.
पुलिस के अनुसार सांबाशिवूदू (45) कार से नालगोंडा जिले से हैदराबाद लौट रहे थे, उसी दौरान वेलगोंडा मंडल के गोकरम गांव में 10-15 बदमाशों ने उनपर धारदार हथियारों से हमला कर दिया. इस हमले में वह गंभीर रूप से घायल हो गए थे और उन्होंने अस्पताल ले जाते समय रास्ते में दम तोड़ दिया.
नालगोंडा के पुलिस अधीक्षक राजेश कुमार ने बताया कि इस हमले में सांबशिवूदू के साथ सफर कर रहे
टीआरएस
के तीन कार्यकर्ता भी घायल हो गए. उन्हें पास के एक अस्पताल में भर्ती कराया गया है.
सांबशिवूदू पर यह हमला उस समय किया गया जब वह जिले के वेलीगोंडा मंडल स्थित संगम गांव में तेलंगाना समर्थक सांस्कृतिक कार्यक्रम ‘तेलंगाना धूमधाम’ में हिस्सा लेकर हैदराबाद लौट रहे थे.
साम्बशिवूदू का मूल नाम कोनापुरी इलैयाह था और वर्ष 2009 में खराब स्वास्थ्य के कारण आत्मसमर्पण करने से पहले सक्रिय नक्सली थे. नक्सल गतिविधियों में शामिल रहने के दौरान उनपर पूर्व मुख्यमंत्री तेदेपा नेता एन चंद्रबाबू नायडू और कांग्रेस नेता एन जर्नादन रेड्डी पर नक्सली हमले में शामिल रहने का संदेह था.
आत्मसमर्पण के बाद वह टीआएस से जुड़ गए थे. उन्हें पार्टी का पोलित ब्यूरो सदस्य बनाया गया था.
टीआएस
प्रमुख के चंद्रशेखर राव और अन्य पार्टी नेताओं ने साम्बशिवूदू की हत्या की निंदा की है. |
2जी घोटाले के लिये राजग सरकार की नीतियां जिम्मेदार: मोइली | कानून मंत्री एम वीरप्पा मोइली ने आरोप लगाया कि
राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन
(राजग) सरकार के समय बनी नीतियां ही 2जी स्पेक्ट्रम घोटाले के लिये जिम्मेदार रहीं हैं.
मोइली ने संवाददाताओं से कहा ‘2जी स्पेक्ट्रम आवंटन राजग सरकार की नीतियों के अनुरुप किया गया. ये नीतियां राजग के दूरसंचार मंत्रियों प्रमोद महाजन और अरुण शौरी के समय बनाई गई, इसलिये इसके लिये वर्तमान संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (संप्रग) सरकार को दोषी नहीं ठहराया जा सकता.’ उन्होंने कहा कि राजग सरकार ने वर्ष 2001 में ये नीतियां बनाई. स्पेक्ट्रम घोटाले के लिये संप्रग सरकार पर आरोप लगाने के लिये मोइली ने राजग में शामिल पार्टियों की कडी आलोचना की. उन्होंने कहा कि सरकार 2जी स्पेक्ट्रम घोटाले में जारी जांच पडताल में कोई हस्तक्षेप नहीं करेगी.
मोइली ने यह भी कहा कि सरकार देश में हो रहे अवैध खनन की निगरानी के लिये जल्द ही दिशानिर्देश तैयार करेगी. दिशानिर्देश तैयार करने से पहले इस संबंध में प्राप्त विभिन्न रिपोर्टों पर गौर किया जायेगा. ऐसी एक रिपोर्ट हाल ही में उच्चतम न्यायालय द्वारा नियुक्त समिति ने भी सौंपी है. |
बिहार वासियों के लिए खुशखबरी, अब दरभंगा से मुंबई-दिल्ली को भर सकेंगे उड़ान | बिहार के लिए खुशखबरी है, अब दरभंगा से मुंबई, बंगलुरू और दिल्ली के लिए उड़ान शुरू होने जा रही है. बिहार के उपमुख्ममंत्री सुशील कुमार मोदी ने बताया कि अगले महीने में दरभंगा से हवाई सेवा शुरू हो जायेगी. पटना और गया के बाद दरभंगा हवाई सेवा देने वाला राज्य का तीसरा सेंटर बन जायेगा. इससे मिथिलांचल के लोगों को काफी फायदा होगा.
नागरिक विमानन सचिव आर एन चौबे और एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया के अधिकारियों के साथ नई दिल्ली स्थित बिहार भवन में बैठक के बाद उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने बताया कि दरभंगा से उड़ान योजना के तहत अगले छह महीने में मुंबई, बंगलुरू और
दिल्ली के लिए विमान सेवा
शरू हो सकती है.
यात्रियों की बढ़ी संख्या के मद्देनजर पटना एयरपोर्ट पर सुविधाओं में बढ़ोतरी की समीक्षा के लिए एक उच्चस्तरीय टीम 24 जनवरी को पटना आ रही है. पटना एयरपोर्ट के नए टर्मिनल का काम अप्रैल से शुरू हो जायेगा. बिहटा एयरपोर्ट के लिए राज्य सरकार द्वारा अधिग्रहित 108 एकड़ जमीन शीघ्र ही एयरपोर्ट अथॉरिटी को सौंप दी जायेगी.
दो विमानन कम्पनियां स्पाइस जेट और इंडिगो ने उड़ान योजना के अन्तर्गत दरभंगा से मुंबई, बंगलुरू और दिल्ली की सेवा के लिए निविदा डाली है. एयरफोर्स के अधीन दरभंगा एयरपोर्ट पर टर्मिनल भवन और प्रवेश के लिए अगर सरकार जमीन उपलब्ध करा देती है तो अगले छह महीने में वहां से उड़ान सेवा प्रारंभ हो सकती है.
नए टर्मिनल बनने तक पटना एयरपोर्ट पर यात्री सुविधाओं में बढ़ोतरी के मद्देनजर 24 जनवरी को एएआई और सीआईएसएफ के अधिकारियों की एक उच्चस्तरीय टीम राज्य सरकार के साथ
समीक्षा बैठक कर
वेटिंग लाउंज, प्रवेश द्वार और सुरक्षा जांच के लिए एक्सरे मशीन आदि की संख्या बढ़ाने पर विचार करेगी.
पटना एयरपोर्ट पर बनने वाले 803 करोड़ की लागत से 45 लाख यात्रियों की क्षमता वाले नए टर्मिनल के लिए प्रोजेक्ट मैनेजमेंट कंसल्टेंट और डिजायन को मंजूरी मिल चुकी है. जल्द ही निविदा स्वीकृत कर अप्रैल से काम शुरू हो जायेगा. बिहटा में भी जमीन हस्तांतरण की प्रक्रिया के बाद प्रोजेक्ट कंसल्टेंट की नियुक्ति और निविदा फाइनल कर इस साल के अंत तक काम शुरू होने की संभावना है. |
यूपी से डर गईं खिलाड़ी बेटियां | देश-विदेश में उत्तर प्रदेश की छवि सुधारने की अखिलेश यादव सरकार की कवायद को धक्का लगा है. प्रदेश में लगातार बढ़ रही बलात्कार, हत्याएं और लूट की खबरों के चलते देश-विदेश की महिला खिलाडिय़ों ने यहां आने से इंकार कर दिया है.
राजधानी लखनऊ में शनिवार 20 अप्रैल से शुरू हुए इंटरनेशनल टेनिस फेडरेशन ‘आइटीएफ वीमेन फ्यूचर्स टूर्नामेंट’ से 102 खिलाडियों ने अपना नाम वापस ले लिया, जिनमें से 68 विदेशी हैं. यूपी टेनिस एसोसिएशन के कोषाध्यक्ष जे.एस. कौल कहते हैं कि आइटीएफ वीमेन फ्यूचर्स टेनिस टूर्नामेंट में भाग न लेने वाली विदेशी खिलाडिय़ों में ज्यादातर ऑस्ट्रेलिया, स्वीडन, फ्रांस, थाईलैंड, यूक्रेन, सर्बिया, रूस, चीन, जापान, ब्रिटेन और जर्मनी की हैं.
यही नहीं लखनऊ के अवध जिमखाना में हो रहे इस टूर्नामेंट में जितनी भी महिला खिलाड़ी पहुंची हैं उनके साथ मां, पिता या भाई भी हैं. बड़ी संख्या में नाम वापस लेने से अब यह प्रतियोगिता केवल 37 खिलाडियों के बीच शुरू हुई. 22 अप्रैल से शुरू होने वाले मुख्य क्वालिफाइंग राउंड में केवल 13 खिलाड़ी ही हिस्सा लेंगी.
हालांकि पुलिस महानिदेशक देवराज नागर बताते हैं कि महिला खिलाडियों की असुरक्षा की बात पूरी तरह निराधार है. हो सकता है कि उनके न आने की और वजहें रही हों. अगर ऐसी कोई आशंका होती तो टूर्नामेंट के आयोजकों को पुलिस विभाग को बताना चाहिए था. महिलाओं की सुरक्षा को लेकर जैसा महौल बनाया जा रहा है वैसा कुछ भी नहीं है. नागर कहते हैं ‘लखनऊ में पिछले दिनों हॉकी सहित कुछ अन्य प्रतियोगिताओं में देश के विभिन्न हिस्सों से खिलाड़ी आए थे जिनमें कई महिला खिलाड़ी भी थीं.’ |
गन्ना उगाकर फंस गए किसान | सीतापुर शहर से 35 किलोमीटर दूर पूर्व में बिस्वां ब्लॉक के बन्नी राय गांव के किसान गन्ने की खेती के लिए जाने जाते हैं. साढ़े तीन सौ परिवार वाले इस गांव में गन्ना ही सभी की आजीविका का साधन है. इन्हीं में से 60 साल के शंभू भार्गव हैं, जिन्होंने इस बार अपने चार एकड़ खेत में रिकार्ड 1,000 क्विंटल गन्ना पैदा किया है. गन्ने की पेराई शुरू होने की जानकारी लेने शंभू हर दूसरे दिन 20 किलोमीटर दूर बिस्वां शुगर मिल के चक्कर लगाते हैं लेकिन निराश ही लौटते हैं. शंभू कहते हैं, ''खेत में खड़ी गन्ने की फसल जवान बेटी की तरह ही है. जितनी जल्दी इसकी खेत से विदाई हो जाए उतना ही बढिय़ा है.'' दीपावली के पहले घर में पैसों की बढ़ती जरूरत के चलते अंततरू शंभू ने अपने आधे एकड़ खेत का गन्ना 150 रु. प्रति क्विंटल की दर से गांव के बाहर चल रहे कोल्हू को सौंप दिया. शंभू कहते हैं, अगर एक हफ्ते के भीतर चीनी मिल नहीं चली तो और भी गन्ने को औने-पौने दाम पर कोल्हू को बेचना पड़ जाएगा.शंभू ही नहीं, बन्नी राय गांव के सभी किसानों की यही स्थिति है. समय से चीनी मिलें न चलने से खेतों में खड़ा गन्ना सूख रहा है.
गन्ना किसानों की नाराजगी से बचने के लिए प्रदेश की भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) सरकार ने जून के अंत तक चीनी मिलों को पेराई करने का आदेश दिया था. पिछले दो पेराई सत्रों में जहां चीनी मिलों ने क्रमशः 68 और 87 करोड़ क्विंटल गन्ने की पेराई की थी वहीं वर्ष 2017-18 में चीनी मिलों ने 111 करोड़ क्विंटल से भी अधिक गन्ने की पेराई की. इसका नतीजा यह हुआ कि यूपी में देश में सबसे अधिक रिकॉर्ड 120 लाख टन चीनी का उत्पादन हुआ था. गन्ना किसानों को भुगतान की स्थिति भी सुधरी तो गन्ने की कैश क्रॉप के प्रति किसानों का रुझान भी बढ़ा.
गन्ना विभाग के अनुमान के मुताबिक, वर्तमान सत्र में प्रदेश के गन्ना क्षेत्र में 18 प्रतिशत से अधिक वृद्धि का अनुमान है. गन्ने की यही बंपर पैदावार अब सरकार के लिए मुसीबत बन चुकी है. पिछले पेराई सत्र में देर तक चलने वाली चीनी मिलों को वर्तमान सत्र में समय से चलाने में सरकार को दिक्कतें आ रही हैं. प्रदेश सरकार ने पहले अक्तूबर के अंत तक प्रदेश की चीनी मिलों में पेराई शुरू करने की समयसीमा निर्धारित की थी. समयसीमा बीतने के बाद सरकार प्रदेश की कुल 119 चीनी मिलों में से बमुश्किल एक दर्जन ही चलवा सकी. खेत में सूखते गन्ने को देख प्रदेश का गन्ना किसान आक्रोशित है और मेरठ, बागपत, मुजफ्फरनगर जैसे गन्ना क्षेत्रों में लगातार धरना-प्रदर्शन का क्रम जारी है. गन्ना विभाग के राज्यमंत्री स्वतंत्र प्रभारी सुरेश राणा नवंबर में सभी चीनी मिलों के चालू हो जाने का दावा करते हैं. (देखें बातचीत)
किसानों पर चौतरफा मार
गन्ने की पेराई में देरी का असर अन्य फसलों पर भी पड़ेगा. भारतीय किसान यूनियन के मध्य जोन प्रभारी हरनाम सिंह वर्मा रबी की फसल पर कृषि विभाग की एक बुकलेट दिखाते हुए बताते हैं, ''किताब में लिखा है कि गेहूं की बुआई हर हाल में 20 नवंबर तक कर देनी चाहिए. अन्यथा मार्च और अप्रैल में जब पछुआ हवा चलती है तो गेहूं की फसल के खराब होने का खतरा है. लेकिन जब 20 नवंबर तक गन्ने का खेत खाली नहीं होगा तो गेहूं कैसे बोएंगे? इससे खाद्यान्न की पैदावार कम होगी.''
एक वर्ष के भीतर लागत में भारी बढ़ोतरी होने के बावजूद गन्ने के न्यूनतम समर्थन मूल्य में बढ़ोतरी न होने से भी किसान निराश हैं. हरनाम सिंह वर्मा बताते हैं, ''पिछले वर्ष गन्ने की बुआई के समय डीएपी खाद 950 रुपए प्रति कट्टा (50 किलो) थी जो अब 1,400 रु. प्रति कट्टा है. यूरिया की 50 किलो की एक बोरी उस वक्त 333 रु. की थी जबकि अब इतने ही रुपए में 45 किलो की बोरी मिलती है. डीजल का दाम भी 65 रुपए प्रति लीटर से बढ़कर 72 रुपए प्रति लीटर पहुंच गया है.
मजदूरी बढ़ गई लेकिन गन्ना किसान को कोई राहत नहीं है.'' किसानों की आय दोगुनी करने का लक्ष्य तय करने वाली प्रदेश की भाजपा सरकार के सामने गन्ना किसानों की लागत कम करने के साथ चुनावी वर्ष में गन्ने का समर्थन मूल्य बढ़ाने की विकट चुनौती भी है. गन्ने की बंपर पैदावार के कारण इस वर्ष चीनी का उत्पादन रिकॉर्ड 140 लाख टन तक पहुंचने की संभावना है. उत्तर प्रदेश शुगर मिल्स एसोसिएशन के सचिव दीपक गुप्तारा कहते हैं, ''चीनी मिलों के सामने वित्तीय संकट की मुक्चय वजह चीनी का अधिक उत्पादन और उठान का कम होना है. ऐसे में अत्यधिक गन्ने के उत्पादन को खपाना एक चुनौती होगी.''
बेलगाम हैं चीनी मिलें
पश्चिमी यूपी में जिला गन्ना अधिकारी के पद पर तैनात रहे ज्ञान कुमार सिंह बताते हैं, ''चीनी मिलों ने सरकार से रियायत मिलने की आस में जान-बूझकर गन्ने के पेराई सत्र में देर की है. ताकि किसान परेशान हों और मिल मालिकों को अप्रत्यक्ष रूप से सरकार पर दबाव बनाने का मौका मिल जाए.'' चीनी मिलें पेराई सत्र में देरी की वजह गन्ने में रिकवरी कम होने को बता रही हैं. जबकि प्रदेश में अगैती प्रजाति का गन्ना करीब 70 फीसदी है जिसमें सामान्य प्रजाति के गन्ने से ज्यादा चीनी निकलती है.
मेरठ की एक चीनी मिल के महाप्रबंधक बताते हैं, ''फिलहाल अगैती प्रजाति से रिकवरी आठ फीसदी के करीब ही आ रही है जो कि 10 फीसदी के पिछले औसत से कम है. ऐसे में चीनी मिल में पेराई शुरू करना घाटे का सौदा है.'' मेरठ परिक्षेत्र के गन्ना उप आयुक्त हरपाल सिंह चीनी मिल मालिकों के तर्क को सिरे से खारिज करते हैं. हरपाल बताते हैं, ''अब गन्ने के लिए अनुकूल मौसम शुरू हो गया है. सुबह गर्म और रात में ठंड होने से गन्ने में रिकवरी बढ़ती है.'' पेराई सत्र में देरी करने वाली चीनी मिलें सट्टा के जरिए फर्जीवाड़ा भी जमकर कर रही हैं.
सट्टा में किसानों के गन्ने का रकबा, पौध और पेड़ी समेत अन्य कई जानकारियां दर्ज रहती हैं. गन्ना समितियां इसे किसानों को उपलब्ध कराती हैं. फैजाबाद में हुए गोपनीय सर्वे में गन्ना विभाग ने बड़े पैमाने पर सट्टा में हेरफेर पकड़ा है. यहां 800 से अधिक सट्टे बोगस पाए गए हैं जिनमें कुल 87 हेक्टेयर रकबा दर्ज है.
न बोगस सट्टों में बीते पेराई सत्र में करीब 50 हजार क्विंटल से अधिक गन्ने की आपूर्ति हुई है. गन्ना विभाग ने इन बोगस सट्टों को निरस्त कर अंदरूनी जांच शुरू कर दी है ताकि इस फर्जीवाड़े में शामिल लोगों की पहचान कर उन पर सख्त कार्रवाई की जा सके. गन्ना विभाग के सर्वे में हापुड़ जिले की सिंभावली और बृजनाथपुर चीनी मिल पर लंबे समय से गन्ने का रकबा छिपाने का मामला सामने आया है ताकि दूसरी मिलों को गन्ने के आवंटन से रोका जा सके. गन्ना विभाग ने इन दोनों मिल मालिकों को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है.
चीनी के विकल्पों पर जोर
बड़ौत में दिल्ली-यमुनोत्री हाइवे के शिलान्यास के मौके पर 11 सितंबर को बागपत में एक रैली में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने चुटकी ली. उन्होंने कहा, ''लोगों में शुगर की बीमारी बढ़ रही है ऐसे में किसान गन्ने के अलावा सब्जियों, फल-फूल की खेती भी अपनाएं.'' मुख्यमंत्री के इस बयान ने भले ही गन्ना किसानों की राजनीति में गरमाहट ला दी हो लेकिन इसने यह संकेत तो दिया है कि गन्ने की बंपर पैदावार सरकार के लिए कैसे परेशानी की वजह भी बन गई है. बागपत में रैली के बाद किसानों से बातचीत में मुख्यमंत्री को पश्चिमी यूपी में बंद पाड़ी खांडसारी मिलों की जानकारी मिली. शाम को लखनऊ लौटते ही योगी आदित्यनाथ ने अधिकारियों को खांडसारी मिलों के रिवाइवल के लिए व्यावहारिक योजना तैयार करने के आदेश दिए थे. एक महीने के भीतर योजना तैयार हुई और 16 अक्तूबर को इसे कैबिनेट बैठक में पास भी कर दिया गया. किसानों को अब चीनी मिल से 7.5 किलोमीटर के दायरे में ही खांडसारी इकाई लगाने की अनुमति मिल गई. लाइसेंस प्रणाली को सरल करते हुए 50 घंटे के भीतर ऑनलाइन लाइसेंस जारी करने का नियम भी बना दिया गया.
गुड़ बनाने वाली इकाइयों को लाइसेंस से मुक्त रखा गया. मुजफ्फरनगर के गन्ना किसान अजेय सिंह बताते हैं, ''जागरूकता के अभाव में किसान खांडसारी इकाई लगाने में रुचि नहीं दिखा रहे हैं.'' दो दशक पहले मुजफ्फरनगर में एक हजार खांडसारी इकाइयां थीं जिनमें अभी केवल छह ही जीवित बची हैं. नई नीति के तहत केवल छह लोगों ने ही अब तक खांडसारी इकाई के लाइसेंस के लिए आवेदन किया है. मिलों को चीनी के अलावा गन्ने के अन्य उत्पादों के प्रति रुझान बढ़ाने के लिए सरकार ने जापान और अन्य देशों को शीरा निर्यात की अनुमति दे दी है.
इतना ही नहीं देशी शराब उत्पादक डिस्टिलरियों के लिए शीरे की उपलब्धता बढ़ाने के लिए भी सरकार ने चीनी मिलों में उत्पादित शीरे की आरक्षित रखी जाने वाली मात्रा को 20 प्रतिशत से घटाकर 12.5 प्रतिशत कर दिया है. प्रमुख सचिव गन्ना विकास एवं चीनी उद्योग संजय भूसरेड्डी बताते हैं, ''गन्ना किसानों के हित के लिए पहली बार इतने सारे निर्णय लिए गए हैं. भविष्य में किसानों के समक्ष जो भी कठिनाइयां आएंगी उन्हें दूर किया जाएगा.''
गन्ने से विरोधियों पर निशाना
पिछले वर्ष 23 दिसंबर को पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह की जयंती के अवसर पर बागपत जिले में रमाला चीनी मिल के विस्तारीकरण के कार्यक्रम में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का मुख्य अतिथि और गन्ना विभाग के राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) सुरेश राणा का विशिष्ट अतिथि के रूप में मौजूद रहना एक सोची समझी रणनीति का हिस्सा था. राष्ट्रीय लोकदल (रालोद) के राष्ट्रीय अध्यक्ष अजित सिंह का गढ़ रहे बागपत जिले में रमाला के मंच से किसान उदय योजना की शुरुआत कर योगी आदित्यनाथ ने गन्ना किसानों को अजित सिंह के पाले में जाने से रोकने के लिए पासा फेंका.
मुख्यमंत्री के दांव की काट के लिए अजित सिंह ने भी गन्ना किसानों की समस्याओं को निशाना बनाकर पश्चिमी यूपी के जिलों में लगातार प्रदर्शन की शुरुआत की. कैराना लोकसभा के उपचुनाव में सपा-रालोद प्रत्याशी की जीत के बाद अजित सिंह के तेवर और कड़े हो गए और उन्होंने गन्ना किसानों के जारिए जाट मतदाताओं की गोलबंदी शुरू कर दी. मेरठ से वरिष्ठ भाजपा नेता और प्रदेश प्रवक्ता डॉ. चंद्रमोहन कहते हैं, ''अजित सिंह ने हमेशा किसानों को अपने लिए इस्तेमाल किया है. गन्ना किसानों के लिए भाजपा सरकार की सफल नीतियों का परिणाम ही है कि गन्ने का उत्पादन 67 टन प्रति हेक्टेयर से बढ़कर 80 टन प्रति हेक्टेयर हो गया है.''
भाजपा विरोधी गोलबंदी में जुटे अजित सिंह ने भारतीय किसान यूनियन (भाकियू) से दूरी बनाने के अपने नजरिए में बदलाव किया है. हरिद्वार से निकली भाकियू की किसान क्रांति यात्रा में शामिल किसानों पर जब 2 अक्तूबर को दिल्ली-यूपी बॉर्डर पर लाठीचार्ज हुआ तो अजित सिंह ने इस अवसर को भुनाने में जरा भी चूक नहीं की. वे फौरन मौके पर पहुंचे और किसानों ने उन्हें कंधे पर उठाया. अजित सिंह ने केंद्र और राज्य की भाजपा सरकार पर किसानों की दुश्मन होने का आरोप लगाया. इसी बीच डिहाइड्रेशन के कारण अजित सिंह अचेत तक हो गए लेकिन किसानों के बीच सियासी सहानुभूति पाने की कोई संभावना को जाया नहीं जाने दिया. दरअसल, पश्चिमी उत्तर प्रदेश की राजनीति में अपने पैर दोबारा जमाने की कोशिश में अजित गन्ना किसानों की लड़ाई लडऩे उतरे हैं. देखना होगा कि गन्ना किसानों की नाराजगी से सरकार और नेता कैसे निपटते हैं.
गन्ना किसानों की समस्याओं पर गन्ना विकास एवं चीनी मिलें विभाग के राज्यमंत्री स्वतंत्र प्रभार सुरेश राणा से आशीष मिश्र की बातचीत के मुख्य अंशः
-चीनी मिलों में गन्ने का पेराई सत्र समय से क्यों नहीं शुरू हो पा रहा?
ऐसा नहीं है. मोदी नगर की चीनी मिल 27 तारीख से चली है. 30 नवंबर तक प्रदेश की सभी चीनी मिल चल जाएंगी. इसके लिए चीनी मिल मालिकों से बातचीत जारी है. जब तक किसान के खेत में गन्ना रहेगा, मिलें चलती रहेंगी.
-आखिर गन्ना किसान नाराज क्यों हैं?
किसान नाराज नहीं है. भाजपा सरकार बनने के बाद पांच लाख हेक्टेयर गन्ने का क्षेत्रफल बढ़ा है. इससे साबित होता है कि सरकार पर किसानों का विश्वास बढ़ा है.
-किसानों को भुगतान नहीं हो पाया है?
सरकार ने गन्ना किसानों को साढ़े 27 हजार करोड़ रुपए का भुगतान किया है जो आजादी के बाद से सबसे बड़ा भुगतान है. सरकार ने चीनी मिलों के लिए 4,000 करोड़ रुपए के सॉफ्ट लोन की व्यवस्था इसलिए की है कि कुछ भी हो 30 नवंबर तक गन्ना किसानों का पूरा भुगतान कर देंगे.
किसानों की घटतौली और पर्ची में गड़बड़ी की शिकायतें हैं?
भाजपा सरकार ने नियम बनाया है कि जैसे मिल चलेंगी छोटे किसान को सभी पर्चियां 45 दिन के भीतर मिल जाएंगी. मिलों तक गन्ना लाने का किराया 42 पैसे प्रति क्विंटल प्रति किलोमीटर किया गया है. पहली बार गन्ना किसानों की ढुलाई कम की गई है.
-गन्ना किसान फर्जी सट्टे, बोर्ड में फंसा हुआ है?
फर्जी सट्टों, बोर्ड पर कार्रवाई की गई है. सरकार ने एक कैलेंडर जारी किया है उसी के मुताबिक किसानों को पर्ची पहुंचाई जा रही है. सभी मिलों से बकायदा कैलेंडर की सीडी मंगाकर उसकी निगरानी की जा रही है.
-सरकार पर मिल मालिकों पर नरमी बरतने का आरोप है?
गलत है. जब तक खेत में गन्ना रहा तब तक मिल चलाई गई. पहली बार जिला गन्ना अधिकारी और मिल का संयुक्त खाता खोला. इससे किसानों को भुगतान में सुविधा हुई.
-बाजार में चीनी का दाम गिरने से भुगतान पर असर पड़ता है?
इसके लिए केंद्र सरकार ने चीनी का न्यूनतम बिक्री मूल्य 2,900 रुपए प्रति क्विंटल तय किया है. चीनी पर आयात शुल्क 15 प्रतिशत से बढ़कर 100 प्रतिशत कर दिया है. चीनी के आयात की संभावना समाप्त कर दिया है. इससे चीनी के दाम गिरने नहीं पाएंगे.
-गन्ने की बंपर पैदावार ने भी सरकार की चुनौती बढ़ाई है?
पिपराइच और मुंडेरवा की नई चीनी मिलें जल्द चालू हो जाएंगी. बुलंदशहर, सहारनपुर, चंदौसी, बागपत की अरसे से बंद पड़ी चीनी मिलें चलवाई गई हैं. दर्जनों चीनी मिलें अपग्रेड की जा रही हैं. पिछले एक महीने में 50 खांडसारी मिलों को लाइसेंस जारी किए हैं. |
सुषमा स्वराज से मिले एंटीगुआ के विदेश मंत्री, मेहुल चोकसी, ईवीएम और क्रिकेट पर हुई बात | भारत और एंटीगुआ के बीच
मेहुल चोकसी
के प्रत्यर्पण से लेकर क्रिकेट तक कई महत्वपूर्ण मसलों पर बात हुई है. न्यूयॉर्क में संयुक्त राष्ट्र महासभा के 73वें सत्र में शामिल होने गईं विदेश मंत्री
सुषमा स्वराज
और एंटीगुआ के उनके समकक्ष मंत्री चेट ग्रीने की मुलाकात के दौरान यह बातचीत हुई.
विदेश मंत्री सुषमा स्वराज की बातचीत का मुख्य विषय 14,000 करोड़ रुपये के पंजाब नेशनल बैंक घोटाले के आरोपी मेहुल चोकसी का प्रत्यपर्ण था. इंडिया टुडे-आजतक से खास बातचीत में एंटीगुआ ऐंड बारबुडा के विदेश मंत्री चेट ग्रीने ने बताया कि उन्होंने अपने भारतीय समकक्ष को यह भरोसा दिलाया है कि इस मामले में उनका देश पूरा सहयोग करेगा.
उन्होंने कहा, 'हम भारत की जनता को यह भरोसा देना चाहते हैं कि सहयोग और गठजोड़ के लिए हमारी प्रतिबद्धता में किसी तरह का बदलाव नहीं आया है. हमारे पास ऐसे कानून हैं जिनसे प्रत्यर्पण और इस तरह के अन्य मामले संचालित होते हैं.
इस मुलाकात के बारे में विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने कहा, 'विदेश मंत्री ने उनसे (चेट ग्रीने से) अनुरोध किया है कि जितनी जल्दी यह मामला सुलझेगा, उतना ही बेहतर होगा. उनके समकक्ष मंत्री ने जवाब दिया है कि वे अपनी पूरी कोशिश कर रहे हैं और कुछ कानूनी पहलुओं और कोर्ट की प्रक्रियाओं को देखना है. हालांकि उन्होंने सुषमा स्वराज के सामने अपने प्रधानमंत्री और सरकार की प्रतिबद्धता को जाहिर किया.
गौरतलब है कि मेहुल चोकसी एंटीगुआ की नागरिकता ले चुका है. भारत ने उसके प्रत्यर्पण के लिए 720 पेज का दस्तावेज दिया है. एंटीगुआ सरकार ने कहा कि यह मामला अभी कोर्ट में है और इसके बारे में कोई निश्चित समय सीमा नहीं दी जा सकती.
भारत से ईवीएम खरीदना चाहता है एंटीगुआ
विदेश मंत्री सुषमा स्वराज और चेट ग्रीने के बीच बुधवार को हुई बातचीत के दौरान ईवीएम और क्रिकेट पर भी बातचीत हुई. असल में एंटीगुआ सरकार भारत से इलेक्ट्रॉनिक
वोटिंग मशीन
(ईवीएम) खरीदना चाहती है.
सचिन और विवियन रिचर्ड्स की बात
इसके अलावा चेट ग्रीने ने दोनों देशों के बीच क्रिकेट में सहयोग को बढ़ाते हुए युवाओं को इस खेल के
प्रशिक्षण
के लिए एकेडमी और ट्रेनिंग इंस्टीट्यूट खोलने पर जोर दिया. असल में एंटीगुआ कैरिबियाई द्वीप समूह का हिस्सा है जहां से वेस्टइंडीज की टीम तैयार होती है. ग्रीने ने कहा, 'आपके यहां सचिन तेंदुलकर है तो हमारे यहां विवियन रिचर्ड्स. हम खेल और खासकर क्रिकेट में आदान-प्रदान को बढ़ावा दे सकते हैं.' |
‘आत्मा की आवाज’ पर मतदान से राष्ट्रपति चुनाव में जीत होगी: संगमा | राष्ट्रपति पद के लिए विपक्ष के उम्मीदवार पीए संगमा ने रविवार को भोपाल में कहा कि उन्हें विश्वास है कि उन्हें ‘आत्मा की आवाज’ पर मत मिलेंगे और वह राष्ट्रपति चुनाव में विजय प्राप्त करेंगे.
राष्ट्रपति चुनाव के लिए भाजपा विधायकों और सांसदों से वोट मांगने यहां आये संगमा ने संवाददाताओं से कहा कि वे भगवान और चमत्कार में विश्वास रखते हैं तथा उन्हें पूरा विश्वास है कि उनके मतदाता ‘आत्मा की आवाज’ पर मत देंगे और उन्हें इस चुनाव में विजय प्राप्त होगी.
उनसे पूछा गया था कि राष्ट्रपति चुनाव में गणित पूरी तरह संप्रग उम्मीदवार प्रणव मुखर्जी के पक्ष में दिखायी देता है और उनकी जीत पक्की दिखती है.
यह पूछे जाने पर कि इस पद के लिए खड़े होकर उन्होंने केन्द्रीय मंत्रिमंडल में शामिल अपनी पुत्री को धर्म संकट में डाल दिया है, संगमा ने कहा कि राष्ट्रपति पद का चुनाव दलीय आधार पर नहीं लड़ा जाता और यही कारण है कि राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार बनने से पहले प्रणव मुखर्जी ने भी कांग्रेस पार्टी से इस्तीफा दे दिया था.
एक अन्य प्रश्न के उत्तर में संगमा ने कहा कि उनकी बेटी किसे मत देंगी, यह उन्हीं से पूछा जाये तो बेहतर होगा. कांग्रेस द्वारा उनका समर्थन करने पर आदिवासी नेता अरविंद नेताम को कांग्रेस पार्टी से निलंबित किये जाने संबंधी सवाल के जवाब में संगमा ने कहा कि कांग्रेस का यह कदम उसकी आदिवासी विरोधी नीति का परिचायक है, जबकि नेताम तो उनके मतदाता भी नहीं हैं. उन्होंने कहा कि आदिवासी फोरम ने भी कांग्रेस के इस कदम की निंदा की है.
इससे पहले लोकसभा में विपक्ष की नेता सुषमा स्वराज ने कहा कि राष्ट्रपति चुनाव को लेकर संप्रग सरकार ने विपक्ष के साथ आम सहमति बनाने के लिए कोई चर्चा नहीं की और इसी के चलते पार्टी ने संगमा का समर्थन करने का निर्णय लिया.
सुषमा स्वराज ने कहा कि यह कोई पहला मौका नहीं है, जब राष्ट्रपति पद को लेकर चुनाव हो रहे हैं बल्कि इसके पहले 14 बार हुए राष्ट्रपति चुनाव में वर्ष 1977 में एक बार ही आम सहमति से चुनाव हुए थे, जबकि 13 बार तो चुनाव के माध्यम से ही राष्ट्रपति चुने गये हैं.
संगमा को वरिष्ठ आदिवासी नेता बताते हुए सुषमा स्वराज ने कहा कि वे नौ बार लोकासभा चुनाव जीतने के साथ-साथ दो बार विधायक चुने गये हैं और मेघालय के मुख्यमंत्री भी रह चुके हैं. |
ऑस्कर नहीं पा सकी भारतीय कहानी ‘कवि’ | झुग्गियों में रहने वाले एक गरीब भारतीय बच्चे की कहानी ‘कवि’ को ऑस्कर पुरस्कारों में डेनमार्क की फिल्म ‘द न्यू टेनेंट्स’ ने पछाड़ दिया. ग्रेग हेल्वे द्वारा निर्देशित ‘कवि’ को सर्वश्रेष्ठ लघु फिल्म की श्रेणी में रखा गया था.
लगभग 19 मिनट की यह फिल्म इस बार ऑस्कर में भारत से जुड़ी एकमात्र फिल्म थी. डेनमार्क की 21 मिनट की फिल्म ‘द न्यू टेनेंट्स’ को जोआकिम बेक ने निर्देशित किया है.
हेल्वे ने इसके पहले कहा था कि उनकी फिल्म का उद्देश्य आधुनिक दासप्रथा के बारे में ‘जागरुकता’ फैलाना है. |
दिल्ली विधानसभा चुनाव नहीं लड़ेंगे कांग्रेस नेता अरविंदर लवली | दिल्ली प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अरविंदर सिंह लवली आगामी
विधानसभा चुनाव
नहीं लड़ेंगे. लवली के चुनाव नहीं लड़ने की घोषणा अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी की तरफ से की गई. लवली अब तक गांधी नगर सीट से
चुनाव
लड़ते आए हैं, लेकिन इस बार वे चुनाव से संबंधित कामकाज देखेंगे. लवली ने भी पार्टी के निर्णय से सहमति जताते हुए कहा कि यह पार्टी का निर्णय है और मैं इस फैसले का सम्मान करता हूं.
वरिष्ठ पार्टी नेता और दिल्ली में पार्टी मामलों के प्रभारी पीसी चाको ने कहा, पार्टी ने गांधीनगर निर्वाचन क्षेत्र से उम्मीदवार अरविंदर सिंह लवली से चुनाव से हटने और चुनाव से संबंधित कामकाज देखने का आग्रह किया है. उन्होंने कहा कि यह सीट लवली का गढ़ रही है और इस बार यहां कौन उम्मीदवार होगा, इसकी घोषणा सोमवार को होगी.
दिल्ली में सात फरवरी को होने वाले विधानसभा चुनावों के लिए जारी कांग्रेस की पहली सूची में लवली की उम्मीदवारी की घोषणा की गई थी. इसमें पार्टी के सात अन्य वर्तमान विधायकों के भी नाम थे. दिसंबर 2013 में हुए विधानसभा चुनाव में कांग्रेस दिल्ली में महज आठ सीटें जीत पाई थी.
यहां कांग्रेस महासचिव अजय माकन के साथ संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए चाको ने इन बातों को खारिज किया कि लवली ने खुद चुनाव मैदान से बाहर रहने का फैसला किया है. उन्होंने कहा, यह लवली का फैसला नहीं है. यह पार्टी का फैसला है, पार्टी ने उन्हें निर्देश दिया है.
- इनपुट भाषा से |
बजट: 3 लाख तक की आय हो सकती है टैक्स फ्री, कंपनी कर में भी कटौती की उम्मीद | केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार एक फरवरी को आम बजट पेश करेगी. इस साल होने वाले आठ विधानसभा चुनाव और अगले साल होने वाले लोकसभा चुनावों से पहले सरकार का यह अंतिम बजट होगा. ऐसे में सरकार भी जनता के लिए लोकलुभावन योजनाओं की घोषणा कर सकती है.
बढ़ सकती है कर मुक्त आय की सीमा
उद्योग व आर्थिक क्षेत्र के विशेषज्ञों का मानना है कि आगामी बजट में कर मुक्त आय की सीमा ढाई से बढ़ाकर तीन लाख रुपये की जा सकती है. साथ ही कंपनी कर की दर को मौजूदा 30-34 प्रतिशत से घटाकर 28 प्रतिशत पर लाया जा सकता है. विशेषज्ञों का मानना है कि आगामी बजट में कृषि क्षेत्र में निवेश और बड़ी ढांचागत परियोजनाओं पर खर्च बढ़ाने पर जोर होगा ताकि रोजगार के नए अवसर पैदा किए जा सकें. संसद में पेश आर्थिक सर्वेक्षण में भी युवाओं के लिए बेहतर रोजगार सृजन पर जोर दिया गया है.
3 से 5 लाख रुपए हो सकता है पहला स्लैब
उद्योग संगठन पीएचडी चैंबर के कर विशेषज्ञ बिमल जैन के अनुसार वित्त मंत्री आयकर स्लैब में कुछ बदलाव कर सकते हैं. तीन लाख रुपए तक की आय को पूरी तरह से कर मुक्त किया जा सकता है. इस समय ढाई लाख रुपए तक की सालाना आय कर मुक्त है जबकि ढाई से 5 लाख रुपए की आय पर 5 प्रतिशत की दर से कर लगता है. संभवत: वित्त मंत्री इस स्लैब को तीन से 5 लाख रुपए कर सकते हैं. इसके बाद 5 से 10 लाख रुपए की आय पर 20 प्रतिशत और दस लाख रुपए से अधिक की आय पर 30 प्रतिशत दर से कर देय होगा. अधिभार दर में भी कुछ बदलाव किया जा सकता है.
पूंजीगत लाभकर में बदलाव की उम्मीद नहीं
दिल्ली शेयर बाजार के पूर्व अध्यक्ष एवं ग्लोब कैपिटल लिमिटेड के अध्यक्ष अशोक अग्रवाल का कहना है कि सरकार को पूंजीगत लाभकर में कोई छेड़छाड़ नहीं करनी चाहिए. इस समय दीर्घकालिक पूंजीगत लाभ कर मुक्त है जबकि अल्पकालिक पूंजीगत लाभ पर 15 प्रतिशत की दर से कर लगता है. उन्होंने कहा कि सरकार इसमें कोई छेड़छाड़ नहीं करेगी ऐसी उम्मीद है.
उन्होंने शेयर कारोबार पर लगने वाले प्रतिभूति कारोबार कर (एसटीटी) में शेयर कारोबारियों को राहत देने पर भी जोर दिया. उन्होंने कहा कि बाजार में ट्रेड करने पर जो एसटीटी दिया जाता है उसपर उन्हें आयकर में छूट मिलनी चाहिये. अग्रवाल ने कहा कि ट्रेडर बाजार में तरलता बढ़ाने में मदद करते हैं इसलिये उन्हें एसटीटी पर कर राहत दी जानी चाहिये.
पेट्रोल, डीजल पर उत्पाद शुल्क में हो सकती है कटौती
वित्त मंत्री अरूण जेटली एक फरवरी को इस सरकार का पांचवां व अंतिम पूर्ण बजट पेश करेंगे. एसोचैम अप्रत्यक्ष कर समिति के चेयरमैन निहाल कोठारी ने कहा कि सरकार पेट्रोल, डीजल पर उत्पाद शुल्क में कटौती कर सकती है. अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल के दाम बढ़ने के साथ ही घरेलू बाजार में पेट्रोल, डीजल के दाम चढ़ गये हैं. ऐसे में खुद पेट्रोलियम मंत्रालय ने भी पेट्रोलियम पदार्थों पर उत्पाद शुल्क घटाने की मांग की है.
बिमल जैन ने कहा कि कार्पेारेट कर की दर को मौजूदा 30 से 34 प्रतिशत के बजाय कम कर 25 से 28 प्रतिशत के दायरे में लाया जायेगा ऐसी उम्मीद है. उन्होंने कहा कि वित्त मंत्री ने अपने पहले बजट में कंपनी कर को चार साल में 30 से घटाकर 25 प्रतिशत पर लाने की घोषणा की थी. इस दिशा में शुरुआत हुई है लेकिन इसमें ठोस पहले की जरूरत है.
बढ़ाना होगा सार्वजनिक निवेश और रोजगार के अवसर
उद्योग मंडल पीएचडी चैंबर के मुख्य अर्थशास्त्री डा. एसपी शर्मा ने कहा कि कृषि क्षेत्र में सार्वजनिक निवेश और रोजगार के अवसर बढ़ाने पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है. इसके लिए निर्माण कार्य, खाद्य प्रसंस्करण, कपड़ा क्षेत्रों पर अधिक ध्यान दिया जाना चाहिए ताकि रोजगार बढ़ने के साथ-साथ आर्थिक गतिविधियां भी तेज हो सकें. कोठारी ने कहा कि
बजट में वित्त मंत्री
कंपनियों के लिये लाभांश वितरण कर (डीडीटी) समाप्त कर सकते हैं. निवेशकों के हाथ में लाभांश मिलने पर वहां कर लगाया जा सकता है.
कंपनियों के प्रवर्तक सहित कई बड़े निवेशक हैं जिन्हें लाभांश के रूप में बड़ी राशि प्राप्त होती है जिसपर उन्हें कोई कर नहीं देना होता है. मौजूदा व्यवस्था में कंपनियों को लाभ पर कंपनी कर देने के साथ साथ लाभांश वितरण कर भी देना होता है. जबकि लाभांश पाने वाले पर कोई कर नहीं बनता. आगामी बजट में यह व्यवस्था बदल सकती है. लाभांश पाने वाले को कर देना पड़ सकता है. |
मुंबई: लोकल ट्रेन हादसे में 3 लोगों की मौत | मुंबई के भांडुप में एक बड़ा हादसा हुआ है. लोकल ट्रेन के इस हादसे में 3 लोगों की मौत हो गई और 11 लोग जख्मी हो गए हैं. कहा जा रहा है कि मंगलवार को खराब हुए सिग्नल को बनाने के लिए जो सीढ़ी लगाई थी उसी से टकराकर ये हादसा हुआ है.
नाहुर और भांडुप स्टेशन के बीच हुए इस हादसे में 11 मुसाफिर जख्मी हुए हैं जिनमें से 4 की हालत गंभीर बताई जा रही है. रेलवे जहां हादसे की वजह भारी भीड़ को बता रही है वहीं लोगों का कहना है कि सिग्नल का पोल एक तरफ टेढ़ा हो गया था और इसकी वजह से गेट पर खड़े होकर सफर कर रहे लोग पोल से टकरा गए.
हादसा सुबह साढ़े 9 बजे हुआ जब ट्रेन ठाणे से सीएसटी जा रही थी. घायलों को नजदीकी अस्पताल में भर्ती कराया गया है.
गौरतलब है कि मंगलवार की रात करीब 12 बजे शुरू हुई मुंबई की मुसीबत आज भी कम नहीं हो रही. आग लगने की वजह से सेंट्रल लाइन का सिग्नल सिस्टम खराब हो गया था लेकिन अभी तक तकनीकी खराबी ठीक नहीं की जा सकी है. सेंट्रल लाइन पर अब भी 75 से 80 फीसदी ट्रेनें ही चल पा रही हैं. |
अमेरिकी थिंक टैंक का बयान- PM मोदी ने शुरू किया BJP का स्वर्ण युग | भारतीय मूल के एक शीर्ष अमेरिकी थिंक टैंक का कहना है कि पिछले दिनों बिहार की राजनीति में जिस प्रकार से बीजेपी ने वापिसी की है और सत्ता पर अपनी पकड़ बनाई है उससे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बीजेपी के स्वर्ण काल की शुरुआत की है.
कार्नेगी एंडोमेंट फॉर इंटरनेशनल पीस में दक्षिण एशिया कार्यक्रम के निदेशक एवं वरिष्ठ फेलो मिलान वैष्णव ने एक संपादकीय में कहा कि ताजा उथल-पुथल इस बात का संकेत है कि नेहरु-गांधी परिवार की कांग्रेस पार्टी द्वारा लंबे समय से नियंत्रित देश में अब भाजपा राजनीति का नया केंद्र है.
इसके साथ ही उन्होंने कहा कि 2019 में देश में होने वाले चुनावों के लिए बीजेपी न सिर्फ एक बड़ी पार्टी है, बल्कि वह शक्तिशाली राज्यों में अपनी पकड़ मजबूत करने की दिशा में भी बेहद तेज गति से आगे बढ़ रही है. उन्होंने लिखा है, भाजपा सरकार के लगातार मजबूत होने से नीतिगत स्थिरता और राजनीतिक मजबूती के संकेत मिल रहे हैं, लेकिन इसके साथ ही भारत में लोकतांत्रिक संतुलन को लेकर भी चिंताएं पैदा हो रहीं हैं.
वैष्णव ने कहा कि उनकी
व्यापार-अनुकूल नीतियां,राष्ट्रवादी बयानबाजी
और उनकी आकांक्षा से भरी अपील युवाओं में उत्साह भरती है और इसके जरिए मोदी अपनी पार्टी को एतेहासिक चुनावी जीत की और आगे ले गए हैं.
उन्होंने कहा कि तीन दशक में बहुमत हासिल करने वाली पहली पार्टी बन मोदी ने भाजपा के लिए स्वर्णकाल का प्रारंभ कर दिया है। इस बात का उल्लेख करते हुए कि भाजपा की गति ने पार्टी के लिए अभूतपूर्व अवसरों के द्वार खोल दिए हैं.
उन्होंने लिखा कि इस क्रम में बिहार के जुड जाने से राज्यसभा में भाजपा जल्द ही बहुमत में आ जाएगी और यह
काम 2018 के अंत तक हो सकता है
, उन्होंने लिखा दोनों सभाओं में नियंत्रण होने के साथ भाजपा अपने विधायी एजेंडे को कुछ मुश्किलों के साथ ही सही आगे बढ़ा सकेगी इसके साथ ही उन्होंने इस बात को लेकर चिंता भी जाहिर की कि सत्ता के इस केन्द्रीकरण के नकारात्मक पहलू भी हैं. |
लॉन्च से पहले Huawei G10 की तस्वीरें लीक, 4 कैमरे आए नजर | Huawei चार कैमरे वाले एक नए स्मार्टफोन को 22 सितंबर को लॉन्च करने के लिए पूरी तरह से तैयार है. इस स्मार्टफोन का नाम Huawei Maiming 6 बताया जा रहा है लेकिन चीन के बाहर इसे Huawei G10 नाम से जाना जाएगा.
अब लॉन्च में करीब एक हफ्थे बचे हैं, लेकिन उससे पहले ही Evan Blass और Slashleaks वेबसाइट द्वारा इसके रेंडर इमेज लीक किए गए हैं. इन तस्वीरों में
Huawei G10
को हर एंगल से देखा जा सकता है. जिन तस्वीरों को इवान ब्लास ने लीक किए हैं उसमें ये स्मार्टफोन ब्लैक कलर में नजर आ रहा है, जबकि Slashleaks वाले तस्वीरों में स्मार्टफोन सिल्वर कलर वैरिएंट में नजर आ रहा है. स्मार्टफोन की बात करें तो इसका डिस्प्ले 18:9 एक्सपेक्ट रेशियो वाला है.
डिस्प्ले में काफी कम बेजल नजर आ रहे हैं. इस स्मार्टफोन का टॉप बेजल डुअल फ्रंट कैमरे, LED फ्लैश और इयरपिस को होल्ड करेगा. Huawei की ब्रांडिंग बॉटम बेजल पर देखा जा सकता है. Huawei G10 में फिजिकल होम बटन नहीं दिए गए हैं. इसके राइट एज में पॉवर बटन और वॉल्यूम रॉकर की दिए गए हैं, तो वहीं इसके लेफ्ट में सिम ट्रे और माइक्रोएसडी कार्ड स्लॉट दिया गया है. इसके बॉटम एज में 3.5mm का ऑडियो जैक औऱ माइक्रो USB पोर्ट मौजूद है.
अब इसके रियर पैनल की बात करें तो इसके रियर में वर्टिकल अरेंजमेंट में LED फ्लैश के साथ डुअल कैमरा सेटअप दिया गया है. कैमरा मॉड्यूल के ठीक नीचे फिंगरप्रिंट स्कैनर दिया गया है. आप U शेप वाला एंटिन लाइन भी नजर आ जाएगा.
जहां तक स्पेसिफिकेशन्स की बात है, Huawei G10 में ऑक्टा-कोर प्रोसेसर,
4GB रैम
, 64GB इंटरनल स्टोरेज, 3,240mAh की बैटरी होने की उम्मीद है. बैक में दिए दो कैमरे 16 मेगापिक्सल और 2 मेगापिक्सल के हो सकते हैं वहीं फ्रंट में दिए दो कैमरे 13 मेगापिक्सल और 2 मेगापिक्सल के हो सकते हैं. |
भीमा कोरेगांव मामले में महाराष्ट्र सरकार की अपील पर सुनवाई पूरी, फैसला बाद में | सुप्रीम कोर्ट ने भीमा कोरेगांव हिंसा मामले में चार्जशीट दाखिल करने की अवधि 90 दिन बढ़ाने या न बढ़ाने के मामले की सुनवाई पूरी कर ली है. बॉम्बे हाई कोर्ट ने महाराष्ट्र सरकार की चार्जशीट दाखिल करने के मामले की अपील ठुकरा दी थी. इसके खिलाफ महाराष्ट्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में अपील की है.
सुप्रीम कोर्ट ने गुरुवार को इस मामले की सुनवाई पूरी कर ली. अब कोर्ट इसपर फैसला बाद में सुनाएगा. चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली बेंच ने सभी संबंधित पक्षों की दलीलें सुनने के बाद कहा कि इस पर फैसला बाद में सुनाया जाएगा.
शीर्ष अदालत ने उच्च न्यायालय के इस आदेश पर रोक लगा दी थी. राज्य पुलिस इस मामले में आरोप पत्र दाखिल कर चुकी है. पुणे पुलिस ने वकील सुरेन्द्र गाडलिंग, नागपुर विश्वविद्यालय में प्रोफेसर शोमा सेन, दलित कार्यकर्ता सुधीर धावले, कार्यकर्ता महेश राउत और केरल के रोना विल्सन को पिछले साल जून में माओवादियों से संबंध रखने के आरोप में गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) कानून के तहत गिरफ्तार किया था. |
दिल्ली में सफाई कर्मचारियों की हड़ताल पर राजनीति जारी | पूर्वी निगम के सफाई कर्मचारी हड़ताल पर हैं और मुद्दा वही सैलरी का है. निगम के सफाई कर्मचारी 3 महीने से सैलरी न मिलने से हड़ताल पर हैं. जहां आम आदमी पार्टी, कांग्रेस और बीजेपी ने एक दूसरे पर आरोप मढ़ना शुरू कर दिया है.
सवाल वही, आखिर क्यों बार-बार सफाई कर्मचारी हड़ताल पर जाते हैं. दरअसल देश के 5 राज्यों में चुनाव का ऐलान होते ही दिल्ली में भी इसकी सरगर्मियां तेज़ हो चुकी हैं. क्योंकि मार्च या अप्रैल में दिल्ली में
एमसीडी
चुनाव हो सकते हैं. जिसको लेकर अभी से ही आरोप प्रत्यारोप का दौर शुरू हो चूका है. दिल्ली में कूड़ा अब फैलने लगा है. जिसको लेकर आरडब्लूए ने भी समस्या का स्थायी हल निकालने की मांग की है.
पिछली बार हड़ताल काफी लंबी चली थी. सड़क पर फैले कूड़े के साथ-साथ ढलावघर के आसपास रहने वाले लोगों को बदबू से दो-चार होना पड़ा था. हालांकि, निगम पार्षद व आरडब्ल्यूए पदाधिकारियों ने सफाई
कर्मचारियों
से काम पर लौटने की अपील की है, लेकिन हड़ताल पर कोई असर होता नहीं दिखाई दे रहा है. समस्या के समाधान को लेकर कुछ ईस्ट दिल्ली ज्वाइंट फ्रंट-फेडरेशन ने दिल्ली के मुख्यमंत्री व स्वास्थ्य मंत्री को पत्र लिखा है. पिछले दो साल में आधा दर्जन से ज्यादा बार निगम के सफाई
कर्मचारी
वेतन समय पर नहीं मिलने से हड़ताल पर जा चुके हैं. वेतन नहीं मिलने से जहां कर्मचारियों को घर चलाने में दिक्कत हो रही है. वहीं, आम लोगों को भी इससे खासी दिक्कत होती है.
कांग्रेस ने जहां बीजेपी शासित एमसीडी पर इसके लिए भ्रष्टाचार का आरोप लगाया है तो वहीं बीजेपी जल्द इससे निपटने की बात कर रही है. लेकिन सवाल वही आखिर बार-बार हड़ताल का कारण क्या है? या फिर इसपर राजनीति हो रही है. |
NCP को एक और झटका, भास्कर जाधव आज शिवसेना का थामेंगे दामन | जाधव ने विधानसभा अध्यक्ष हरिभाऊ बागड़े को इस्तीफा सौंपा
मधुकर पिचद, बबनराव पचपुते शिवसेना में हो चुके हैं शामिल
राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) कांग्रेस के साथ मिलकर महाराष्ट्र में विधानसभा चुनाव लड़ने की तैयारी में जुटी हुई है, लेकिन एनसीपी के नेता पार्टी छोड़कर बीजेपी या शिवसेना का दामन थाम रहे हैं. एनसीपी के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष और पूर्व मंत्री भास्कर जाधव आज शिवसेना में शामिल होने वाले हैं.
सूत्रों ने बताया कि जाधव ने आज सुबह औरंगाबाद में विधानसभा अध्यक्ष हरिभाऊ बागड़े को अपना इस्तीफा सौंप दिया. जाधव फिर मुंबई जाएंगे और शिवसेना में शामिल होंगे. जाधव गुहागर विधानसभा सीट से फिलहाल विधायक हैं.
शिवसेना में जाना जाधव के लिए घर वापसी होगी. वह कुछ साल पहले शिवसेना छोड़ एनसीपी में शामिल हुए थे. जाधव NCP-कांग्रेस सरकार में राज्य मंत्री के रूप में काम कर चुके हैं. उन्हें महाराष्ट्र एनसीपी की जिम्मेदारी भी सौंपी गई थी.
एनसीपी का दामन छोड़ शिवसेना में शामिल होने वालों की सूची बढ़ती ही जा रही है. भास्कर जाधव से पहले एनसीपी के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष मधुकर पिचद, बबनराव पचपुते, मुंबई के अध्यक्ष सचिन अहीर, राज्य महिला विंग की अध्यक्ष चित्रा वाघ ने पार्टी छोड़ शिव सैनिक बन गए.
बता दें कि भास्कर जाधव पिछले एक महीने में शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे से दो बार मुलाकात कर चुके हैं. लिहाजा इस तरह की अटकलें लगाई जा रही थीं कि वह शिवसेना में शामिल हो सकते हैं. शुक्रवार को शिवसेना में उनके शामिल होने के साथ ही इन अटकलों पर मुहर लग जाएगी.
राज ठाकरे से हाथ मिलाने पर चल रहा विचार
बहरहाल, 10 सितंबर को कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी और एनसीपी के प्रमुख शरद पवार 10 सितंबर को दिल्ली में मुलाकात कर चुके हैं. उस दौरान दोनों नेताओं ने राज्य के सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी-शिवसेना गठबंधन को रोकने के लिए कांग्रेस और एनसीपी के बीच गठबंधन के मुद्दे पर बातचीत की जिसमें क्षेत्रीय पार्टियां भी शामिल होंगी.
कांग्रेस और एनसीपी राज्य में अपने भाजपा विरोधी गठबंधन में राज ठाकरे की महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना(एमएनएस) को भी शामिल करने पर विचार कर रहे हैं. वहीं पार्टी के एक नेता ने कहा कि महाराष्ट्र में बीजेपी विरोधी गठबंधन में एमएनएस को शामिल करने को लेकर कांग्रेस को कुछ संदेह है. इसलिए मुद्दे पर अंतिम निर्णय लेने से पहले, पार्टी के वरिष्ठ नेता प्रदेश नेतृत्व से बातचीत करेंगे.
पार्टी का अंतरिम अध्यक्ष बनने के बाद यह सोनिया की पवार से पहली मुलाकात थी. दो महीना पहले एमएनएस प्रमुख ठाकरे ने उनसे उनके आवास पर मुलाकात की थी, जिससे यह कयास लगाए जाने लगे थे कि वह भी राज्य में होने वाले विधानसभा चुनाव में बीजेपी-शिवसेना विरोधी गठबंधन का हिस्सा हो सकते हैं.
2014 के चुनाव में, बीजेपी ने 288 सदस्यीय विधानसभा में 122 सीटों पर कब्जा जमाया था, जबकि शिवसेना को 62 सीटें मिली थीं. कांग्रेस और एनसीपी को क्रमश: 42 व 41 सीटों के साथ संतुष्ट होना पड़ा था. |
कैराना उपचुनाव: लोकदल उम्मीदवार क्यों हटा? चुनाव आयोग से शिकायत | कैराना उपचुनाव में प्रचार के आखिरी दिनों में लोक दल के उम्मीदवार कंवर हसन के आरएलडी उम्मीदवार तबस्सुम हसन के पक्ष में बैठ जाने और समर्थन कर देने के बाद बीजेपी उम्मीदवार की मुश्किलें बढ़ गई हैं. जबकि गठबंधन की स्थिति और मजबूत हो गई है, लेकिन लोकदल ने चुनाव से अपने उम्मीदवार को बिठाए जाने की शिकायत चुनाव आयोग से की है.
लोकदल के राष्ट्रीय अध्यक्ष सुनील सिंह
ने चुनाव आयोग को लिखे पत्र में आरोप लगाया है कि उनके उम्मीदवार कंवर हसन को कालेधन का इस्तेमाल कर राष्ट्रीय लोक दल के बड़े लोगों ने अपने घर बुलाकर उनसे आरएलडी और सपा के जॉइंट उम्मीदवार को समर्थन दिलवाया और साथ ही उन्हें चुनाव से हट जाने के लिए मजबूर किया है. ऐसी स्थिति में चुनाव आयोग को इस मामले को संज्ञान लेना चाहिए कि आखिर किन परिस्थितियों में कैराना में उनके उम्मीदवार को मतदान के पहले दूसरे उम्मीदवार को समर्थन करना पड़ा और खुद को चुनाव से अलग करना पड़ा है.
बता दें कि तबस्सुम हसन और इमरान मसूद की इस इलाके में पुरानी अदावत है माना जा रहा है कि कुंवर हसन को कांग्रेस के इमरान मसूद का समर्थन हासिल था.
कंवर हसन तबस्सुम हसन के देवर
हैं, लेकिन कांग्रेस ने जब इमरान मसूद पर लगाम कसी तो वो न सिर्फ आरएलडी के समर्थन में आए बल्कि उनकी पहल पर ही कंवर हसन ने भी खुद को चुनाव से अलग किया है. इसके बाद अब यह लड़ाई सीधे-सीधे बीजेपी और सपा-आरएलडी गठबंधन के बीच सिमट गई है.
लोकदल ने आरोप लगाया है कि चौधरी अजीत सिंह की पार्टी ने उनके उम्मीदवार को चुनाव से हटाने के लिए कालेधन का इस्तेमाल किया है. ऐसे में आरएलडी के खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए.
कैराना की लड़ाई सीधे-सीधे बीजेपी और आरएलडी के बीच होती दिख रही है. बीजेपी के खिलाफ गठबंधन बनाने के लिए न सिर्फ जोरदार अभियान चल रहा है बल्कि चुन-चुनकर मैदान में उतरे उम्मीदवारों को चुनाव से हटाया भी जा रहा है. ऐसे में साफ है यह लड़ाई बीजेपी और विपक्षी गठबंधन के लिए जीने मरने का सवाल बन गया है.
सपा के उदयवीर सिंह कहते हैं कि हमारा गठबंधन पहले से ही मजबूत है लेकिन बीजेपी के खिलाफ हम उन तमाम ताकतों से अपील करते हैं कि वह हमारी इस लड़ाई में हमारे साथ खड़े हो जो बीजेपी को हराना चाहते हैं. अगर किसी कारणवश हमारे साथ नहीं आ सकते तो हमारे लिए बाधा न बनें.
बीजेपी प्रवक्ता चंद्रमोहन कहते हैं, 'विपक्ष हमें हराने के लिए तमाम हथकंडे अपना रहा है, लेकिन ये उनके किसी काम नहीं आने वाले हैं. प्रदेश की जनता मोदी-योगी का दौर देख चुकी है और अखिलेश यादव का वह दौर भी उसे याद है. कैराना के मैदान में कोई रहे या हटे BJP की सेहत पर कोई असर नहीं पड़ने वाला.
बहरहाल चुनाव खत्म होने में एक दिन का वक्त बचा है और दोनों पार्टियां साम दाम दंड भेद सब कुछ इस्तेमाल करने में जुटी हैं. अब देखना है कि कैराना की राजनीतिक लड़ाई कौन जीतता है? |
26 को आएगी 'भारत कुमार' की पैडमैन: बॉक्स ऑफिस पर अपनी ही फिल्म से लेंगे टक्कर | अरणांचलम मुरगननाथम के जीवन पर बनने वाली फिल्म 'पैडमैन' की रिलीज डेट का खुलासा हो गया है. फिल्म में अक्षय कुमार लीड रोल में हैं और उनके साथ राधिका आप्टे और सोनम कपूर है. फिल्म अगले साल 26 जनवरी को रिलीज होगी. अक्षय ने ट्वीट कर इसकी जानकारी दी.
Not all superheroes come with capes! Bringing you the true story of a real superhero,
#Padman
this Republic Day - 26th January, 2018!
pic.twitter.com/hcEcJPO6Up
— Akshay Kumar (@akshaykumar)
October 29, 2017
फिल्म को आर बाल्की ने डायरेक्ट किया है और ट्विंकल खन्ना ने प्रोड्यूस किया है. अक्षय ने फिल्म की शूटिंग 37 दिनों में ही खत्म दी है. आर बाल्की ने 'चीनी कम', 'पा', 'शमिताभ', 'की एंड का' जैसी फिल्मों को डायरेक्ट किया है.
अरणांचलम कोयमंबटूर के निवासी हैं. उन्होंने पहली बार देश में किफायती कीमत वाले सेनेटरी नैपकीन इजाद की थी. ट्विंकल खन्ना ने 'द लीजेंड ऑफ लक्ष्मी प्रसाद' नाम की एक किताब लिखी है, जिसमें अरणांचलम मुरगननाथम की कहानी बताई गई है. यह फिल्म बतौर प्रोड्यूसर ट्विंकल की पहली फिल्म है.
ट्विंकल खन्ना की बेबाक सलाह- लेडीज, पीरियड्स पर शर्म ना करें...
पहले इस फिल्म की रिलीज डेट 13 अप्रैल 2018 था, लेकिन अब इसे गणतंत्र दिवस पर ही रिलीज किया जा रहा है. इसी शूटिंग इंदौर, दिल्ली और बनारस में हुई है.
Pad-up and get ready for MrsFunnybones Movies and R. Balki's Padman -April 13,2018
@akshaykumar
@radhika_apte
@sonamakapoor
@kriarj
pic.twitter.com/62wkVZ4QYe
— Twinkle Khanna (@mrsfunnybones)
August 3, 2017
फिल्म के बारे में बात करते हुए अक्षय ने कहा था- 'इस फिल्म का आइडिया ट्विंकल ने दिया था. मेरे अंदर इस फिल्म के लिए मोटिवेशन मेरे घर की महिलाओं से आया. ट्विंकल महिलाओं से जुड़ी हर समस्या के बारे में मुझसे बात करती हैं. भारत में आज भी 91% महिलाएं पैड की इस्तेमाल नहीं करती हैं, क्योंकि उनके पास इसके लिए पैसे नहीं हैं. इसकी समस्या टॉयलेट से भी ज्यादा गंभीर है.'
ट्विंकल बोलीं- सैनिटरी पैड पर GST नहीं, ओवरफ्लो का एक अलार्म दे दीजि
ए
फिल्म का बजट 35-40 करोड़ रुपये बताया जा रहा है. बीच में ऐसी खबरें आ रही थी कि प्रोडक्शन हाउस पैसों की समस्या से जूझ रहा है, लेकिन ये बातें महज अफवाह थी.
आपको बता दें कि अक्षय कुमार-रजनीकांत स्टारर '2.0', 25 जनवरी को रिलीज होगी. पूरा जनवरी अक्षय के नाम ही होने वाला है. |
शरद पवार: जबरदस्त खिलाड़ी, चाहे वह खेल हो, राजनीति या फिर कॉन्ट्रोवर्सी | शरद पवार, भारतीय राजनीति की ऐसी शख्सियत हैं जिन्होंने राज्य की राजनीति जितने दबंग तरीके से की, उससे ज्यादा केंद्र की राजनीति में पकड़ बनाई. चार बार महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री रहे शरद पवार का नाम एक समय देश के प्रधानमंत्री के लिए भी चला था, लेकिन उस समय पी वी नरसिम्हा राव प्रधानमंत्री बने और उन्हें रक्षामंत्री के पद से संतोष करना पड़ा था.
राजनीति के साथ खेल संगठनों में भी इनकी अच्छी खासी पकड़ रही. कई आरोप और विवादित बयान भी इनके साथ जुड़े हुए हैं. विदर्भ क्षेत्र में पवार की 'राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी' (NCP) का वर्चस्व है. इन्हें देश का दूसरा सर्वोच्च नागरिक पुरस्कार पदम विभूषण से भी नवाजा गया है. इस समय वे संसद में राज्यसभा सदस्य की हैसियत से सांसद हैं.
युवाओं को आगे लाने के लिए पवार ने पिछला लोकसभा चुनाव नहीं लड़ा था. परंपरागत सीट बारामती पर उनकी बेटी सुप्रिया सुले सांसद हैं. शरद पवार 11 भाई-बहन थे. ऐसे में अब उनका पूरा कुनबा राजनीति की तरफ मुड़ता नजर आता जा रहा है. शरद पवार के भतीजे पहले ही उपमुख्यमंत्री रहे हैं. 2014 में उनकी बेटी सुप्रिया सुले भी सांसद बन गई हैं अब अगली जंग तीसरी पीढ़ी में हो रही है कि किस सीट से कौन चुनाव लड़ेगा.
दरअसल, शरद पवार ने ऐलान किया था कि वह इस बार भी आम चुनाव नहीं लड़ेंगे, बल्कि पार्टी को मजबूत करने का काम करेंगे. हालांकि खबरें ये भी हैं कि चुनाव लड़ने को लेकर पवार परिवार में अनबन चल रही है. पहले शरद पवार ने कहा था कि उनके परिवार से वो और सुप्रिया सुले ही चुनाव लड़ेंगे. लेकिन बाद में उनके भतीजे अजित पवार के बेटे पार्थ पवार की मावल लोकसभा सीट से टिकट दे दिया गया. इसी बीच शरद पवार ने खुद चुनाव लड़ने से मना कर दिया.
इसी के बाद से पवार परिवार में अनबन की खबरें आ रही हैं. फिर शरद पवार के बड़े भाई के पोते रोहित पवार ने फेसबुक पोस्ट लिख शरद पवार से अपील की है कि वह अपने विचार पर मंथन करें और कार्यकर्ताओं की भावनाओं का सम्मान करें.
शरद पवार के बारे में
शरद पवार का जन्म 12 दिसम्बर 1940 में महाराष्ट्र के पुणे में हुआ था. उनके पिता गोविंदराव पवार बारामती के कृषक सहकारी संघ में काम करते थे और उनकी माता शारदाबाई पवार, कातेवाड़ी में परिवार के काम की देख-रेख करती थीं. शरद पवार ने पुणे विश्वविद्यालय से सम्बद्ध ब्रिहन महाराष्ट्र कॉलेज ऑफ कॉमर्स से अपनी पढ़ाई पूरी की.
शरद पवार का राजनीतिक सफर
महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री यशवंतराव चव्हाण को शरद पवार का राजनैतिक गुरु माना जाता है. साल 1967 में शरद पवार कांग्रेस पार्टी के टिकट पर बारामती विधान सभा क्षेत्र से चुनकर पहली बार महाराष्ट्र विधान सभा पहुंचे. सन 1978 में पवार ने कांग्रेस पार्टी छोड़ दी और जनता पार्टी के साथ मिलकर महाराष्ट्र में एक गठबंधन सरकार बनाई. इस गठबंधन की वजह से वे पहली बार राज्य के मुख्यमंत्री बन गए.
साल 1980 में सत्ता में वापसी के बाद इंदिरा गांधी सरकार ने महाराष्ट्र सरकार को बर्खास्त कर दिया. साल 1980 के चुनाव में कांग्रेस पार्टी को पूर्ण बहुमत मिला और एआर अंतुले के नेतृत्व में कांग्रेस पार्टी की सरकार बनी. साल 1983 में पवार, भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस (सोशलिस्ट) के अध्यक्ष बने और अपने जीवन में पहली बार बारामती संसदीय क्षेत्र से लोकसभा चुनाव जीता. उन्होंने साल 1985 में हुए विधानसभा चुनाव में भी जीत हासिल की और राज्य की राजनीति में ध्यान केन्द्रित करने के लिए लोकसभा सीट से त्यागपत्र दे दिया. विधानसभा चुनाव में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस (सोशलिस्ट) को 288 में से 54 सीटें मिली और शरद पवार विपक्ष के नेता चुने गए.
साल 1987 में शरद पवार कांग्रेस पार्टी में वापस आ गए. जून 1988 में तत्कालीन प्रधानमंत्री राजीव गांधी ने महाराष्ट्र के तत्कालीन मुख्यमंत्री शंकरराव चौहान को केन्द्रीय वित्त मंत्री बना दिया जिसके बाद शरद पवार राज्य के दूसरी बार मुख्यमंत्री बनाए गए. साल 1989 के लोकसभा चुनाव में महाराष्ट्र की कुल 48 सीटों में से कांग्रेस ने 28 सीटों पर विजय हासिल की. फरवरी 1990 में हुए विधानसभा चुनाव में शिवसेना और बीजेपी गठबंधन ने कांग्रेस को कड़ी टक्कर दी. कांग्रेस ने कुल 288 सीटों में से 141 सीटों पर विजय हासिल की पर बहुमत से चूक गई. शरद पवार 12 निर्दलीय विधायकों से समर्थन लेकर तीसरी बार मुख्यमंत्री बने.
साल 1991 लोकसभा चुनाव प्रचार के दौरान प्रधानमंत्री राजीव गांधी की हत्या कर दी गई जिसके बाद अगले प्रधानमंत्री के रूप में नरसिंह राव और एनडी तिवारी के साथ-साथ शरद पवार का नाम भी आने लगा. कांग्रेस संसदीय दल ने नरसिंह राव को प्रधानमंत्री के रूप में चुना और शरद पवार रक्षा मंत्री बनाए गए. मार्च 1993 में तत्कालीन मुख्यमंत्री सुधाकरराव नायक के पद छोड़ने के बाद पवार महाराष्ट्र के चौथी बार मुख्यमंत्री बने. वे 6 मार्च 1993 में मुख्यमंत्री बने पर उसके कुछ दिनों बाद ही महाराष्ट्र की राजधानी मुंबई 12 मार्च को बम धमाकों से दहल गई और सैकड़ों लोग मारे गए.
साल 1993 के बाद शरद पवार पर भ्रष्टाचार और अपराधियों से मेल-जोल के आरोप लगे. बृहन्मुंबई नगर निगम के उपायुक्त जीआर खैरनार ने उन पर भ्रष्टाचार और अपराधियों को बचाने के आरोप लगाए. सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे ने भी महाराष्ट्र वन विभाग के भ्रष्ट अधिकारियों को नौकरी से बर्खास्त करने की मांग की और अनशन किया. विपक्ष ने भी पवार पर इन मुद्दों को लेकर निशाना साधा. इन सब बातों से पवार की राजनैतिक साख भी गिरी.
साल 1995 के विधानसभा चुनाव में शिवसेना-बीजेपी गठबंधन ने कुल 138 सीटों पर विजय हासिल की जबकि कांग्रेस पार्टी केवल 80 सीटें ही जीत सकी. शरद पवार को इस्तीफा देना पड़ा और मनोहर जोशी प्रदेश के नए मुख्यमंत्री बने. सन 1996 के लोकसभा चुनाव तक शरद पवार राज्य विधान सभा में विपक्ष के नेता रहे. लोकसभा चुनाव में जीत के बाद उन्होंने विधानसभा से त्यागपत्र दे दिया.
साल 1998 के मध्यावधि चुनाव में शरद पवार के नेतृत्व में कांग्रेस पार्टी और उसके सहयोगी दलों ने महाराष्ट्र में 48 सीटों में से 37 सीटों पर कब्जा जमाया. शरद पवार 12वीं लोकसभा में विपक्ष के नेता चुने गए.
साल 1999 में जब 12वीं लोकसभा भंग कर दी गई और चुनाव की घोषणा हुई, तब शरद पवार, तारिक अनवर और पीए संगमा ने कांग्रेस के अंदर ये आवाज उठाई कि कांग्रेस पार्टी का प्रधानमंत्री उम्मीदवार भारत में जन्म लिया हुआ होना चाहिए न कि किसी और देश में. जून 1999 में ये तीनों कांग्रेस से अलग हो गए और 'नेशनलिस्ट कांग्रेस पार्टी' की स्थापना की. जब 1999 के विधानसभा चुनाव में किसी भी पार्टी को स्पष्ट बहुमत नहीं मिला तब कांग्रेस और नेशनलिस्ट कांग्रेस पार्टी ने मिलकर सरकार बनाई.
साल 2004 लोकसभा चुनाव के बाद शरद पवार यूपीए गठबंधन सरकार में शामिल हुए और उन्हें कृषि मंत्री बनाया गया. साल 2012 में उन्होंने 2014 का चुनाव न लड़ने का ऐलान किया ताकि युवा चेहरों को मौका मिल सके.
खेलों संगठनों के 'खिलाड़ी' रहे हैं पवार
शरद पवार कबड्डी, खो-खो, कुश्ती, फुटबाल और क्रिकेट जैसे खेलों में दिलचस्पी रखते हैं और इनके प्रशासन से भी जुड़े रहे हैं. वे मुंबई क्रिकेट एसोसिएशन, महाराष्ट्र कुश्ती एसोसिएशन, महाराष्ट्र कबड्डी एसोसिएशन, महाराष्ट्र खो-खो एसोसिएशन, महाराष्ट्र ओलंपिक्स एसोसिएशन, भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड, अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट परिषद् के उपाध्यक्ष, अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट परिषद् के अध्यक्ष रह चुके हैं.
विवादों से भी रहा नाता
शरद पवार के राजनितिक जीवन में समय-समय पर विवादों में भी उनका नाम आया. उन पर भ्रष्टाचार, अपराधियों को बचाने, स्टाम्प पेपर घोटाले, जमीन आवंटन विवाद जैसे मामलों कें शामिल होने के आरोप लगे.
राजनीति के साथ पत्रकारिता से भी जुड़ा है परिवार
शरद पवार का विवाह प्रतिभा शिंदे से हुआ. पवार की एक पुत्री है जो बारामती संसदीय क्षेत्र से सांसद है. शरद पवार के भतीजे अजित पवार भी महाराष्ट्र की राजनीति में प्रमुख स्थान रखते हैं और पूर्व में महाराष्ट्र के उप-मुख्यमंत्री रह चुके हैं. शरद के छोटे भाई प्रताप पवार मराठी दैनिक 'सकाल' का संचालन करते हैं. |
परफॉर्मेंस नहीं पॉलिटिकल वजह से 'पावर लेडी' बनीं निर्मला सीतारमण! | केंद्र में मोदी सरकार के सबसे अहम कैबिनेट विस्तार में प्रमुख धारणा थी कि परफॉर्मेंस को आधार मान कर मंत्रियों के विभाग में बड़े फेरबदल किए जाएंगे. इस धारणा के विपरीत निर्मला सीतारमन को कॉमर्स मिनिस्ट्री से प्रमोट कर सीधे डिफेंस की जिम्मेदारी दे दी गई. बीते तीन साल के दौरान बतौर कॉमर्स मिनिस्टर निर्मला सीतारमण की ऐसी क्या उपलब्धियां रहीं कि परफॉर्मेंस को आधार बनाकर उन्हें यह जिम्मेदारी दी गई? या फिर दी गई इस जिम्मेदारी का महज राजनीतिक कारण है कि निर्मला एक 'पावर लेडी' बनकर उभरी हैं.
बीजेपी के लिए दक्षिण भारत से अबतक वेंकैया नायडू सबसे बड़ा चेहरा था. उन्हें उपराष्ट्रपति बना दिए जाने के बाद पार्टी के लिए सबसे बड़ी चुनौती दक्षिण में एक नया चेहरा देने की थी. निर्मला तमिलनाडु से हैं. दक्षिण के राज्यों में सभी राजनीतिक दलों से उनके अच्छे संबंध रहे हैं और उनका पूरा राजनीतिक सफर विवादों से दूर रहा है. ऐसे में वेंकैया की जगह लेने के लिए बीजेपी के पास निर्मला से बेहतर कोई और नेता नहीं था.
तमिलनाडु से होने के साथ-साथ निर्मला की पढ़ाई-लिखाई दिल्ली में हुई है. इसी वजह से अंग्रेजी के साथ-साथ हिंदी पर भी उनकी पकड़ रही है. साथ ही वह तमिल के अलावा अन्य दक्षिण क्षेत्र की भाषाओं में भी संवाद कर सकती हैं. वह पूर्व में पार्टी की प्रवक्ता पद की जिम्मेदारी भी बखूबी निभा चुकी हैं. लिहाजा, निर्मला के रूप में बीजेपी को राष्ट्रीय स्तर पर एक बड़े चेहरे की कमी को पूरा करने का मौका मिल गया है.
इसे भी पढ़ें: इकोनॉमी के फ्रंट पर कहीं जॉर्ज बुश जैसे मात न खा जाएं नरेंद्र मोदी
दक्षिण के राज्यों में बीजेपी के सामने सबसे बड़ी चुनौती 2018 में कर्नाटक और आंध्रप्रदेश के विधानसभा चुनाव है. वहीं, कैबिनेट विस्तार से पहले और वेंकैया नायडू के उपराष्ट्रपति बनने के बाद मोदी सरकार में दक्षिण से कोई बड़ा मंत्री नहीं था. निर्मला को प्रमोट कर मोदी सरकार ने इन राज्यों को साफ संकेत दिए हैं कि केंद्र की सरकार में दक्षिण राज्यों की अपनी अहमियत है.
इनके अलावा निर्मला को पावर लेडी बनाने में एक अहम पक्ष यह था कि मोदी सरकार में किसी तेज-तर्रार व्यक्ति के हाथ में डिफेंस मंत्रालय की कमान नहीं दी जानी थी. जिसके चलते बार-बार यह मंत्रालय बतौर अन्य कमान के तौर पर वित्त मंत्री के अधीन रहा. अब डिफेंस की जिम्मेदारी निर्मला को देने के बाद साफ है कि मंत्रालय के सभी छोटे-बड़े फैसले प्रधानमंत्री की निगरानी में लिए जा सकेंगे.
गौरतलब है कि इन राजनीतिक कारणों से निर्मला को डिफेंस मंत्रालय का कार्यभार दिया गया है, यह इससे भी स्पष्ट होता है कि बीते 3 साल के दौरान बतौर कॉमर्स मिनिस्टर उनकी कोई खास उपलब्धि नहीं रही. पिछले तीन साल के दौरान एक्सपोर्ट के आंकड़े हों या इंडस्ट्रियल सेक्टर के परफॉर्मेंस या फिर लगातार जीडीपी में दर्ज होती गिरावट इस बात को और पुख्ता करती हैं कि निर्मला का योगदान कोई खास नहीं रहा है. आर्थिक फ्रंट पर इस स्थिति के लिए सिर्फ वित्त मंत्री अरुण जेटली को अकेले जिम्मेदार नहीं ठहराया जा सकता, क्योंकि इन क्षेत्रों में उनके साथ निर्मला का भी दायित्व रहा है. |
जब ऑन स्क्रीन सास-ननद ने एरिका फर्नांडिस को शर्मिंदा होने से बचा लिया | कपड़ों के कारण सेलिब्रिटीज़ को अक्सर शर्मिंदगी का शिकार होना पड़ता है. ऐसा कई बार देखा गया है कि सेलिब्रिटीज़ को ड्रेस के कारण लोगों के सामने ऊप्स मूवमेंट का सामना करना पड़ा है. इसी तरह एक पार्टी के दौरान टीवी एक्ट्रेस एरिका फर्नांडिस की ड्रेस ने भी धोखा दे दिया. उनके इस मूवमेंट का एक वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है.
पॉपुलर टीवी शो कसौटी जिंदगी की 2 की एक्ट्रेस एरिका फर्नांडिस भी इस तरह की घटना का शिकार हो चुकी हैं लेकिन उन्होंने समय रहते खुद को संभाल लिया. हुआ यूं कि एरिका पार्टी अटेंड करने पहुंची थी. इस दौरान उन्होंने रेड कार्पेट पर वॉक किया. तभी उनकी साड़ी का पल्लू गिर जाता है. इस दौरान शर्मिंदगी से खुद को बचाने के लिए वह तुरंत पल्लू पकड़ लेती हैं. एरिका की ऑनस्क्रीन सास सुभावी चौकसे और ननद पूजा बनर्जी भी मौके पर मौजूद थीं. उन्होंने तुरंत एरिका को सामने से कवर कर लिया और उनका पल्लू ठीक किया.
View this post on Instagram
Travelling with the mommys #indonesia #ejf #ericafernandes #traveldiaries #travelblogger #instatravel #flight
A post shared by
ERICA JENNIFER FERNANDES
(@iam_ejf) on
Jun 8, 2019 at 6:31am PDT
View this post on Instagram
Funny faces 🤪 #funnyfaces #bloggergirl #ericafernandes #ejf 🆒 #selfie #selfienation #toptags #selfies #instahub
A post shared by
ERICA JENNIFER FERNANDES
(@iam_ejf) on
Jun 20, 2019 at 6:30am PDT
शो की बात करें तो मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, इसमें हिना खान की फिर से एंट्री होने वाली है. इस बार हिना खान तगड़ी प्लानिंग के साथ अनुराग और प्रेरणा की जिंदगी में जहर घोलने के लिए लौटी हैं. बताया जा रहा है कि शो में अनुराग और प्रेरणा की शादी को रोकने के लिए हिना खान मिस्टर बजाज के साथ हाथ मिलाएंगी.
गौरतलब है कि शो कसौटी जिंदगी की 2 में पिछले दिनों ही मिस्टर बजाज यानी करण सिंह ग्रोवर ने एंट्री मारी है. करण के शो में लौटने से दर्शकों में कसौटी 2 को लेकर उत्सुकता बढ़ गई है. करण फिल्मों में एंट्री मारने से पहले कई हिट सीरियल में अपनी एक्टिंग का लोहा मनवा चुके हैं. अब देखना है कि मिस्टर बजाज के रूप में करण सिंह ग्रोवर को कितना पसंद किया जाता है. |
पाकिस्तानः कराची के जिन्ना एयरपोर्ट पर मुंबई जैसा आतंकी हमला, 10 आतंकवादी ढेर | पाकिस्तान के कराची शहर के जिन्ना इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर रविवार रात हथियारों से लैस आतंकवादियों ने हमला कर दिया. मुंबई में हुए 26/11 हमलों की तर्ज पर किए गए इस अटैक में 10 आतंकियों और पाकिस्तान के 13 जवानों की मौत हो गई.
इस हमले में एयरपोर्ट की इमारत बुरी तरह क्षतिग्रस्त हो गई है. हमले के पीछे की वजह एयरपोर्ट को तहस-नहस करना था.सोमवार दोपहर तक जिन्ना एयरपोर्ट को खोल दिया जाएगा. पाकिस्तानी सेना अभी भी एयरपोर्ट पर सर्च ऑपरेशन कर रही है.
आंतकी भारी मशीन गन और बम सहित एयरपोर्ट में घुसने में कामयाब हो गए. जिस टर्मिनल को आंतकियों ने निशाना बनाया वो हज यात्रियों और वीवीआईपी यात्रियों के लिए है. शुरुआती मुठभेड़ में ही आतंकियों ने 4 सुरक्षा कर्मचारियों को गोली मारकर घायल कर दिया.
आतंकियों ने विमान खड़े होने की जगह को कब्जे में ले लिया और उसके बाद कराची के आसामान में धुंए के बगूल उड़ने लगे. रुक-रुक कर गोलियों और धमाकों की आवाज से एयरपोर्ट गूंजने लगा.
पाकिस्तान सरकार ने तुरंत कराची शहर को सील कर दिया. हमला होने के बाद जिन्ना एयरपोर्ट पर सभी फ्लाइट ऑपरेशन कैंसल कर दिए गए. इसके साथ ही पाकिस्तान के सभी एयरपोर्ट पर अलर्ट जारी कर दिया गया.
आतंकियों और पाकिस्तान की एएसएफ और सुरक्षा दस्तों के बीच भारी फायरिंग के दौरान एयरपोर्ट पर रखे कार्गो कंटेनरों में भीषण आग लग गई.
इसके बाद आंतकियों ने एक विमान को धमाका कर तहस-नहस कर दिया. आतंकी हमले में एमक्यूएम नेता फारूक सत्तार भी फंस गए. सत्तार हमले के वक्त रनवे पर खड़े विमान में सवार थे. हमला करने वाले आतंकी पश्तो में बातचीत कर अपनी योजना बनाते रहे और कराची एयरपोर्ट पर पाकिस्तान के सुरक्षा कर्मी घंटों लाचार बने रहे.
एयरपोर्ट की सुरक्षा में लगाए गए कैमरे रात में काम करने लायक नहीं हैं. इसका फायदा आतंकियों ने बखूबी उठाया. आतंकी सैटेलाइट फोन के जरिए अपने आकाओं से जुड़े रहे.
पूरी रात कराची का एयरपोर्ट गोलियों की तड़तड़ाहट और धमाकों के शोर से गूंजता रहा. |
जल्द ही सिर्फ 39 दिनों में मंगल पर पहुंच सकेगा इंसान | अब महज कुछ ही दिनों में इंसान
मंगल ग्रह
पर पहुंच सकेगा. एक अमेरिकी कंपनी एक ऐसे इंजन को विकसित करने में लगी है जिसकी मदद से इंसान को केवल 39 दिनों में मंगल पर भेजा जा सकता है.
नासा ने इसके लिए कंपनी को
एक करोड़ डॉलर का अनुदान
दिया है. टेक्सास के वेबस्टर में स्थित ऐड एस्ट्रा रॉकेट कंपनी वस्मिर इंजन का विकास करेगी जिसमें प्रणोदक (प्रोपेलेंट) के रूप में प्लाज्मा का इस्तेमाल किया जाएगा.
कंपनी के सीईओ फ्रैंकलिन चांग डियाज ने कहा, ‘आपने पहले कभी ऐसा
रॉकेट नहीं देखा
होगा. यह एक प्लाज्मा रॉकेट है. वस्मिर रॉकेट का इस्तेमाल प्रक्षेपण के लिए नहीं किया जाता. इसका इस्तेमाल वहां पहले से मौजूद चीजों के लिए किया जाता है जिसे हम इन स्पेस प्रोपल्शन कहते हैं.’
चांग अतंरिक्षयात्री रह चुके हैं और सात अंतरिक्ष यान अभियानों में उड़ान भर चुके हैं. यह इंजन रेडियो तरंगों की मदद से प्लाज्मा को अत्यधिक तापमान पर गर्म कर काम करता है. इसके बाद मजबूत चुंबकीय क्षेत्र इस प्लाज्मा को इंजन के पीछे से बाहर निकालते हैं. इसकी वजह से धक्का लगता है और तेज गति के साथ इंजन आगे बढ़ता है. rt.com की खबर के अनुसार
नासा इंजन
को अंतरिक्ष में उड़ान भरने लायक बनाने के लिए कंपनी को तीन साल में एक करोड़ डॉलर देगा.
इनपुटः भाषा |
पंजाब से पाकिस्तानी जासूस गिरफ्तार, छुपकर ले रहा था तस्वीरें | एक तरफ जहां भारत और पाकिस्तान के बीच 14 फरवरी को हुए पुलवामा हमले के बाद तनाव चरम पर है. वहीं, पंजाब के फिरोजपुर में शुक्रवार को पाकिस्तान के लिए काम कर रहे जासूस को गिरफ्तार किया गया है. बॉर्डर सिक्योरिटी फोर्स (बीएसएफ) ने उसके कब्जे से पाकिस्तान कीसिम समेत एक पाकिस्तानी मोबाइल फोन भी बरामद किया है. बताया जाता है कि पकड़ा गया जासूस पाकिस्तान के छह संदिग्ध व्हाट्सएप ग्रुप का सदस्य रहा है.
Punjab: BSF in Ferozepur has arrested an Indian national near border out post, Maboke&seized a mobile phone with Pakistani SIM card, in use, from his possession. The number is added to 8 Pak groups. 6 other Pak phone numbers also retrieved from him. The man is from Moradabad (UP)
— ANI (@ANI)
March 1, 2019
पकड़े गए जासूस की पहचान 21 वर्षीय मोहम्मद शाहरुख के तौर पर की गई है. उसे सीमा की बाहरी पोस्ट माबों के पास संदिग्ध परिस्थितियों में गिरफ्तार किया गया. आरोपी जासूस चादर में खुद को लपेटकर तस्वीरें क्लिक करने की कोशिश कर रहा था. शुरुआती जांच में सामने आयाहै कि वह उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद का रहने वाला है. उसके पास से पाकिस्तान के छह और फोन नंबर भी मिले हैं.
गौरतलब है कि इससे पहले जनवरी के आखिरी सप्ताह में ही जासूसी मामले में राजस्थान पुलिस ने दिल्ली से 2 लोगों को गिरफ्तार किया था. दोनों आरोपी सेना के जवानों को हनीट्रैप पर फंसाते थे और सूचना लेकर पाकिस्तान भेजा करते थे.
इससे करीब 15 दिन पहले जैसलमेर से सेना के एक सिपाही सोमवीर फौजी को गिरफ्तार किया गया था. सोमवीर पाकिस्तानी लड़की जो आईएसआई के लिए काम करती थी, उससे हनीट्रैप का शिकार हुआ और सेना की गोपनीय जानकारी उसे दे दी.
बता दें कि भारत पाकिस्तान तनाव के मद्देनजर सुरक्षा एजेंसियां का अलर्ट पर हैं. खुफिया सूत्रों के मुताबिक, भारत में आतंकी संगठन बड़ा हमला करने की फिराक में हैं. इस अलर्ट में साफ तौर पर कहा गया है कि पाकिस्तान आतंकी समूह अब जम्मू- कश्मीर के अलावा हाई वैल्यूटारगेट पर हमला करना चाहते है. साथ ही जैश-ए-मोहम्मद समेत और बाकी आतंकी गुटों के पकड़े गए आतंकियों से पूछताछ में इस बात का पता चला है.
अलर्ट में बताया गया है कि देश के नामी और बड़े नेता, रेलवे लाइन, तेल के डिपो, राइट विंग से जुड़े लोग आतंकियों के निशाने पर हैं. साथ ही आर्मी और पुलिस के वे रिटायर्ड अफसर जिन्होंने आतंकवाद या फिर खालिस्तान मूवमेंट के दौरान आतंकियों की धरपकड़ की थी वे भी आतंकियोंके निशाने पर हैं.
दिल्ली के 29 महत्वपूर्ण स्थानों को आतंकी निशाना बनाए जाने की बात भी सामने आई है. जिनमें इंडिया गेट, सेना भवन, प्रेसीडेंट हॉउस, संसद भवन, सुप्रीम कोर्ट, सरोजनी नगर बाजार, चांदनी चौक, पालिका बाजार, लक्ष्मी नारायण मंदिर, लोटस टेम्पल, लाल किला, चीफ जस्टिस का घर, दिल्ली एयरपोर्ट का पार्किंग एरिया, दिल्ली रेलवे स्टेशन, दिल्ली विश्वविद्यालय, एम्स, मॉल्स सिनेमा हॉल डिफेंस कालेज, अक्षरधाम मंदिर और यहां तक की दिल्ली मेट्रो भी शामिल है. |
मेहमान करते रहे इंतजार, नवाज ने RSS के इवेंट को 'मंटो' से ज्यादा दी तवज्जो! | बॉलीवुड अभिनेता
नवाजुद्दीन सिद्दीकी
ने अपनी आने वाली फिल्म 'मंटो' के प्रीमियर इवेंट पर राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के कार्यक्रम को तवज्जो दी. दिल्ली में आरएसएस का इवेंट था. सोमवार शाम को मुंबई में मंटो का प्रीमियर रखा गया था. एक ही दिन दोनों कार्यक्रम होने की वजह से नवाज सबसे पहले संघ के कार्यक्रम में पहुंचे. नवाज काफी देर तक संघ के कार्यक्रम में थे. इस दौरान उन्हें संघ प्रमुख मोहन भागवत के साथ बैठे देखा गया.
नवाज, संघ के इवेंट में शामिल होने के बाद मुंबई निकल गए. रिपोर्ट्स के मुताबिक आरएसएस के इवेंट में पहुंचने की वजह से नवाज अपनी फिल्म "
मंटो
" के प्रीमियर पर थोड़ा लेट पहुंचे. कई मेहमान उनका इंतजार ही करते रह गए. बता दें कि मंटों मशहूर लेखक-पत्रकार सआदत हसन मंटो के जीवन पर बनी फिल्म है. इसका निर्देशन
नंदिता दास
ने किया है. दुनिया के कई फिल्म फेस्टिवल में सराहना पाने के बाद 21 सितंबर को इसे भारत में रिलीज किया जा रहा है. नवाज, एक और बायोपिक में हिंदुत्ववादी नेता बाल ठाकरे की भूमिका निभा रहे हैं.
आरएसएस के इवेंट में शामिल हुए बॉलीवुड के सितारे
दिल्ली में आरएसएस के तीन दिवसीय इवेंट में कई बॉलीवुड सितारे शामिल हुए. नवाज के अलावा अनु मलिक, मनीषा कोइराला, अन्नू कपूर और मधुर भंडारकर जैसे सितारे प्रमुखता से इवेंट में मौजूद थे.
सितारों का जमावड़ा
मुंबई में मंटो की स्पेशल स्क्रीनिंग में सितारों का जमावड़ा देखा गया. फिल्म की निर्देशक नंदिता दास के साथ
रेखा
, ईला अरुण, लिलेट दुबे, राहुल बोस और इम्तियाज अली प्रमुखता से नजर आए.
कौन हैं मंटो ?
मंटो उर्दू के लेखक-पत्रकार थे. उनका जन्म 11 मई 1912 को अविभाजित भारत में हुआ था. बू, खोल दो, ठंडा गोश्त और चर्चित टोबा टेक सिंह जैसी कहानियों के लिए मंटो याद किए जाते हैं. कहानियों में अश्लीलता के आरोप की वजह से मंटो को मुकदमे भी झेलने पड़े थे. मंटो काफी दिन मुंबई रहे और पाकिस्तान बनने के बाद वहीं चले गए. मंटो ज्यादा दिन नहीं जिए, 1955 में उनका निधन हो गया. |
14 दिसंबर 2012 : किन खबरों पर रहेगी नजर | पाक गृहमंत्री मलिक आएंगे भारत
पाकिस्तान के गृहमंत्री रहमान मलिक आज आएंगे भारत, सुशील कुमार शिंदे से मुलाकात में वीजा के साथ आंतकवाद के मुद्दे पर हो सकती है बात.दो दिनों का है रहमान मलिक का भारत दौरा, दिल्ली के साथ ही आगरा और फतेहपुर सिकरी जाने का हो सकता है कार्यक्रम.
टीम इंडिया के सामने मेहमानों को जल्द समेटने की चुनौती
नागपुर टेस्ट में दूसरे दिन टीम इंडिया के सामने होगी मेहमानों को जल्द समेटने की चुनौती, पहले दिन इंग्लैंड ने 5 विकेट खोकर बनाए 199 रन. इंग्लैंड टीम ने दो बदलाव किए हैं, फिन की जगह ब्रेसनन और समित पटेल की जगह जो रूट खेल रहे हैं नागपुर टेस्ट. दोनों पर गेंजबाजी का दारोमदार है.
संसद में प्रमोशन में आरक्षण पर चर्चा
संसद में आज फिर प्रमोशन में आरक्षण पर हो सकती है चर्चा. गुरुवार को समाजवादी पार्टी के ज़ोरदार विरोध के बावजूद राज्यसभा में प्रमोशन बिल पर हुई बहस. बीजेपी ने प्रमोशन बिल के कुछ प्रावधानों का विरोध किया है. अरुण जेटली ने कहा है कि ग़लत लोग प्रमोशन में आरक्षण का उठाएंगे फायदा.
गांधीनगर में सोनिया की चुनावी सभा
गुजरात में पहले दौर के मतदान के बाद दूसरे दौर का प्रचार अभियान हो गया तेज हो गया है है. यूपीए प्रमुख सोनिया गांधी आज गांधीनगर के कलोल में करेंगी चुनावी सभा.
मणिनगर में नरेंद्र मोदी की सभा
दूसरे दौर के चुनाव के लिए राज्य के मुख्यमंत्री नरेन्द्र मोदी का प्रचार भी शुरु हो चुका है. मोदी आज साठ रैलियां कर रहे हैं. इनमें 53 रैलियां मोदी थ्री-डी के जरिये कर रहे हैं, जबकि दूसरी सात रैलियों में भी हिस्सा ले रहे हैं. मोदी की आखिरी रैली आज उनकी अपनी सीट मणिनगर में होगी. |
दिल्ली और आसपास के इलाकों में झमाझम बारिश | दिल्ली और आसपास के इलाकों में झमाझम बारिश का सिलसिला पिछले 24 घंटे से जारी है. राजधानी दिल्ली के अलग-अलग इलाकों में अबतक 10 मिलीमीटर से लेकर 60 मिलीमीटर तक की बारिश रिकॉर्ड की गई है. जबकि गाजियाबाद में 65 मिलीमीटर की झमाझम बारिश रिकॉर्ड की जा चुकी है. नोएडा की बात करें तोआसमान में घने बादलों का जमावड़ा है और यहां पर अभी तक 55 मिलीमीटर की जोरदार बारिश रिकॉर्ड की जा चुकी है. गुड़गांव में सुबह से लेकर अबतक 50 मिलीमीटर तक बारिश रिकॉर्ड की गई है.
मानसून अक्ष दिल्ली के पास पहुंचा
मौसम विभाग का कहना है कि
राजधानी और आसपास
की जगहों पर झमाझम बारिश की वजह है मानसून के अक्ष का दिल्ली के पास पहुंचना. इस समय मानसून का अक्ष दक्षिण से उत्तर की तरफ खिसक रहा है. इसके अलावा हरियाणा के ऊपर एक साइक्लोनिक सर्कुलेशन बना हुआ है जिससे बादलों में नम हवाओं का बहाव औरतेज हो गया है. यही वजह है कि दिल्ली के ऊपर घने बादलों का डेरा है.
अगले 48 घंटों में मूसलाधार
बारिश की संभावना
इसी के साथ दिल्ली के पूरब हिस्से की बात करें तो यहां पर दक्षिण-पश्चिम से आ रही नम हवाओं का टकराव बंगाल की खाड़ी की नम हवाओं से हो रहा है जिससे घने बादल बन रहे हैं. मानसून का अक्ष पास होने की वजह से पश्चिमी उत्तर प्रदेश के ऊपर बने बादलों की मोटाई ज्यादा है लिहाजा यहां पर झमाझम बारिश का दौर तेज हो गया है. मौसम विभाग का कहना है कि अगले 24 से 48 घंटों में यहां पर तमाम जगहों पर मूसलाधार बारिश की खासी संभावना है. राजधानी दिल्ली में झमाझम बारिश का दौर अगले 48 घंटों तक बने रहे की संभावना मौसम विभाग जता रहा है.
31 तारीख से मिलेगी राहत
जानकारों का कहना है कि 31 तारीख की रात से दिल्ली एनसीआर के तमाम इलाकों को बारिश और बादलों से थोड़ी राहत मिलेगी. लेकिन 1 अगस्त से दोबारा राजधानी के आसमान पर घने बादल उमड़-घुमड़ रहे होंगे. इसी के साथ 2 और 3 अगस्त को दिल्ली समेत उत्तर भारत के तमाम इलाकों में झमाझम बारिश का एक नया दौर फिर से शुरू हो जाएगा. कुल मिलाकर यही कहा जा सकता है कि मानसून की रिमझिम फुहारों से 31 तारीख को फिलहाल मामूली राहत के अलावा अगले पूरे सप्ताह पीछा नहीं छूटने वाला. |
नोएडाः खेल के विवाद में की थी हत्या, तीन युवक गिरफ्तार | यूपी के नोएडा में पांच दिन पहले मिली युवक आकाश की लाश की गुत्थी पुलिस ने सुलझा लिया है. दरअसल, आकाश की हत्या तीन लोगों ने चाकू मार कर की थी. फिर कातिलों ने उसकी लाश को हिंडन नदी में फेंक दिया था. पुलिस ने उसकी लाश बिसरख थाना क्षेत्र से बरामद की थी.
बीती 11 अगस्त को फेस 3 थाना क्षेत्र में हिंडन नदी के किनारे रहने वाले आकाश के परिजनों ने आकाश की गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई थी. मगर वो नहीं मिला. लेकिन 13 अगस्त को उसकी
लाश
बिसरख थाना क्षेत्र में मिली. पुलिस ने इस मामले की छानबीन शुरू कर दी.
पुलिस को नदी के पास रहने वाली कुछ महिलाओं ने बताया कि कुछ दिन पहले आकाश और अरुण के बीच किसी बात को लेकर झगड़ा हो रहा था. पुलिस ने हिंडन नदी के दूसरी तरफ ही रहने वाले अरुण को हिरासत में ले लिया. पुलिस ने उससे कड़ाई से पूछताछ की तो उसने पूरी घटना उगल दी.
दरअसल, अरुण ने आकाश से बदला लेने ले लिए 11 अगस्त को अपने साथियों के साथ मिलकर उसकी हत्या कर दी थी. घटना को छिपाने के लिए उसकी लाश को उन्होंने हिंडन नदी में फेंक दिया था. पुलिस ने अरुण, लुक्का और गौरव को गिरफ्तार कर लिया. इनका चौथा साथी लल्ला अभी भी फरार है. पुलिस उसे तलाश कर रही है.
पुलिस ने खुलासा किया है कि ये लोग पत्थर फेंक कर खेल रहे थे. तभी अरुण के पैर में पत्थर लग गया. वो बात उसे इस कदर नागवार गुजरी. इसी के चलते उसने अपने 3 साथियों के साथ मिलकर आकाश की हत्या कर दी. फिर उसके शव को हिंडन नदी में फेंक दिया. 13 अगस्त को उसका शव बहता हुआ बिसरख थाना क्षेत्र में पहुंचा, जिसे पुलिस ने बरामद कर लिया. |
सोनाक्षी सिन्हा के 'एंटी-मीट बैन' ट्वीट पर भड़का पब्लिक का गुस्सा | मुंबई में होने वाले जैनियों के व्रत के एक त्योहार को ध्यान में रखते हुए जानवरों को काटने और मीट बेचने पर एक हफ्ते की रोक लगाने की चर्चाए जोरों पर थीं. इस पर कमेंट करने को लेकर हाल ही में सोनम कपूर को पब्लिक का गुस्सा झेलना पड़ा. लेकिन सोनाक्षी सिन्हा ने इससे कोई सबक नहीं लिया. वो भी ट्विटर पर ट्वीट कर बैठीं कि भारत एक आजाद देश है. मीट बैन करने कि बात को लेकर फब्तियां कस्ते हुए सोनाक्षी ने इंडिया को 'बैन-इस्तान' कह डाला.
बस फिर क्या था. इस पर लोगों के रि-ट्वीट्स आने लगे. लोगों ने
सोनाक्षी
के आई-क्यू पर कमेंट करते हुए लिखा कि आसाम कि बाढ़ को महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री कैसे ठीक कर सकते हैं. एक व्यक्ति ने तो यहां तक लिखा कि सोनाक्षी के पिता भी उसी पार्टी से हैं और ऐसे में उन्हें वो पार्टी छोड़ देनी चाहिए.
This is a free country! Welcome to BAN-istan... I meant india.. Stupid autocorrect.
— Sonakshi Sinha (@sonakshisinha)
September 8, 2015
.
@sonakshisinha
Ma'am your Father is also in same Party, Please ask him to quit and join Chara Chor Party !!!!!
— Dhaval Patel (@dhaval241086)
September 8, 2015
Double Standards. Sonakshi Sinha.
#meatban
pic.twitter.com/aplq8WQ1gD
— Sir Ravindra Jadeja (@SirJadeja)
September 8, 2015
लोगों ने
सोनाक्षी पर पाखण्ड का आरोप लगाते हुए लिखा
कि बाप-बेटी दोनों को ही नहीं पता कि वो किसकी साइड हैं. रविन्द्र जडेजा ने भी सोनाक्षी की पोस्ट को
रि-ट्वीट करते हुए और उन्हें 'डबल स्टैण्डर्ड'
बताया. एक समय जब डॉक्टर हर्षवर्धन स्वास्थय मंत्री थे, तब
सोनाक्षी ने ट्विटर
के जरिए उनसे गुजारिश की थी कि जानवरों को बचाया जाए और उनसे बनने वाले कॉस्मेटिक्स पर रोक लगाई जाए. तो जायज है कि ऐसे में अब 'मीट-बैन' पर सोनाक्षी का कमेंट करना पब्लिक को कैसे पसंद आएगा. |
मोदी-शाह ने सभी BJP प्रदेश अध्यक्षों को सौंपे अटल के अस्थि कलश, देश में निकलेगी यात्रा | पूर्व प्रधानमंत्री
अटल
बिहारी वाजपेयी की अस्थियों की
कलश
यात्रा अब पूरे देश में निकाली जाएगी. नई दिल्ली स्थित भारतीय जनता पार्टी के पुराने मुख्यालय यानी 11 अशोक रोड पर पार्टी अध्यक्ष अमित
शाह
और प्रधानमंत्री नरेंद्र
मोदी
ने आज सभी प्रदेश अध्यक्षों को अस्थि कलश सौंपे. इस दौरान गृहमंत्री राजनाथ सिंह, विदेश मंत्री सुषमा स्वराज भी वहां मौजूद रहे.
सभी प्रदेश अध्यक्ष अपने-अपने राज्यों में अस्थि कलश लेकर जाएंगे, जिसके बाद पूरे राज्य में अस्थि कलश
यात्रा
निकाली जाएगी. राजधानी से लेकर तालुका तक अटल कलश यात्रा और शोक सभा का आयोजन किया जाएगा.
इसके अलावा आज ही वाजपेयी परिवार अस्थि कलश को लेकर ग्वालियर जाएंगे, जहां एक प्रार्थना सभा का आयोजन किया जाएगा.
पीएम मोदी एवं श्री अमित शाह आज 11, अशोक रोड, दिल्ली में देश के सभी राज्यों के प्रदेश अध्यक्षों को स्वर्गीय श्री वाजपेयी जी का अस्थि कलश सौंपेंगे। सभी राज्यों में अटल कलश यात्रा और श्रद्धांजलि सभाओं का आयोजन किया जाएगा एवं राज्यों की पवित्र नदियों में अस्थियां विसर्जित की जाएंगी।
pic.twitter.com/3oykPeG9jd
— BJP (@BJP4India)
August 22, 2018
गौरतलब है कि 19 अगस्त को उत्तराखंड के हरिद्वार में अटल बिहारी वाजपेयी की अस्थियों को प्रवाहित किया गया था. इस दौरान भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष अमित शाह, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ समेत कई बड़े नेता मौजूद रहे थे.
आपको बता दें कि इससे पहले भी योगी सरकार भी अटल बिहारी वाजपेयी की अस्थियों को प्रदेश के 75 जिलों की 163 नदियों में विसर्जित करने का ऐलान कर चुकी है. इसके अलावा भी कई जिलों में स्मारक बनाने का भी ऐलान किया गया है. |
राजनीति के रंग में रंगी प्रेम कहानी “यंगिस्तान” | जैकी भगनानी एक बार फिर से नए अंदाज में दर्शकों की कसौटी पर कसे जाने की तैयारी में हैं. इस बार में राजनीति के रंग में रंगी प्रेम कहानी यंगिस्तान लेकर आ रहे हैं. फिल्म का पहला शेड्यूल विदेश और लखनऊ में पूरा हो चुका है और दूसरा शेड्यूल जल्द ही शुरू होगा. इसे आगरा में शूट किया जाएगा. फिल्म के डायरेक्टर अहमद अफजल कहते हैं, 'यह राजनीति की पृष्ठभूमि में रची-बसी लव स्टोरी है.'
जैकी भगनानी कहते हैं, 'यंगिस्तान पूरी तरह से युवाओं के लिए फिल्म है. यह फिल्म असामान्य परिस्थितियों में घटी जीवन की सामान्य कहानी है.' यंगिस्तान फिल्म के निर्माता वाशु भगनानी कहते है, 'जब अफजल और जैकी मेरे पास यह स्टोरी लेकर आए मुझे स्टोरी में काफी पोटेंशियल दिखा. यह यूथ के लिए काफी इंस्पायरिंग है. हम उत्तर प्रदेश सरकार का आभार मानते हैं कि उन्होंने अच्छे लोकेशन दिए. हमें सपोर्ट किया.'
यंगिस्तान 1 मई को रिलीज होगी. फिल्म में नेहा शर्मा, फारुख शेख और बोमन ईरानी लीड रोल में हैं. इसमें जैकी का लुक राहुल गांधी से प्रभावित बताया जा रहा है. |
नजीब केस: JNU के 9 छात्रों का लाई-डिटेक्टर टेस्ट कराना चाहती है CBI | एक साल से लापता जेएनयू छात्र नजीब अहमद की तलाश के लिए सीबीआई ने पॉलीग्राफी टेस्ट की डिमांड की है. बुधवार को सीबीआई ने पटियाला हाउस कोर्ट से मामले के संदिग्धों का पॉलीग्राफी टेस्ट की इजाजत देने की मांग की.
इस सिलसिले में सीबीआई ने इन नौ छात्रों को मंगलवार को समन जारी कर कोर्ट आने को कहा था. बुधवार को सभी नौ छात्र कोर्ट पहुंचे जिसके बाद कोर्ट ने मामले की सुनवाई 27 अक्टूबर को करने का आदेश दिया है.
सीबीआई ने कोर्ट में 9 संदिग्धों की सूची दी है जिनका वह पॉलीग्राफ टेस्ट कराना चाहती है. एजेंसी ने इन सभी संदिग्धों को कोर्ट के सामने पेश होकर पॉलीग्राफ टेस्ट के लिए अपनी सहमति देने के निर्देश दिए थे.
इससे पहले दिल्ली पुलिस भी इन सभी संदिग्धों को पॉलीग्राफी टेस्ट के लिए कह चुकी है. लेकिन ने इससे साफ इनकार कर दिया था.
जेएनयू के सभी 9 संदिग्ध
ये सभी 9 संदिग्ध जेएनयू के छात्र हैं. इनमें से कुछ छात्र अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद से जुड़े हैं.
हाई कोर्ट ने लगाई थी फटकार
इससे पहले मामले की नजीब की मां की याचिका पर सुनवाई करते हुए दिल्ली हाई कोर्ट ने सीबीआई पर गंभीर टिप्पणी की थी. कोर्ट ने सीबीआई पर मामले की जांच में सीबीआई की ओर से 'दिलचस्पी का पूरी तरह अभाव' रहा है. हाई कोर्ट ने दिल्ली पुलिस से केस की जांच सीबीआई को सौंपी थी.
ये है मामला
जेएनयू के माही-मांडवी हॉस्टल में 14 अक्टूबर 2016 को छात्र नजीब से कुछ एबीवीपी छात्रों की झड़प का मामला सामने आया था. झगड़े की अगली सुबह 15 अक्टूबर को नजीब कैंपस से लापता हो गया था. जिसके बाद पुलिस ने मामले की जांच शुरू की थी. कोर्ट ने बाद में मामले की जांच सीबीआई को सौंपी थी. नजीब की मां ने हाई कोर्ट में याचिका लगाई थी.
बता दें कि नजीब का पता बताने पर दिल्ली पुलिस ने इनाम भी घोषित किया है. पुलिस ने इनामी राशि को बढ़ाकर 10 लाख तक कर दिया है. बावजूद इसके नजीब का एक साल बाद भी कोई सुराग नहीं लगा है. |
महाराष्ट्र: BMC चुनाव से पड़ी बीजेपी-शिवसेना में दरार, क्या इससे सरकार पर पड़ेगा असर | मुंबई के गोरेगांव इलाके में शिवसैनिकों को संबोधित करते हुए, शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे ने ऐलान कर दिया कि अब शिवसेना अकेले ही बृहन्मुंबई महानगर पालिका (बीएमसी) चुनाव लड़ेगी. इस घोषणा के कुछ ही देर बाद पुणे में एनसीपी शरद पवार ने इस मामले में शरारती प्रतिक्रिया देते हुए कहा के इतने साल एक साथ काम करने वाले अलग हुए हैं इसका मुझे बहुत दुख हो रहा है. शरद पवार ने अपनी बात तो कह दी लेकिन अपने चेहरे की हंसी छिपा न सके, जिससे ये साफ हो जाता है कि शरद पवार को शिवसेना-बीजेपी के अलग होने से दुख कम ख़ुशी ज्यादा हुई है.
एनसीपी प्रमुख शरद पवार से जब पूछा गया कि अगर शिवसेना ने
महाराष्ट्र सरकार
से अपना समर्थन वापस ले लिया तो आपकी पार्टी की क्या भूमिका रहेगी, इस पर पवार हंसते हुए बोले कि वे अगर मगर वाले सवालों के जवाब नहीं देते, अगर बीजेपी-शिवसेना इस पर कोई निर्णय लेते हैं तब इसकी चर्चा होनी चाहिए.
शरद पवार भले ही उनके समर्थन देने या नहीं देने की बात स्पष्ट नहीं कर रहे हो, लेकिन ये बात भी किसी से छिपी नहीं है कि शरद पवार और
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी
की दोस्ती कितनी गहरी है. 2014 महाराष्ट्र विधान सभा चुनाव के तुरंत बाद, जब राज्य सरकार में सत्ता के बंटवारे पर शिवसेना-बीजेपी में तनाव था उस वक्त एनसीपी ने बिना किसी शर्त के राज्य में सरकार बनाने के लिए बीजेपी को समर्थन देने की घोषणा की थी. इस घोषणा के बाद शिवसेना का बढ़ता कद कम हुआ था. इसके बाद शिवसेना विधायकों को महत्वपूर्ण मंत्रालय मिले बिना ही बीजेपी के साथ सरकार में गठबंधन करना पड़ा था.
एक बार फिर बीजेपी-शिवसेना उसी मोड़ पर मन में कड़वाहट लिए खड़े हो गए हैं.
बृहन्मुंबई महानगर पालिका
(बीएमसी) चुनाव में सीट बंटवारे को लेकर दोनों पार्टियों के बीच पिछले कई दिनों से तनातनी जारी थी. बीएमसी की 227 सीटों में से बीजेपी करीब आधी सीटों पर दावा कर रही थी, जबकि शिवसेना उसे महज 60 सीट देने की बात पर अड़ी थी. सीटों के बटवारे पर कोई नतीजा नहीं निकल पाने पर शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे ने खुद के दम पर बीएमसी चुनाव लड़ने का ऐलान कर दिया है.
राज्य में बृहन्मुंबई नगर निगम के अलावा पुणे, नासिक, कोल्हापुर और नागपुर नगर निगमों के लिए चुनाव अगले महीने में होने हैं. जाहिर सी बात है कि बाकी चार नगर निगम चुनावों पर भी इसका असर पड़ेगा. लेकिन ये देखना दिलचस्प होगा कि बीएमसी चुनाव में सीटों के बटवारे को लेकर पड़ी ये दरार राज्य सरकार में दोनों पार्टियों के गठबंधन को कितना नुकसान पहुंचाएगी. |
इस कंगारू तेज गेंदबाज ने टेस्ट और वनडे को कहा अलविदा, टी-20 पर करेंगे फोकस | ऑस्ट्रेलियाई टीम के तेज गेंदबाज जॉन हेस्टिंग्स ने 31 साल की उम्र में टेस्ट और वनडे क्रिकेट को अलविदा कह दिया है. हेस्टिंग्स ने शुक्रवार को संन्यास की घोषणा कर दी है. क्रिकेट आस्ट्रेलिया (सीए) ने इस बात की जानकारी दी है. हालांकि वह ऑस्ट्रेलिया के लिए टी20 इंटरनेशनल मैच खेलना जारी रखेंगे.
क्रिकेट डॉट कॉम डॉट एयू ने हेस्टिंग्स के हवाले से कहा, कि ‘चार बार कंधे की चोट, चार बार बड़े एड़ी के ऑपरेशन कराने और घुटने के ऑपरेशन ने मुझे कमजोर कर दिया है.’ उन्होंने कहा, ‘शरीर साथ नहीं दे रहा है और जब भी मैं चार दिवसीय क्रिकेट या वनडे क्रिकेट में वापसी की कोशिश करता हूं तो ऐसा लगता है कि कुछ खो दिया.
हेस्टिंग्स ने कहा, ‘यह मुश्किल फैसला है, एक ऐसा फैसला जिसे हल्के में नहीं लिया जा सकता, लेकिन मैंने फैसला किया है कि मैं लंबे प्रारुपों से दूरी बनाते हुए टी-20 पर अपना ध्यान लगाऊंगा.’ बता दें कि
हेस्टिंग्स
2016 में वनडे क्रिकेट में दुनिया के टॉप गेंदबाज थे. उन्होंने 2016 में 15 मैच खेल कर 29 विकेट अपने नाम किए थे.
हेस्टिंग्स ने अपने देश के लिए एक टेस्ट मैच खेला है और एक ही विकेट लिया है. वहीं अपनी टीम के लिए वह 29 वनडे मैचों में 42 विकेट अपने कर चुके हैं. हेस्टिंग्स ने 2012 में टेस्ट में दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ डेब्यू किया था. वनडे में उन्होंने अपना पहला मैच 20 अक्टूबर 2010 को
भारत
के खिलाफ खेला था. हेस्टिंग्स अभी तक नौ टी-20 मैचों में 7 विकेट ले चुके हैं.
इसके अलावा अगर ऑस्ट्रेलियाई टीम की बात करें तो वह फिलहाल भारत दौरे पर है और वनडे सीरीज 4-1 से गंवा चुकी है. शनिवार को उनका मुकाबला रांची में टी20 सीरीज के पहले मुकाबले में भारत से होगा. हेस्टिंग्स मौजूदा ऑस्ट्रेलियाई टीम का हिस्सा नहीं है. |
ऑपरेशन कर्नाटक की Inside story- अचानक बनी कॉल रिकॉर्ड की रणनीति, फंसती चली गई BJP | येदियुरप्पा के इस्तीफे से पहले कांग्रेस ने बीजेपी पर अपने विधायकों को तोड़ने के लिए प्रलोभन देने का गंभीर आरोप लगाया था. येदियुरप्पा के इस्तीफे से पहले कांग्रेस ने एक-एक कर 6 ऑडियो टेप जारी किया. एक ऑडियो टेप में कांग्रेस ने येदियुरप्पा और उनके बेटे की आवाज होने का भी दावा किया. कांग्रेस सूत्रों के मुताबिक प्लान के तहत सभी फोन कॉल्स रिकॉर्ड किए गए और इसमें मिडिलमैन की अहम भूमिका थी.
दरअसल येदियुरप्पा के इस्तीफे से पहले कांग्रेस बीजेपी नेताओं से जुड़े कुल 6 ऑडियो क्लिप जारी किया. एक
ऑडियो
कांग्रेस ने शुक्रवार की रात को जारी किया, जिसमें बीजेपी नेता जर्नादन रेड्डी और कांग्रेस विधायक बसानागौड़ा दद्दाल के बीच बातचीत का दावा किया गया. इसके अलावा शनिवार को भी येदियुरप्पा के बहुमत परीक्षण के दिन दो ऑडियो जारी किए गए. इन दोनों ऑडियो में कांग्रेस ने येदियुरप्पा और बीजेपी बीजेपी महासचिव मुरलीधर राव की आवाज होने का गंभीर आरोप लगाया.
सूत्रों के मुताबिक कांग्रेस ने येदियुरप्पा के बहुमत परीक्षण से 3 दिन पहले रिकॉर्डिंग की रणनीति बनाई. जब उसे पता चला कि बीजेपी मिडिलमैन के जरिए उसके विधायक से समर्थन के लिए संपर्क कर सकती है. 'इंडियन एक्सप्रेस' की खबर में सूत्रों के हवाले से कहा गया है कि एक सीनियर कांग्रेस नेता को उस मिडिलमैन ने बताया कि पार्टी छोड़ने वाले कांग्रेसी विधायकों से पार्टी के
सीनियर नेता
सीधे बात करेंगे. कांग्रेस नेता का कहना है कि बीजेपी की इस खेल के बारे में उन्होंने अपने सीनियर नेताओं को बताया. जिसके बाद बड़े नेताओं के साथ मिलकर बीजेपी को इस जाल में फंसाने की रणनीति बनाई गई कि अगर कोई पेशकश बीजेपी की तरफ से किसी विधायक को होती है उसे कैसे सबूत बनाया जाए और फिर बीजेपी की इस चाल को सार्वजनकि किया जाए. और इसी कड़ी में बीजेपी नेताओं से बातचीत का ऑडियो सार्वजनिक किया गया.
कांग्रेस सूत्रों के मुताबिक कांग्रेसी विधायक बी सी पाटिल को इसका सूत्रधार बनाया गया और मिडिलमैन ने बीजेपी आलाकमान को बताया कि बी सी पाटिल से बातचीत चल रही है और इनके साथ कई कांग्रेसी विधायक हैं और वोटिंग के समय वो सभी पाला बदल सकते हैं.
कांग्रेस नेता के मुताबिक जब पता चल गया कि अब बीजेपी नेता बी सी पाटिल के जरिये विधायकों को तोड़ने की कोशिश करेंगे. कांग्रेस नेता का कहना है कि 17 मई को पाटिल को बीजेपी नेताओं ने दो अलग-अलग नंबर से फोन किया. और रणनीति के मुताबिक कांग्रेसी इसे रिकॉर्ड करते रहे. जिसमें कांग्रेस की ओर से एक में येदियुरप्पा की आवाज होने का दावा किया गया और जबकि दूसरे में श्रीरामुलू की आवाज.
इस बीच कांग्रेस विधायकों एकजुट रखने में बड़ी भूमिका निभाने वाले
डी के शिवकुमार
ने आरोप लगाया कि उनके 40 विधायकों को बीजेपी की ओर से कॉल किया गया. यही नहीं, शिवकुमार की मानें तो मीटिंग के दौरान भी करीब 70 फीसदी कॉल आए. जिसके बाद इस मसले को लेकर गुलाम नबी आजाद से बात की गई और उन्होंने विधायकों से कहा कि जैसे ही बीजेपी नेताओं के कॉल आएं उसे तुरंत रिकॉर्ड करें. हालांकि येदियुरप्पा के कथित ऑडियो क्लिप को केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने कांग्रेस की डर्टी पॉलिटिक्स करार दिया था. केंद्रीय मंत्री ने सभी ऑडियो क्लिप को फर्जी बताया था. |
बाजार की कमजोर शुरुआत, सेंसेक्स 10 अंक टूटकर 35 हजार से नीचे आया | इस कारोबारी हफ्ते के तीसरे दिन शेयर बाजार ने गिरावट के साथ शुरुआत की है. बुधवार को वैश्विक बाजार से मिले कमजोर संकेतों के चलते सेंसेक्स 35 हजार के नीचे खुला है. वहीं, निफ्टी में भी गिरावट देखने को मिल रही है.
इस कारोबारी हफ्ते के तीसरे दिन
सेंसेक्स
35 हजार के नीचे खुला. शुरुआती कारोबार में यह 9.95 अंक गिरकर 34,641.29 के स्तर पर कारोबार कर रहा है.
वहीं,
निफ्टी
की बात करें, तो यह 16.30 अंक टूटकर 10,520.40 के स्तर पर कारोबार कर रहा है. शुरुआती कारोबार में एसबीआई, टाटा मोटर्स और सनफार्मा के शेयरों में बढ़त देखने को मिल रही है.
बता दें कि इस
कारोबारी हफ्ते
के दूसरे दिन सपाट शुरुआत करने के बाद शेयर बाजार बढ़त के साथ बंद हुआ. मंगलवार को सेंसेक्स 35.11 अंक बढ़कर 34,651.24 के स्तर पर बंद हुआ. वहीं, निफ्टी 20 अंक चढ़कर 10,536.70 के स्तर पर बंद हुआ.
इस बढ़त के साथ ही पिछले
5 दिनों से बाजार
में जारी गिरावट पर ब्रेक लग गया. कारोबार खत्म होने के दौरान एसबीआई, टाटा मोटर्स और बजाज फाइनेंस के शेयर टॉप गेनर में शामिल हुए. |
GATE 2019: जारी हुए एडमिट कार्ड, यहां ऐसे करें डाउनलोड | 2 फरवरी से 10 फरवरी तक होने वाली ग्रेजुएट एप्टीट्यूड टेस्ट इन इंजीनियरिंग (GATE) परीक्षा के लिए एडमिट कार्ड जारी हो गए हैं. जो उम्मीदवार ये परीक्षा देने वाले हैं वह आधिकारिक वेबसाइट gate.iitm.ac.in और appsgate.iitm.ac.in. पर जाकर एडमिट कार्ड डाउनलोड कर सकते हैं. गेट 2019 परीक्षा का इस बार आयोजन आईआईटी मद्रास की ओर से किया जा रहा है.
कैसे डाउनलोड करें GATE 2019 एडमिट कार्ड
स्टेप 1-
सबसे पहले आधिकारिक वेबसाइट gate.iitg.ac.in पर जाएं.
स्टेप 2-
होमपेज खुलेगा. जिसके बाद क्विक क्लिक के नीचे Admit Card लिंक पर क्लिक करें.
स्टेप 3-
अब अपने ID और पासवर्ड डालें.
स्टेप 4-
सही कैप्चा भरें.
स्टेप 5-
सबमिट करें और भविष्य के लिए प्रिंटआउट लेना न भूलें.
GATE 2019 का परीक्षा शेड्यूल जारी, देखें- पूरा टाइम-टेबल
कब आएगा रिजल्ट
टाइम टेबल के अनुसार 2, 3 फरवरी और 9,10 फरवरी को परीक्षा का आयोजन किया जाएगा. यह परीक्षाएं दो शिफ्ट मे होंगी. जिसमें एक शिफ्ट 9 बजे से 12 बजे और 2 बजे से 5 बजे तक होगी. परीक्षा में आवेदन करने के इच्छुक उम्मीदवार आधिकारिक वेबसाइट gate.iitm.ac.in पर जाकर पूरा शेड्यूल देख सकते हैं. फरवरी में परीक्षा के आयोजन के बाद 16 मार्च को परीक्षा के नतीजे जारी कर दिए जाएंगे.
CBSE: 8वीं, 9वीं और 10वीं के लिए शुरू होगा आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस कोर्स!
बता दें, इस बार GATE 24 विषयों के लिए आयोजित किया जाएगा. गेट के माध्यम से कई इंजीनियरिंग, टेक्नोलॉजी, आर्किटेक्चर और कोई कोर्स में दाखिला लिया जा सकता है. गेट स्कोर के माध्यम से BHEL, GAIL, HAL, IOCL,ONGC में दाखिला लिया जाता है |
सीएम अखिलेश से नहीं मिलने देने पर पांच अभ्यर्थियों ने खाया जहर | लखनऊ में नौकरी की मांग कर रहे पुलिस विभाग के मृतक आश्रितों ने शनिवार को जहर खा लिया. ये अभ्यर्थी मुख्यमंत्री से मिलने की मांग कर रहे थे. जब इनको मुख्यमंत्री अखिलेश यादव से नहीं मिलने दिया गया, तो 5 मृतक आश्रितों ने जहर खा लिया. सभी को अस्पताल में भर्ती कराया गया है.
कई दिनों से धरने पर बैठे थे आश्रित
लखनऊ
में आरक्षी एवं समकक्ष पदों पर सीधी भर्ती 2013 में मेडिकल पास अभ्यर्थी अपने समायोजन की मांग को लेकर पिछले कई दिनों से धरने पर बैठे थे. इस मामले में उस वक्त हड़कंप मच गया, जब सरकार से कोई आश्वासन न मिलने से नाराज पांच अभ्यर्थियों ने हजरतगंज के गांधी प्रतिमा पर जहर खाकर
आत्महत्या
करने की कोशिश की.
सिविल अस्पताल में भर्ती हैं अभ्यर्थी
अभ्यर्थियों के जहर खाने की सूचना मिलते ही प्रशासन हरकत में आया. सभी अधिकारी मौके पर पहुंचे. एम्बुलेंस से पांचों अभ्यर्थियों को सिविल अस्पताल में भर्ती कराया गया.
अस्पताल में
उनका इलाज किया जा रहा है.
बाकी अभ्यर्थियों का कहना है की उन्हें भी 2013 की सिपाही भर्ती में शामिल किया जाए. अगर उनकी मांग नहीं मानी गई, तो अन्य अभ्यर्थी भी ऐसा ही कदम उठा सकते हैं. |
दिल्ली: बेबस दुकानदारों की मांग, सीलिंग का हो स्थायी इलाज | दिल्ली के गोकुलपुरी में जिस तरह से प्रदेश बीजेपी अध्यक्ष
मनोज तिवारी
ने
सीलिंग
का ताला तोड़ा उसी के बाद से राजधानी की फिजा में बहस छिड़ गई कि क्या वाकई
दिल्ली
में सीलिंग का निदान ताला तोड़ने की हीरोपंती में छिपा है या इसका कोई कानूनन समाधान भी है??
ऐसे में बड़ा सवाल उठता है कि उन दुकान और मकान का क्या जो पहले सील हो चुके हैं. उनके दुख को आवाज़ कौन देगा. उनके दर्द को बयां कौन करेगा. दिल्ली के गांधीनगर में हमने कुछ लोगों से बात की.
40 साल के वकी अंसारी की दुकान कुछ महीने पहले एमसीडी ने सील कर दी थी. बिन बताए, बिन नोटिस दिए एमसीडी के कर्मचारी आए और ताला लगा दिए.अपने दर्द की कहानी बताते हुए वकी अंसारी की आंखों से आंसू छलक आए.
54 साल के मामचंद का भी वही दर्द है जो अनेकों लोगों का है. मामचंद बताते हैं कि रोजी रोटी के लाले पड़ रहे हैं, क्योंकि सीलिंग के चलते उनका सारा सामान सील के ताले में कैद हो गया है. एमसीडी दफ्तर के खूब चक्कर काटे मगर नतीजा कुछ नहीं निकला.
वकी अंसारी और मामचंद जैसे हजारों लोग दिल्ली में हैं जिनके घर दुकान एमसीडी ने सील किए हैं. उन सभी का कहना है कि राजनेता सिर्फ अपनी राजनीति कर रहे हैं और इस समस्या का स्थाई इलाज निकालना नहीं चाह रहे हैं.
जाहिर है बेशक मनोज तिवारी ने ताला तोड़कर सीलिंग की बहस को दिल्ली में नई दिशा दे दी है मगर अब आवाजें उठने लगी हैं कि उन घर दुकान का क्या जो सीलिंग की कार्रवाई में बंद हो चुकी हैं. |
चोरी किया गया है 'जिस्म-2' का सबसे हॉट पोस्टर? | प्रेरणा कहें या इन्सप्रेशन, ये दोनों शब्द ही बॉलीवुड का अहम हिस्सा बन चुके हैं.
इस बार पोर्न स्टार सनी लियोन अभिनीत फिल्म 'जिस्म-2' पर लगा है 'चोरी' करने का आरोप.
'जिस्म-2' का सबसे विवादित और हॉट पोस्टर जिसमें एक लड़की पूरी तरह न्यूड होकर एक उजले कपड़े से ढकी लेटी हुई दिख रही है, बताया जा रहा है यह पोस्टर डिजाइनर फेलिक्स बेन्डिश के शो के प्रोमो पोस्टर से प्रेरित है.
इस बात का खुलासा 'जिस्म 2' के ट्विटर प्रोफाइल पेज पर हुआ. जब मिस मालिनी के नाम की वेबसाइट ने फिल्म के ट्विटर पेज पर लिखा कि जिस्म-2 का यह पोस्टर डिजाइनर फेलिक्स बेन्डिश के पोस्टर के साथ काफी मेल खाता है.
इसके जवाब में 'जिस्म-2' के निर्माताओं ने ट्वीट किया कि हमनें डिजाइनर फेलिक्स बेन्डिश के बारे में कभी ही सुना. वहीं फिल्म के पोस्टर को 6 महीने पहले ही रिलीज कर दिया गया था. तो अब तक यह बात क्यों नहीं उठाई गई?
मिस मालिनी वेबसाइट के अनुसार फिल्म 'जिस्म 2ट का यह पोस्टर डिजाइनर फेलिक्स बेन्डिश के उस पोस्टर से काफी मेल खाता है जिसे गोवा में 2010 में आयोजित फैशन शो के लिए शूट किया गया था.
फेलिक्स की माने तो उन्होंने यह फोटो शूट 2008 में मुंबई में फोटोग्राफर केनी जावेरी के जरिए करवाई. जिसका इस्तेमाल 2 साल बाद प्रोमो पोस्टर के तौर पर किया गया था.
अब इस दावे में कितनी सच्चाई है इसका जवाब तो 'जिस्म-2' के निर्माताओं के पास है ही. पर सूर्खियों में बने रहने के लिए 'जिस्म-2' को एक और मसाला मिल गया है. |
ममता बनर्जी हैं दवा वाली दीदी | अधिकतर लोग नहीं जानते कि ममता बनर्जी अपने बैग में आपात स्थिति के लिए कई तरह की दवाएं रखती हैं. तृणमूल कांग्रेस अध्यक्ष्ा कहती हैं, ''ये दवाएं मैं सिर्फ अपने लिए ही नहीं रखती.''
साथ ही वे यह बताना नहीं भूलतीं कि वे पट्टी करने में बेहद दक्ष हैं और विपक्ष्ा के हमलों के बाद नर्सिंग होम के दौरों के दौरान उन्होंने यह सीखा था. |
वंडर वुमन 1984 का ट्रेलर रिलीज, एक्शन-रोमांच से भरपूर होगी सुपरहीरो फिल्म | सुपरहीरो फिल्म वंडर वुमन 1984 के ट्रेलर का बेसब्री से इंतजार कर रहे फैंस का इंतजार आखिर खत्म हो गया है. डीसी कॉमिक के मशहूर सुपरहीरो कैरेक्टर वंडर वुमन पर बनीं 'वंडर वुमन 1984' का ट्रेलर रिलीज हो चुका है. एक्शन और एनर्जी से भरपूर फिल्म का ट्रेलर दर्शकों में फिल्म के लिए एक्साइटमेंट भर देगा.
ट्रेलर में डायना प्रिंस या कहें
वंडर वुमन
अपनी सुपरपावर से दुश्मनों के खिलाफ लड़ती नजर आ रही हैं. इसमें वंडर वुमन एक नई शुरूआत करने वाली हैं. लेकिन इससे पहले उन्हें एक बार फिर अपनी पावर्स का इस्तेमाल लोगों को बचाने के लिए वंडर वुमन बनकर करना पड़ता है.
View this post on Instagram
A new era of wonder begins. #WW84 in theaters June 5.
A post shared by
Warner Bros. Pictures
(@wbpictures) on
Dec 8, 2019 at 1:02pm PST
1984 के बैकग्राउंड में बनी इस फिल्म में वर्तमान और भविष्य का मेल देखने को मिलेगा. फिल्म के ट्रेलर में एक्शन, एनर्जी के अलावा रोमांच का भी डोज है. यह फिल्म मोस्ट अवेटेड फिल्मों में शुमार है.
बता दें वंडर वुमन 1984, 2017 में आई
वंडर वुमन
का सीक्वल है. फिल्म को हिंदी ऑडियंस ने भी खूब पसंद किया था. इंटरनेशनल बॉक्स ऑफिस पर फिल्म ने काफी अच्छा बिजनेस किया था.
View this post on Instagram
Regram from @gal_gadot: She's back... 🙅🏻♀️ #WW84
A post shared by
Wonder Woman
(@wonderwomanfilm) on
Jun 16, 2018 at 3:45am PDT
इन सुपरहीरो फिल्मों में नजर आ चुकी हैं वंडर वुमन
वंडर वुमन 1984 से पहले यह किरदार बैटमैन वर्सेस सुपरमैन: डॉन ऑफ जस्टिस, जस्टिस लीग में नजर आ चुकी हैं. यह फिल्म 5 जून 2020 को रिलीज होगी. फिल्म में Gal Gadot ने वंडर वुमन का किरदार निभाया है. उनके अलावा इसमें Wiig, Pedro Pascal और Chris Pine मुख्य भूमिका में नजर आएंगे. |
नई Nissan Kicks भारत में लॉन्च, कीमत Creta से कम | Nissan इंडिया ने भारत में अपनी नई SUV Kicks को लॉन्च कर दिया है. कंपनी ने इसकी कीमत 9.55 लाख रुपये से लेकर 14.65 लाख रुपये तक (एक्स-शोरूम, दिल्ली) रखी है. इच्छुक ग्राहक Kicks SUV के लिए बुकिंग देशभर के सारे डीलरशिप से 25,000 रुपये देकर कर सकते हैं. नई Nissan Kicks को दो पेट्रोल- XL और XV और चार डीजल वेरिएंट- XL, XV, XV Premium और XV Premium + में उतारा गया है.
भारतीय बाजार में इस नई SUV का मुकाबला खास तौर पर पॉपुलर Hyundai Creta से है. Hyundai की Creta बाजार में 9.99 लाख रुपये से लेकर 15.35 लाख रुपये (एक्स-शोरूम) में मौजूद है और Nissan इंडिया ने नई Kicks की कीमत इससे कम रखी है, जिससे उम्मीद है कि बाजार में नई Kicks को बेहतरीन प्रतिक्रिया मिल सकती है.
इंडियन वर्जन है अलग
Nissan की ओर से 5-सीटर SUV अंतरराष्ट्रीय बाजार में पहले से ही उपलब्ध है. हालांकि Kicks SUV का इंडियन वर्जन डायमेंशन और डिजाइन के लिहाज से काफी बदला हुआ है. इंडियन वर्जन Kicks, Nissan-Renault B0 प्लेटफॉर्म पर बेस्ड है. ये वही प्लेटफॉर्म है जिस पर Renault Duster और Nissan Terrano को तैयार किया जाता है.
डिजाइन के मामले में बात करें तो Kicks में सिग्नेचर V शेप वाला फ्रंट ग्रिल दिया गया है. फ्रंट बंपर में फॉग लैम्प्स के साथ बड़ा एयर डैम दिया गया है. साइड प्रोफाइल में फ्लोटिंग रूफ डिजाइन, शार्प केस और 17-इंच मशीन अलॉय व्हील्स दिए गए हैं. नई कॉम्पैक्ट एसयूवी के चारों वेरिएंट में ढेरों फीचर्स दिए गए हैं.
फीचर्स
कुछ स्टैंडर्ड फीचर्स की बात करें तो यहां स्पीड सेंसिंग ऑटो डोर लॉक/अनलॉक, रियर व्यू कैमरा/सेंसर, इंजन इम्मोबिलाइजर, डुअल एयरबैग, EBD के साथ ABS, ब्रेक असिस्ट, हिल स्टार्ट असिस्ट और सीट बेल्ट रिमाइंडर जैसे फीचर्स दिए गए हैं. इस कार में दिए गए दूसरे फीचर्स की बात करें तो यहां ऐपल कार प्ले और एंड्रॉयड ऑटो के साथ 8.0-इंच टचस्क्रीन इंफोटेनमेंट सिस्टम, ECO मोड, क्रूज कंट्रोल, फॉलो-मी हेडलैम्प्स, व्हीकल डायनैमिक कंट्रोल और ट्रैक्शन कंट्रोल जैसे फीचर्स दिए गए हैं.
इंजन
मैकेनिकल तौर पर बात करें तो Nissan Kicks को दो इंजन ऑप्शन- 1.5-लीटर H4K पेट्रोल और 1.5-लीटर K9K DCi डीजल में पेश किया गया है. फोर सिलिंडर 1.5-लीटर पेट्रोल 106bhp का पावर और 142Nm का पिक टॉर्क जेनरेट करता है. वहीं इसका 1.5-लीटर डीजल इंजन 110bhp का पावर और 240Nm का पिक टॉर्क जेनरेट करता है.
पेट्रोल इंजन के साथ 5-स्पीड मैनुअल गियरबॉक्स और डीजल इंजन के साथ 6-स्पीड ट्रांसमिशन मिलता है. फिलहाल यहां कोई AMT गियरबॉक्स नहीं दिया गया है. मुमकिन है कि इसे बाद में पेश किया जाए. ग्राहकों को Nissan Kicks 11 कलर ऑप्शन में आएगी, जिसमें 4 डुअल-टोन पेंट स्किम भी शामिल है. |
'चरित्रहीनों' को सबक सिखाएगा देश: बाबा रामदेव | योगगुरु बाबा रामदेव ने मैच फिक्सिंग के ताजा आरोपों का सामना कर रहे कांग्रेस सांसद पूर्व क्रिकेट खिलाड़ी अजहरुद्दीन का बचाव करने वाले पार्टी महासचिव दिग्विजय सिंह पर निशाना साधते हुए कहा कि सियासत में कुछ ऐसे ‘चरित्रहीन’ लोग हैं, जो हर बुरे आदमी को अच्छा होने का प्रमाणपत्र बांट रहे हैं.
भारत स्वाभिमान यात्रा के तहत मिर्जापुर पहुंचे रामदेव ने संवाददाताओं से बातचीत में दिग्विजय द्वारा अजहरुद्दीन का बचाव किये जाने सम्बन्धी सवाल पर कहा, ‘राजनीति में कुछ ऐसे चरित्रहीन लोग हैं, जो हर बुरे आदमी को अच्छा होने का प्रमाणपत्र दे रहा है और सच्चे, देशभक्त तथा ईमानदार लोगों को ठग बता रहे हैं. देश उन्हें सबक सिखाएगा.’
गौरतलब है कि पूर्व क्रिकेट खिलाड़ी विनोद काम्बली ने भारतीय क्रिकेट टीम के तत्कालीन कप्तान और मौजूदा कांग्रेस सांसद अजहरुद्दीन पर वर्ष 1996 में हुए विश्वकप टूर्नामेंट के सेमीफाइनल मुकाबले में शायद फिक्सिंग करने का आरोप लगाया था. इस पर दिग्विजय ने अजहरुद्दीन का बचाव करते हुए इसके पीछे राजनीतिक साजिश का अंदेशा जाहिर किया था.
योगगुरु ने कांग्रेस के एक अन्य महासचिव राहुल गांधी पर भी कड़े प्रहार किये. उन्होंने कहा ‘राहुल प्रधानमंत्री बनने का ख्वाब देख रहे हैं, जबकि वह इस दौड़ से बाहर हैं. जो नेता काला धन वापस लाएगा और भ्रष्टाचार को मिटाएगा, वही प्रधानमंत्री बनेगा.’
उन्होंने कहा, ‘कांग्रेस के पास अभी यह काम करने का मौका है मगर वह ऐसा नहीं कर रही है.’
रामदेव ने दावा किया कि कांग्रेस अगर विदेश में जमा भारतीयों के काले धन को राष्ट्रीय सम्पत्ति घोषित नहीं करती तो देश उन्हें कभी माफ नहीं करेगा. उन्होंने मांग की कि बोफोर्स तोप सौदे में दलाली से लेकर दिल्ली में पिछले साल सम्पन्न राष्ट्रमंडल खेलों तक जितने भी घोटाले हुए हैं, उनमें शामिल लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर दुनिया के विभिन्न मुल्कों में उनके द्वारा जमा धन के बारे में जानकारी मांगी जाए.
रामदेव ने कहा कि कांग्रेस को उन सभी बेईमानों से हिसाब लेना चाहिये जिन्होंने विदेशी बैंकों में काला धन जमा कर रखा है. अगर यह पार्टी इस काले धन को राष्ट्रीय सम्पत्ति घोषित नहीं करती है तो देश उसे कभी माफ नहीं करेगा.
उन्होंने नेहरू-गांधी परिवार पर निशाना साधते हुए कहा, ‘जिस दिन काले धन पर कार्रवाई शुरू होगी, उस दिन पता चलेगा कि जिन्हें हम खानदानी नेता समझ रहे थे उनमें से 99 प्रतिशत तो खानदानी लुटेरे हैं.’ |
देसी फिल्मों को क्यों भा रहा है विदेशी बॉक्स ऑफिस? ये है बिजनेस स्ट्रैटजी | भारतीय फिल्मों को विदेशी बॉक्स ऑफिस पर रिलीज किए जाने का चलन वक्त के साथ काफी तेजी से बढ़ता जा रहा है.
आमिर खान
की दंगल और सीक्रेट सुपरस्टार जैसी फिल्मों ने जब दूसरे देशों में अपना परचम लहराया तो बाकी फिल्मों के मेकर्स का ध्यान भी इस तरफ गया. नतीजा ये हुआ कि अपनी फिल्मों को भारत के अलावा बाकी देशों में भी रिलीज किए जाने की एक होड़ सी शुरू हो गई.
विदेशों में किस बात पर निर्भर करता है भारतीय फिल्मों का मुनाफा?
ऐसी क्या वजह है कि मेकर्स अपनी फिल्म को भारत के अलावा और भी देशों में रिलीज करना चाहते हैं? आखिर इससे क्या फायदा होता है और उस फायदे की संभावना कितनी प्रबल होती है? दरअसल भारतीय फिल्मों को होने वाला मुनाफा विदेशों में रिलीज हुई फिल्म के चलने और वहां इन्हें रिलीज किए जाने के बाद होने वाले प्रॉफिट पर लगने वाले टैक्स के आधार पर तय होता है.
कम कॉम्पटीशन और बड़ी फैन फॉलोइंग का मिलता है फायदा
अमेरिका में भारत की तुलना में काफी कम फिल्में रिलीज होती हैं. साथ ही वहां पर भारतीयों की आबादी भी अच्छी खासी है. यही वजह है कि वहां पर फिल्म के चलने की संभावना भी ज्यादा होती है और बाकी फिल्मों के साथ होने वाला कॉम्पटीशन भी कम होता है. इसके अलावा हर एक देश में किसी न किसी भारतीय कलाकार की अच्छी खासी फैन फॉलोइंग है जिसका लोगों को फायदा मिलता है.
स्टार्स की फैन फॉलोइंग और इमोशनल कहानी है Key फैक्टर
जैसे चीन में आमिर खान की अच्छी खासी फैन फॉलोइंग है ठीक उसी तरह अरब देशों में लोग शाहरुख खान के दीवाने हैं. अमेरिका में लोग अमिताभ बच्चन को काफी पसंद करते हैं. ऐसे में इन देशों में कलाकार विशेष की फिल्म रिलीज करने का फायदा मिलता ही मिलता है. एक और तर्क ये भी दिया जाता है कि भारत के अलावा अन्य देशों में भावनात्मक कहानियां कम ही बनाई जाती हैं. लिहाजा दर्शक इन्हें देखना चाहते हैं.
बता दें कि अंधाधुन, 3 इडियट्स, बजरंगी भाईजान और सुल्तान जैसी फिल्मों में विदेशों में अच्छी कमाई की है. |
सफाईगीरी अवॉर्ड्स: कपड़े के थैले, मेनस्ट्रुअल कप, प्लास्टिक प्रदूषण से ऐसे लड़ें | सफाईगीरी अवॉर्ड्स में स्वच्छता के नायकों का सम्मान
प्लास्टिक के विकल्प पर करना होगा काम
वेस्ट मैनेजमेंट में पैसे का निवेश जरूरी
स्वच्छता अभियान के नायकों को सम्मानित करने के लिए इंडिया टुडे ग्रुप ने सफाईगीरी अवॉर्ड्स की शुरुआत की है. इसी सिलसिल में आज सफाईगीरी अवॉर्ड्स का पांचवां संस्करण आयोजित किया गया है. दिल्ली में आयोजित इस कार्यक्रम में प्लास्टिक प्रदूषण से जंग विषय पर चर्चा हुई. इस दौरान प्लास्टिक प्रदूषण के खिलाफ काम करने वाली कंपनी Bare Necessities की संस्थापक और सीईओ सहर मंसूर ने कहा कि आप पांच उपाय अपनाकर प्लास्टिक प्रदूषण के खिलाफ चैम्पियन बन सकते हैं.
सहर मंसूर के टिप्स
सहर मंसूर ने कहा कि आप आज से ही कपड़े का थैला इस्तेमाल करना शुरू कर दें. ब्रश करने के लिए मिसवॉक, बांस की दातून, या नीम की दातून का इस्तेमाल करें. सहर मंसूर ने महिलाओं से अपील की कि वे पीरियड के दौरान मेनस्ट्रुअल कप या कपड़े के पैड का इस्तेमाल करें. उन्होंने कहा कि अपने घर के कचरे को कंपोस्ट करें, क्योंकि हम अपने घर में जो कचरा पैदा करते हैं, उसका 60 फीसदी हिस्सा प्रोसेस हो सकता है.
सहर मंसूर ने राय दी कि आजकल प्रोड्क्ट की पैकेजिंग ऐसी होनी चाहिए एक बार उसका इस्तेमाल करने के बाद उसका पैकेट आसानी से नष्ट हो जाए और उसका कोई बाइ प्रोडक्ट न बचे. उन्होंने कहा कि कपड़े के थैले की ब्रांडिग होनी चाहिए.
कचरा प्रबंधन में पैसा आना जरूरी
चर्चा के दौरान इको वाइज वेस्ट मैनेजमेंट के संस्थापक और सीईओ मानिक थापर ने कहा कि सरकार को वेस्ट मैनेजमेंट सेक्टर को इंडस्ट्री सेक्टर का दर्जा देना होगा. उन्होंने कहा कि कचरा प्रबंधन को बिजनेस के नजरिए से देखना जरूरी है. इस सेक्टर में पैसा लाना होगा. जब तक पैसा नहीं आएगा लोग इसमें रुचि नहीं लेंगे.
कार्यक्रम में अभिनेत्री और एक्टिविस्ट गुल पनाग ने कहा कि प्लास्टिक के खिलाफ संघर्ष के लिए लोगों को कंफर्ट जोन से निकलने की जरूरत है. उन्होंने कहा कि शुरुआत में परेशानी होगी, एक बार लोग प्लास्टिक के विकल्प का इस्तेमाल करना सीख जाएंगे तो समस्या दूर हो जाएगी. |
संन्यास के बाद छुट्टियां मनाने सचिन फिर पहुंचे मसूरी | अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट को अलविदा कहने वाले सचिन तेंदुलकर अपने परिवार के साथ छुट्टियां मनाने बुधवार को उत्तराखंड के मसूरी पहुंचे. जौलीग्रांट हवाई अड्डे के सूत्रों ने बताया कि पत्नी अंजलि तथा परिवार के अन्य सदस्यों के साथ चार्टर्ड हवाई जहाज से उतरने के बाद तेंदुलकर सीधे मसूरी रवाना हो गये. यह लगातार दूसरा साल है जब सचिन संन्यास के बाद छुट्टियां मनाने मसूरी पहुंचे हैं.
मसूरी प्रवास के दौरान महान बल्लेबाज अपने पारिवारिक मित्र और बिजनेस पार्टनर संजय नारंग के होटल में ठहरेंगे. मसूरी इस महान बल्लेबाज के पसंदीदा पर्यटन स्थलों में से एक है और वह अक्सर यहां आते रहते हैं.
पिछले साल भी एकदिवसीय अंतरराष्टीय क्रिकेट से संन्यास लेने के बाद सचिन तेंदुलकर मसूरी आये थे और कुछ वक्त यहां की शांत और सुरम्य पहाड़ियों पर गुजारा था. पिछले सप्ताह ही वेस्टइंडीज के खिलाफ अपने टेस्ट कैरियर का 200वां मैच खेलने के बाद तेंदुलकर ने क्रिकेट से संन्यास ले लिया था.
टेस्ट क्रिकेट में 15,621 रन और एकदिवसीय क्रिकेट में 18,426 रन बनाने वाले सचिन तेंदुलकर विश्व क्रिकेट के सबसे सफल बल्लेबाज माने जाते हैं. अन्तरराष्ट्रीय क्रिकेट में तेंदुलकर ऐसे एकमात्र बल्लेबाज हैं जिन्होंने 100 शतक लगाये हैं वहीं एकदिवसीय मैचों में दोहरा शतक बनाने वाले वह पहले बल्लेबाज हैं. |
15 अगस्त को लाल किले से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के भाषण में हो सकती हैं ये बातें | 15 अगस्त करीब है. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी लाल किले से देश को पहली बार संबोधित करेंगे. जेहन में सवाल उठ रहे हैं कि आखिर इस भाषण में क्या होगा. निश्चित तौर पर नरेन्द्र मोदी देश को ये विश्वास दिलाने की कोशिश करेंगे कि उन्हें चुन कर लोगों ने कोई गलती नहीं की.
पहली बार संसद आने वाले मोदी प्रधानमंत्री बन कर पहली ही बार पूरे देश को संबोधित करेंगे तो डेढ़ घंटे के उनके भाषण में सैकड़ों रैलियों में दिये अपने ही पुराने भाषणों का निचोड़ होगा. जिन वादों के बूते वो सत्ता में आए, उन वादों को पूरा करने का भरोसा दिलाना होगा.
महंगाई दूर करने का मोदी मंत्र
निश्चित रूप से नरेन्द्र मोदी देश की आम जनता की जेब को महफूज रखने का भरोसा दिलाएंगे. महंगाई दूर करने के रास्ते दिखाएंगे.
भ्रष्टाचार पर प्रहार
भ्रष्टाचार भगाने का वादा भी मोदी ने ही किया था. अब मोदी देश को बताएंगे कि अगले पांच सालों में भ्रष्टाचार कैसे दूर होगा. काले धन पर एसआईटी के गठन को जनता के सामने पेश कर सकतें हैं.
गरीब-किसानों का उद्धार
हाल ही में मोदी ने तमाम बड़े कृषि वैज्ञानिकों और नीति नियंताओं के बीच खड़े होकर कहा था कि हमें किसानों के आगे नतमस्तक होना चाहिए क्योंकि वही हमारे अन्नदाता हैं. 15 अगस्त को उनके संबोधन में किसान और भारत के गरीबों के लिए योजनाएं होंगी. उनके लिए नीतियां होंगी. उनके उत्थान का भरोसा होगा.
कैसा होगा पड़ोस से रिश्ता
चुनाव प्रचार के दौरान मोदी चीन और पाकिस्तान पर कई बार लाल पीले हुए. साथ ही ये भी कहा कि हमें अपने आत्मसम्मान के लिए आंखें मिला कर चलना होगा. अब उन्हे देश को बताना होगा कि पड़ोसी देशों के साथ भारत के संबंध किस रास्ते पर आगे बढ़ेंगे.
ब्रिक्स से क्या हासिल किया
ब्रिक्स सम्मेलन से लौटे मोदी देश से अपने अनुभव साझा करेंगे. देश की जनता को बताएंगे कि ब्रिक्स से अर्थव्यवस्था की ईंट कैसे जुड़ने वाली है.
अमेरिका से उम्मीदें
नरेन्द्र मोदी सितंबर में अमेरिका की यात्रा पर जाने वाले हैं. अभी अमेरिकी विदेश मंत्री जॉन केरी भारत आए हुए हैं. मोदी देश को बताएंगे कि अमेरिका से उन्हें क्या उम्मीदें हैं. कैसे भारत और अमेरिका एक दूसरे को सहयोग करते हुए आगे बढ़ सकते हैं.
लाल किले से उनके पहले भाषण में नए वादे होंगे, नई नीतियां होंगी, योजनाएं होंगी. और दो ढाई महीने पुरानी अपनी सरकार की सार्थकता साबित करने वाले शब्द होंगे. |
एमबीबीएस की डिग्री 20 लाख रुपये में! | दिल्ली के बादली और खानपुर से दो फर्जी डॉक्टर गिरफ्तार किए गए हैं. ये आरोपी बीस लाख रुपये में एमबीबीएस की डिग्री बेच रहे थे.
एक अखबार की खबर के मुताबिक, इसकी सूचना जब क्राइम ब्रांच को मिली तो उन्होंने तत्काल एक्शन लेते हुए स्टिंग ऑपरेशन करके आरोपियों को
गिरफ्तार
कर लिया. इन आरोपियों की पहचान भूपेश विश्वास और मनोज कुमार साहू के रूप में हुई है.
स्टिंग ऑपरेशन के दौरान इन आरोपियों ने एमबीबीएस
डिग्री
के लिए 20 लाख रुपये की मांग रखी. कुछ देर तक बातचीत के बाद 10 लाख रुपये में ही डिग्री देने के लिए तैयार हो गए. इसी दौरान सिविल ड्रेस में आए क्राइम ब्रांच की टीम ने उन्हें पकड़ लिया. |
मंदी के दौर में लोन लेने से डर रहे लोग | आर्थिक मंदी और नौकरी खोने का डर लोगों को इस कदर सताने लगा है कि अब लोग बैंक से लोन लेने से डरने लगे हैं. डर इस बात का कि अगर नौकरी चली गई, तो लोन कैसे चुकाएंगे.
अर्थव्यवस्था की खस्ता हालत से भी लोगों के मनोबल पर काफी असर पड़ा है. यह भी एक वजह है कि लोग अब बैंक से कर्ज लेने में भी घबराने लगे हैं. एसोचैम की रिपोर्ट में दिये गये बैंकिंग आंकड़ों के मुताबिक चालू वित्तीय वर्ष में फिक्स्ड डिपोजिट के अगेंस्ट लिये जाने वाले लोन में 1.6 फीसदी की गिरावट आई है, जबकि अगस्त 2012 से 2013 के बीच 20 फीसदी की ग्रोथ दर्ज की गई थी. हालांकि इसके पीछे ब्याज दरों में मजबूती भी एक वजह है, क्योंकि लिक्विडिटी कंट्रोल करने के लिए बचत खातों पर मिलने वाले ब्याज दर में इजाफा देखने को मिला है.
वहीं क्रेडिट कार्ड पर बकाया रकम पर ऊंची ब्याज दर होने के कारण लोग क्रेडिट कार्ड का पेमेंट भी वक्त पर करने लगे हैं. इसी वजह से क्रेडिट कार्ड आउटस्टैंडिंग में 5.2 फीसदी की नेगेटिव ग्रोथ देखने को मिली है. परेशानी सिर्फ लोगों के लिए ही नहीं, बल्कि बैंक के लिए भी बढ़ी है. नॉन परफॉर्मिंग एसेट्स से परेशान बैंक अब बड़े कॉरपोरेट्स या कंपनियों को भी लोन देने से हिचकिचान लगे हैं. |
ऑस्ट्रेलियाई डॉलर 6 साल के निचले स्तर पर | ऑस्ट्रेलियाई डॉलर शुक्रवार को गिरावट के साथ छह साल के निचले स्तर पर पहुंच गया. ऑस्ट्रेलियाई ब्रॉडकास्टिंग कॉरपोरेशन (एबीसी) के मुताबिक, ऑस्ट्रेलिया स्टॉक एक्सचेंज (एएसएक्स) के एक प्रमुख सूचकांक ऑल ऑर्डिनरीज भी छह अंक गिरावट के साथ 5,043 पर बंद हुआ, जबकि एएसएक्स-200 छह अंकों की गिरावट के साथ 5,022 पर बंद हुआ.
अप्रैल 2009 के बाद पहली बार
ऑस्ट्रेलियाई डॉलर गिरावट
के साथ 70 अमेरिकी सेंट से नीचे पहुंच गया. इस वर्ष की दूसरी तिमाही की विकास दर उम्मीद से कम दर्ज किए जाने के बाद मुद्रा में यह गिरावट दर्ज की गई है.
ऑस्ट्रेलियन ब्यूरो ऑफ स्टैटिस्टिक्स (एबीएस) के मुताबिक, दूसरी तिमाही में देश की विकास दर 0.2 फीसदी रही। विकास दर 2013 की प्रथम तिमाही के बाद सबसे कम है. एबीएस के आंकड़ों के मुताबिक, खनन, निर्माण और
निर्यात में गिरावट दर्ज किए जाने
की वजह से विकास दर कम दर्ज की गई है.
इनपुट : IANS |
ड्रग्स तस्कर साजी मोहन पैसे भी चुराता था | हेरोइन तस्करी मामले में धरा गया आईपीएस रोज खुलासे कर रहा है. एटीएस की पूछताछ में उसने बताया कि वो ड्रग्स तस्करों के लाखों रुपए चोरी कर लेता था.
एटीएस उसके हर बयान की पुष्टि के लिए एनसीबी के अधिकारियो से पूछताछ कर रही है. हेरोइन तस्करी के आरोप में जब से साजी मोहन एटीएस के हत्थे चढ़ा है तब से रोजाना वो नए खुलासे कर रहा है. एटीएस की माने तो साजी ने अब अपनी चोरियां भी कुबूल करनी शुरू की है उसने अपने ताजा खुलासे में बताया है कि चंडीगढ़ में एक ड्रग तस्कर से जब्त करीब 13 लाख रुपये अपने पास रख लिए थे और उन पैसों से जमकर ऐश की थी.
एटीएस साजी के करीबी रहे सारे पुलिस अधिकारियो के साथ साथ चंडीगढ़ के नारकोटिक्स ब्यूरो के कर्मचारियो से ये भी जानने में जुट गई है कि साजी ने ड्रग्स हासिल करने के जो तीन तरीके एटीएस को बताये है वो सही है या नही. साजी ने कहा एटीएस को बताया था कि वो तस्करों से बरामद हेरोइन को बाजार में बेच देता था और उसकी जगह पर चूना या पाउडर रख देता था.
इसके अलावा उसके गैंग का एक आदमी पाकिस्तान से आने वाली अफगानी हेरोइन की सप्लाई करता था. उसने ये भी बताया कि वो बीएसएफ की पकड़ी गई हिरोइन में भी हेरफेर करता था यही वजह है कि एटीएस साजी के अंगरक्षकों को मुंबई लाकर पूछताछ कर उसके बयानों की सच्चाई जानना चाहती है.
साजी मोहन की पुलिस रिमांड 30 जनवरी को ख़त्म हो रही जाहिर है पुलिस फेर उसकी पुलिस हिरासत लेने की कोशिश करेगी ताकि कुछ और खुलासे हो सके. |
पेरिसः हथियारों से भरी लावारिस काली कार बरामद, इसी कार से हुए थे हमले | पेरिस हमलों में इस्तेमाल एके-47 जैसे कई हथियार राजधानी के एक पूर्वी उपनगर में लावारिस खड़ी काली कार में मिले हैं. चश्मदीदों ने कहा कि मांट्रिल में मिली इस कार का इस्तेमाल हमलावरों ने शुक्रवार रात कई जगहों पर किया था. हालांकि हमलों का मास्टरमाइंड अब भी गिरफ्त से बाहर है. पेरिस में शुक्रवार रात हुए आतंकी हमलों में 150 लोग मारे गए.
पीछे वाली सीट से किया था हमला
पूर्वी पेरिस के एक रेस्तरां में बंदूकधारियों की गोलीबारी में करीब 19 लोग मारे गए थे. एक चश्मदीद के मुताबिक हमलावरों ने काली कार के पीछे वाली सीट से हमला किया था.
पेरिस
के कंसर्ट हॉल में
बंदूकधारियों के हमले
में 89 और लोग मारे गए थे. पुलिस के मुताबिक हमलावरों ने एके-47 से गोलियां चलाई थी.
पिज्जा की दुकान पर भी दिखी थी यही कार
हमलावरों ने पेरिस में एक पिज्जा
दुकान पर भी हमला
किया था. एक गवाह के मुताबिक उसने एक काली कार से गोलियां चलते हुए देखी थीं. एक और रेस्टोरेंट और बार में भी हमले किए गए. चश्मदीदों के मुताबिक हमलावर काली लियोन कार में सवार थे. |
राजस्थान: शादी के खाने से करीब 250 लोग बीमार, अस्पताल में हुए भर्ती | राजस्थान के सीकर में फूड पॉयजनिंग से करीब ढाई सौ लोग बीमार हो गए हैं. सभी को अस्पताल में भर्ती कराया गया है.
बीमार लोगों को कोछोर के मकसूदपुरा गांव से एसके अस्पताल में लाया जा रहा है. बताया जाता है कि मकसूदपुरा गांव के किशनलाल के बेटे की शादी समारोह में भोजन के बाद से लोगों की
तबीयत बिगड़ी
.
कलैक्टर एल. एन. सोनी सहित कई प्रशासनिक अधिकारियों ने मौके पर पहुंचकर मामले की जानकारी ली. |
चीन के चेन लोंग ने जीता पुरुष सिंगल्स बैडमिंटन का खिताब, वर्ल्ड नंबर 1 खिलाड़ी को दी शिकस्त | चीन के चेन लोंग ने पुरुष बैडमिंटन सिंगल्स का खिताब जीत लिया है. उन्होंने दुनिया के नंबर एक खिलाड़ी मलेशिया के ली चोंग वेई को शिकस्त दी. इस हार के साथ ही चोंग वेई का गोल्ड मेडल जीतने का सपना भी टूट गया. बैडमिंटन के तमाम खिताब जीतने वाले दुनियां के नंबर एक खिलाड़ी मलेशिया के चोंग वेई अबतक एक बार भी ओलंपिक का गोल्ड मेडल नहीं जीत पाएं हैं.
चेन लोंग ने जीता गोल्ड मेडल
इस मुकाबले में
चोंग वेई
को खिताब का प्रबल दावेदार माना जा रहा था. लेकिन
चीनी
खिलाड़ी चेन लोंग ने उन्हें 21-18, 21-18 से शिकस्त दी, उन्हें सिल्वर मेडल के साथ ही संतोष करना पड़ा.
लंदन ओलंपिक में भी चूक गए थे वेई
2012 लंदन ओलंपिक में भी वेई गोल्ड मेडल जीतने से चूक गए थे. तब चीन के ही लिन डैन ने उन्हें फाइनल में मात देकर रजत पदक तक सीमित कर दिया था. हालांकि डैन को इस बार रियो से खाली हाथ
लौटना
पड़ा. ब्रांज मेडल के लिए हुए मुकाबले में उन्हें डेनमार्क के विक्टर एक्सेलसेन ने डैन को मात दी.
जबरदस्त हुआ मुकाबला
वर्ल्ड के के दो टॉप खिलाड़ियों के बीच कड़ा मुकाबला देखने को मिला. दोनों के बीच बेहतरीन रैलियों हुई और एक-एक प्वाइंट को हासिल करने के लिए जद्दोजहद ने मैच में दर्शकों को अपनी जगह से उठने नहीं दिया. वेई ने पहले गेम की शानदार शुरुआत की और 3-0 से बढ़त ले ली, लेकिन चीनी खिलाड़ी ने जल्द वापसी करते हुए स्कोर 4-4 कर दिया. इसके बाद स्कोर 5-5, 6-6, और 7-7 तक बराबरी पर चलता रहा.
वेई ने की अच्छी शुरुआत
शानदार खेल दिखाते हुए वेई ने लगातार चार प्वाइंट हासिल किए और 11-7 से आगे निकल गए, लेकिन लोंग ने एक बार फिर जोरदार वापसी करते हुए स्कोर 13-13 से बराबर कर लिया और फिर 18-16 से बढ़त ले ली.
इसके
बाद वह फिर नहीं रुके और 21-18 से गेम अपने नाम किया पहला गेम 35 मिनट तक चला.
चीनी खिलाड़ी रहे हावी
दूसरे गेम में चीनी खिलाड़ी वेई पर हावी रहे और 3-1 से शुरुआती बढ़त हासिल कर ली. वेई ने वापसी करते हुए स्कोर 5-5 कर लिया और फिर 8-7 से आगे निकल गए. लोंग ने एक बार फिर दमदार खेल दिखाया और 12-11 की बढ़त ले ली. जिसे कायम रखते हुए उन्होंने 38 मिनट तक चले दूसरे गेम को जीत स्वर्ण हासिल किया. चेन लोंग का ओलंपिक में ये पहला गोल्ड मेडल है. वो लंदन ओलंपिक में वो कांस्य पदक विजेता थे. |
भारतीय उच्चायुक्त अजय बिसारिया का पाकिस्तान में ऐन वक्त पर कार्यक्रम रद्द | पाकिस्तान में भारत के उच्चायुक्त अजय बिसारिया का एक
कार्यक्रम
ऐन वक्त पर रद्द कर दिया गया. सिविल सर्विस एकेडमी की ओर से
पाकिस्तान
में आयोजित होने वाले इस वार्षिक कार्यक्रम में बिसारिया को लेक्चर देना था, लेकिन बिना कोई कारण बताए इसे रद्द कर दिया गया.
पाकिस्तान के सिविल सर्विसेज मैनेजमेंट इंस्टीट्यूट ने उच्चायुक्त बिसारिया को एक खत लिखकर खेद जताया है. खत में कहा गया है कि कुछ 'रुकावटों' के चलते भारतीय राजदूत का संबोधन आयोजित नहीं किया जा सकेगा.
Indian High Commissioner to Pakistan Ajay Bisaria was to attend an annual event organised by Civil Service Academy in Pakistan. The event was cancelled at the last minute without any specific reason: Sources (File pic)
pic.twitter.com/ciBhbxSKcE
— ANI (@ANI)
October 4, 2018
बिसारिया पिछले महीने अचानक पाकिस्तान से वापस भारत लौट आए थे. वे पाकिस्तान से अटारी-बाघा सड़क मार्ग से अमृतसर पहुंचे और वहां से दिल्ली आ गए थे. ऐसा सुनने में आया था कि उच्चायुक्त अजय बिसारिया पाकिस्तान में नई बनी इमरान खान की सरकार और वहां के लोगों के बदलते रुख के बारे केंद्र सरकार और विदेश मंत्री सुषमा स्वराज को अपनी रिपोर्ट दी.
सूत्रों का कहना है कि बिसारिया का कार्यक्रम रद्द करने के पीछे वजह क्या रही, अभी नहीं बताया गया है. सिविल सर्विस एकेडमी पाकिस्तान प्रशासनिक सेवा (पीएएस) में दाखिल हुए नए लोगों को प्रशिक्षण देने का काम करती है. इस संस्था का पूरा नाम पाकिस्तान एडमिनिस्ट्रेटिव सर्विस एकेडमी है.
गौरतलब है कि पिछले महीने अजय बिसारिया सहित कई भारतीय राजनियकों को प्रतिष्ठित इस्लामाबाद क्लब की सदस्यता दी गई थी. बिसारिया ने इस्लामाबाद में तैनाती मिलने पर इस क्लब की सदस्यता के लिए आवेदन दिया था. नवंबर 2017 में उन्हें पाकिस्तान में
भारतीय उच्चायुक्त
बनाया गया था. पदभार संभालने के बाद दिसंबर में उन्होंने इस एलीट क्लब की सदस्यता के लिए आवेदन दे दिया था लेकिन इतना समय बीत जाने के बाद भी क्लब की ओर से न तो उनके आवेदन पर कोई विचार किया गया और न ही कोई जवाब दिया गया था. बाद में यह मामला सुलझ गया.
इससे दोनों देशों के बीच बढ़ती दूरियां कुछ घटती दिख रही थीं लेकिन बिसारिया का ऐन वक्त पर कार्यक्रम रद्द होना संबंधों में फिर खटास की ओर इशारा करता है. |
हार के बाद BJP नेता ने केजरीवाल को भेजी ईंटें, कहा- घर बैठकर बजाते रहो! | एमसीडी चुनाव में करारी हार के बाद दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल बीजेपी नेताओं के निशाने पर हैं. बीजेपी नेता लगातार उनपर तंज कस रहे हैं. अब इस लिस्ट में बीजेपी प्रवक्ता तजिंदर पाल सिंह बग्गा का भी नाम जुड़ गया है. नतीजों के बाद बग्गा ने ट्वीट कर कहा कि उन्होंने केजरीवाल के लिए दो ईंटों का ऑर्डर दे दिया है, अब वह घर बैठकर इन्हें बजाते रहे. आपको बता दें कि चुनाव से पहले अरविंद केजरीवाल ने कहा था कि अगर हम चुनाव हारे तो ईंट से ईंट बजा देंगे और आंदोलन करेंगे.
बग्गा ने भेजी ईंटें
बुधवार को एमसीडी चुनाव के नतीजे आए,
जिसमें बीजेपी को 181
, आम आदमी पार्टी को 48 और कांग्रेस को मात्र 30 सीटें ही मिली हैं. जिसका जवाब देते हुए बग्गा ने ये ट्वीट किया और केजरीवाल को ईंटें तोहफे में दी.
केजरीवाल जी ने कहा है जी अगर हार गए तो ईंट से ईंट बजा देंगे।हार तो उनकी निश्चित है इसलिए मैंने उपहार मे 2 ईंट भेजदी है,घर बैठ कर बजाते रहे
pic.twitter.com/NHcm8a6f5b
— Tajinder Pal S Bagga (@TajinderBagga)
April 25, 2017
गोयल ने भी साधा था निशाना
इससे पहले केंद्रीय मंत्री विजय गोयल ने भी बीजेपी की जीत के बाद
अरविंद केजरीवाल
पर निशाना साधा था. विजय गोयल ने एक फोटो ट्वीट किया है जिसमें केजरीवाल को ईंटें बनाते हुए दिखाया गया है, और फोटो का कैप्शन लिखा है कि केजरीवाल ईंट से ईंट बजाने की तैयारी में.
ईंट बजाने से देश नहीं बनता, देश बनता है विकास से |
#आप_साफ़
#MCDresults
#MCDelectionresults2017
pic.twitter.com/IJVPWrcKzY
— Vijay Goel (@VijayGoelBJP)
April 26, 2017 |
शमी के बारे में धवन बोले- वो ठीक हैं, आखिरी दिन मैदान पर जरूर उतरेंगे | भारत के सलामी बल्लेबाज शिखर धवन ने प्रदूषण के कारण विरोधी टीम के खिलाड़ियों के परेशान होने पर कहा कि उनके खिलाड़ियों को इस तरह की परिस्थितियों में खेलने की आदत है, लेकिन हो सकता है कि श्रीलंकाई खिलाड़ियों को इसके कारण परेशानी हो रही हो. उधर, मोहम्मद शमी को श्रीलंका की दूसरी पारी के दौरान गेंदबाजी करते हुए उल्टी करते हुए देखा गया, लेकिन धवन ने कहा कि वह ठीक हैं. उन्होंने कहा, ‘शमी की तबीयत ठीक है और कल वो आपको मैदान पर दिखेंगे.’
धवन ने हालांकि कहा कि खेलना खिलाड़ियों का काम है और उन्हें इसी पर ध्यान लगाना चाहिए. भारत ने तीसरे और अंतिम क्रिकेट टेस्ट के चैथे दिन श्रीलंका को 410 रन का लक्ष्य दिया जिसके जवाब में टीम 31 रन पर तीन विकेट गंवाने के बाद संकट में थी.
कोटला में SMOG का असर, तेज गेंदबाज शमी की भी तबीयत बिगड़ी
धवन ने चौथे दिन का खेल खत्म होने के बाद संवाददाताओं से प्रदूषण के संदर्भ में कहा, ‘दिल्ली में पले बढ़े होने के कारण इसकी आदत है. इन महीनों में जब दूसरे राज्यों में फसल कटती है तो ऐसा होता है. धूप भी नहीं निकल रही, अगर धूप निकलती तो प्रदूषण कम हो जाता. प्रदूषण है, लेकिन इतना नहीं है कि हमें खेलने से रोक दे.’
उन्होंने कहा, ‘हो सकता है उन्हें इसकी आदत नहीं हो. हमारी टीम में भी कई खिलाड़ी दिल्ली के नहीं हैं, जिन्हें इन हालात में खेलने की आदत नहीं है. यह हमारा काम है और हमारे काम के आगे कोई चीज नहीं आनी चाहिए, यही मेरी सोच है. हमारी टीम में भी सारे खिलाड़ी दिल्ली से नहीं हैं और उनके लिए भी यही चीज है.’
श्रीलंकाई खिलाड़ियों से सहानुभूति जताते हुए हालांकि उन्होंने कहा, ‘हो सकता है कि श्रीलंका में इतना प्रदूषण नहीं हो. वैसे भी वहां समुद्री तट बहुत ज्यादा हैं और जब आप तटीय शहर में होते हैं, तो वहां वैसे भी प्रदूषण कम होता है. बेशक उनको महसूस हो सकता है. ऐसा नहीं है कि यहां प्रदूषण नहीं है. इस बात को मैं छिपाऊंगा भी नहीं, क्योंकि जो है वो है. फिर भी मुझे लगता है कि जो भी हमारा काम है, हमें करना चाहिए और यह खेलना है.’ |
दास देव में परवीन के 'जवानी जानेमन' से प्रेरित है ऋचा का लुक | शरत चंद के उपन्यास देवदास पर कई फिल्में बनी हैं. अलग तरह की फिल्मों के लिए मशहूर सुधीर मिश्रा ने भी देव दास की कहानी को नए संदर्भों में प्रयोग कर 'दास देव' बनाई है. समीक्षक और बॉलीवुड फिल्मों का एक ख़ास दर्शक वर्ग इसका बेसब्री से इंतजार कर रहा है. ये एक रोमांटिक राजनीतिक थ्रिलर फिल्म है.
देव दास में ऋचा चड्ढा ने बेहद ख़ास भूमिका निभाई है. ट्रेलर और गानों में उनके जो लुक आए हैं वो चर्चा का विषय हैं. कहा जा रहा है कि 'दास देव' के एक गाने में उनका लुक दिवंगत अभिनेत्री परवीन बॉबी से प्रेरित है. परवीन के गाने 'जवानी जानेमन' के लुक से ऋचा का लुक प्रेरित बताया जा रहा है.
दास देव में क्या इन 3 महिला नेताओं से प्रेरित है रिचा का लुक?
इस बारे में ऋचा ने आईएएनएस को बताया भी - मेरा लुक इत्तेफाक से तय हो गया था. जब मैंने सुनहरे रंग का ड्रेस पहन रखा था, तो सेट पर किसी ने कहा, आप बिल्कुल परवीन बॉबी की तरह दिख रही हैं. इसे बस ऐसे ही महसूस किया गया कि यह परवीन बॉबी जैसा है, जो अपने जमाने की लोकप्रिय अभिनेत्री और स्टाइल आइकन थीं.
वितरक ने टलवा दी थी सुधीर मिश्रा की 'दास देव' की रिलीज, वजह 'रेड' और 'बागी-2'
बता दें कि ऋचा ने हाल ही में फिल्म 'दास देव' के लिए एक प्रमोशनल वीडियो गीत का फिल्मांकन किया है, जहां वह अपने लुक के साथ प्रयोग करती नजर आ रही हैं, जो 1980 के दशक के परवीन बॉबी के हिट गाने का आधुनिक संस्करण मालूम पड़ता है. दास देव में ऋचा के अलावा राहुल भट्ट, अदिति राव हैदरी और सौरभ शुक्ला भी अहम भूमिकाओं में हैं. ये फिल्म इसी हफ्ते 27 अप्रैल को रिलीज होगी. |
लड़कियों को मुफ्त लैपटॉप देगी केरल सरकार | लड़कियों की शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए केरल में उन्हें मुफ्त लैपटॉप दिए जाने की घोषणा की गई है. यह घोषणा करते हुए केरल के राज्य वित्तमंत्री के एम मणि ने कहा कि जो लड़कियां 2014 में प्रोफेशनल कोर्स में एडमिशन ले चुकी हैं, उन्हें लैपटॉप दिए जाएंगे.
इस सुविधा का लाभ वहीं लड़कियां उठा सकेंगी जो गरीबी रेखा के नीचे आने वाले परिवारों से संबंध रखती हैं. इसके अलावा अगर कोई लड़की किसान परिवार से है, जिसके पास 2.5 हेक्टेयर से कम खेती करने के लिए जमीन है तो उसे भी मुफ्त में लैपटॉप दिए जाएंगे.
यह घोषणा आधिकारिक रूप से वित्त मंत्री द्वारा 13 मार्च 2015 को पेश होने वाले राज्य बजट के दौरान की जाएगी. |
करण जौहर की फिल्म के लिए अनिल कपूर बढ़ाएंगे वजन, ऐसा है रोल | बॉलीवुड के फिटनेस फ्रीक एक्टर
अनिल कपूर
जल्द ही वजन बढ़ाएंगे. ऐसा करने के पीछे वजह है उनका नया प्रोजेक्ट. इस प्रोजेक्ट के डायरेक्ट हैं करण जौहर. फिल्म में अनिल कपूर का रोल काफी दिलचस्प होगा, इसके लिए एक्टर अगले साल से एक बिलकुल ही अलग तरह की डाइट फॉलो करेंगे.
डीएनए की एक रिपोर्ट के मुताबिक
करण जौहर
की मल्टीस्टारर फिल्म तख्त में अनिल कपूर शाहजहां का किरदार निभाएंगे. इस रोल के लिए वह अपना वजन बढ़ाने जा रहे हैं. बात करें करण जौहर निर्देशित फिल्म तख्त की तो इसमें
रणवीर सिंह
,
करीना कपूर खान
, आलिया भट्ट, विकी कौशल, भूमि पेडनेकर, जाह्नवी कपूर और अनिल कपूर अहम किरदार निभाते नजर आएंगे.
अपनी स्टार कास्ट और बैनर की वजह से ऐतिहासिक फिल्म "तख्त" चर्चा में आ चुकी है. कहा जा रहा था कि फिल्म की कहानी सच्ची ऐतिहासिक घटना पर आधारित है और पिछले दिनों करण ने खुद इस बात की पुष्टि की है. उन्होंने बताया, फिल्म इतिहास की कहानी पर ही आधारित है. फिल्म इतिहास की गरिमा को ध्यान में रखकर बनाई जा रही है. करण ने कहा, "यह फिल्म सच्ची ऐतिहातिक घटना पर आधारित है. यह पूरी तरह इतिहास में मौजूद है और इसलिए इसे उस तरीके से बताना महत्वपूर्ण है, जिस तरीके से यह घटी है." |
आवरण कथाः मोदी का जलवा कायम | प्रेरक गुरु साइमन सिनेक ने बड़े आसान शब्दों में इस बात को समझाया था कि महान नेता हमें क्यों प्रेरित करते हैं. इसे वे दुनिया का सबसे आसान मंत्र कहते थे. सिनेक के अनुसार आप क्या कर रहे हैं और कैसे कर रहे हैं, इस पर जोर देने की जरूरत नहीं है. सारा सूत्र इस बात में छुपा है कि आप जो कुछ कर रहे हैं उसे लोगों को समझा ले जाएं कि क्यों कर रहे हैं. नागरिक अधिकारों के पैरोकार मार्टिन लूथर किंग जूनियर ने अमेरिकी जनता को केवल अपने काम से प्रेरित नहीं किया था बल्कि उन्होंने लोगों को यह भरोसा दिलवा दिया था कि यह आंदोलन लोग खुद अपने लिए कर रहे हैं. सिनेक इसकी व्याख्या इस प्रकार करते हैं, ''मार्टिन लूथर यह नहीं कहते थे कि मेरे पास एक योजना है. वे कहते थे कि मेरे पास एक सपना है." वह सपना बाद में सामूहिक स्वप्न बन जाता था.
यही नजरिया इस बात की शायद व्याख्या करता है कि आखिर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज भी क्यों समूचे राजनैतिक विमर्श के बीच सबसे ऊंचे नेता बने हुए हैं, जैसा कि ताजातरीन इंडिया टुडे-कार्वी इनसाइट्स देश का मिज़ाज सर्वेक्षण का नतीजा बताता है. मसलन, आप पिछले नवंबर में उनके द्वारा किए गए नोटबंदी के विवादास्पद फैसले पर उमड़े जन समर्थन को ही ले लीजिए. इस फैसले ने देश के वित्तीय तंत्र को जबरदस्त तरीके से असंतुलित कर डाला, आम आदमी को बहुत दर्द दिया और इसके फायदे पर अब भी मुहर लगनी बाकी है. स्वतंत्रता दिवस के अपने संबोधन में मोदी ने इस बात का जिक्र किया कि नोटबंदी के चलते तीन लाख करोड़ रुपए का बेनामी धन बैंकिंग तंत्र में आ गया है. अब तक हालांकि आरबीआइ इसका कोई लागत-लाभ विश्लेषण सामने नहीं रख सका है. इस दौरान साक्ष्य बढ़ते जा रहे हैं कि नोटबंदी के कारण बड़े पैमाने पर नौकरियों का नाश हुआ है (सेंटर फॉर मॉनिटरिंग इंडियन इकोनॉमी यानी सीएमआइई के मुताबिक 15 लाख) और देश के सकल घरेलू उत्पाद में गिरावट आई है (इस पर 0.5 फीसदी की आम सहमति है).
फिर भी, जैसा कि देश का मिज़ाज सर्वेक्षण बताता है, इसमें शामिल बहुसंख्य लोगों ने नोटबंदी के कदम को काले धन पर वार बताया है और भ्रष्टाचार मुक्त सरकार को मोदी की अब तक की सबसे बड़ी उपलब्धि के रूप में गिनाया है. प्रधानमंत्री का स्वच्छ भारत अभियान, पाकिस्तान स्थित आतंकी समूहों के खिलाफ सर्जिकल स्ट्राइक, इन्फ्रास्ट्रक्चर में सुधार के प्रयास और गरीब तथा किसान समर्थक योजनाएं—सब उनके भ्रष्टाचार विरोधी अभियान की तुलना में फीके पड़ गए हैं.
देश को भ्रष्टाचार से मुक्त कराने पर जोर देकर मोदी ने वास्तव में देश की नब्ज को पकड़ा है. यही वह कारण था कि लोगों ने 2014 में उन्हें भारी बहुमत दिया था. मनमोहन सिंह के नेतृत्व वाली यूपीए सरकार की हवा दूसरे कार्यकाल में इसलिए निकल गई थी क्योंकि जनधारणा में वह भ्रष्ट साबित हो चुकी थी. राष्ट्रमंडल खेलों से लेकर कोयला घोटाला या 2जी दूरसंचार स्पेक्ट्रम आवंटन में राजकोष को हुए भारी नुक्सान जैसे सिलसिलेवार घोटालों ने लोगों को भ्रष्टाचार के खिलाफ कार्रवाई की मांग करने को मजबूर कर दिया था. लोग केवल इतना ही नहीं चाहते थे कि कोई ऐसा हो जो देश चला सके बल्कि एक ऐसा नेता जो राजकाज के भ्रष्ट और अनैतिक तंत्र को साफ भी कर सके. मोदी इसी वादे पर सवार होकर सत्ता में आए थे.
सत्ता में रहते हुए तीन साल के बाद उन्होंने यह तय किया है कि वे भ्रष्टाचार और काले धन की जड़ों पर हमला करने के तमाम उपाय करें. कहीं ज्यादा अहम यह है कि वे मतदाताओं तक यह बात पहुंचा पाने में कामयाब रहे हैं कि वे क्यों कर रहे हैं. इसीलिए नोटबंदी के चरम दौर में जब लोग अपना ही पैसा निकालने के लिए सर्पीली कतारों में बैंकों के सामने खड़े थे, मोदी दुख तो जाहिर कर रहे थे लेकिन लोगों को बार-बार याद दिला रहे थे कि वे ऐसा क्यों कर रहे हैं. उन्होंने भरोसा दिलाया कि नोटबंदी समता पैदा करने वाला कदम है और जो लोग गलत तरीके से पैसे बनाए थे, अब उनकी बारी है. उन्होंने एहसास दिलाया कि सरकार जनता की मांग पर ही स्वच्छ सरकार की दिशा में काम कर रही है और अवैध तरीके से धन संचय करने वालों पर कड़ी कार्रवाई कर रही है. यहां तक कि उनकी सरकार का दूसरा बड़ा और अहम सुधार जीएसटी भी अकेले इस रूप में नहीं पेश किया गया, जो दाम कम करके उपभोक्ताओं की मदद करेगा, बल्कि कर चोरी और रिश्वतखोरी को कम करने में मदद करेगा. इन तमाम कवायदों में मोदी ''क्यों" पर जोर दिए हुए थे, ''क्या" और ''कैसे" पर नहीं. इसके सहारे वे अपनी कहानी लोगों को समझा पाने में कामयाब रहे.
कुछ और गुण हैं जो मोदी ने प्रदर्शित किए हैं और जिनके चलते उनकी छवि जबरदस्त ऊंचाइयों पर पहुंच गई है. प्रधानमंत्री को अब आजादी के बाद के सबसे अच्छे नेता के रूप में दर्जा मिल चुका है. वे जवाहरलाल नेहरू, इंदिरा गांधी और अटलबिहारी वाजपेयी से भी ताजातरीन देश का मिज़ाज सर्वेक्षण में आगे निकल चुके हैं. उनकी सरकार का हाल यह है कि अगर चुनाव आज हो गए तो एनडीए 349 सीटें जीतने में कामयाब होगा जो जनवरी, 2017 में हुए पिछले देश का मिज़ाज सर्वेक्षण के 360 से थोड़ा कम है. यूपीए 75 सीटों के साथ बहुत पीछे है जबकि अन्य विपक्षी दलों को बमुश्किल 119 सीटें आएंगी.
महत्वपूर्ण यह भी है कि लगातार दूसरे देश का मिज़ाज तीसरे सर्वेक्षण में यह बात सामने आई है कि भाजपा अकेले दम पर बहुमत पा सकती है. मौजूदा सर्वेक्षण में उसे 298 सीटें मिलने का अनुमान है. नोटबंदी से आर्थिक वृद्धि में आई गिरावट के बावजूद अगर भाजपा और मोदी अपने दम पर खड़े रह पाने में आज सक्षम हैं, तो यह तथ्य इस बात की ओर संकेत करता है कि सत्ताधारी दल 2019 में सत्ता में वापसी में पर्याप्त सक्षम है, बशर्ते मौजूदा रुझान जारी रहे. ये नतीजे बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के महागठबंधन से टूटकर एनडीए में वापसी से पहले के हैं. अगर उनकी पार्टी जेडी(यू) गठबंधन में शामिल हो जाती है तो मौजूदा परिदृश्य में एनडीए का आंकड़ा 400 सीटों को पार कर जा सकता है.
मोदी को समझने के लिए एक बार फिर सिनेक का सहारा लेते हैं, जो जबरदस्त कामयाबी के 10 सूत्र गिनाते हैः नियम तोड़ो, अपने दिमाग को प्रशिक्षित करो, धैर्य रखो, जवाबदेह बनो, अपनी क्षमता से ज्यादा करो, खूंटा पकड़े रहो, अंत में बोलो, प्रामाणिक रहो, अपनी चित्तवृत्ति को तलाशो और क्यों से शुरुआत करो. इस सूची को जांचिए और आप पाएंगे कि मोदी हर सूत्र पर खरे उतरते हैं. उन्होंने लगातार नियमों को तोड़ा है, चाहे वह सर्जिकल हमला हो या नोटबंदी. पिछले तीन साल में उन्होंने लगातार अपने प्रतिद्वंद्वियों को और खुद को भी अपने कामों से पीछे छोड़ दिया है. वे अपने हर कदम की जवाबदेही लेते हैं. कैबिनेट की बैठकों में वे अपने सहयोगियेां की सुनते हैं और अंत में बोलते हैं. और जब कभी बोलते हैं, उसमें स्पष्टता, जुनून और प्रामाणिकता होती है जो हमेशा व्यापक दृष्टि को रेखांकित करती है. शायद यही कारण है कि देश का मिज़ाज सर्वेक्षण में 63 फीसदी लोग उनके प्रदर्शन को अच्छे से लेकर शानदार तक बता रहे हैं और केवल 12 फीसदी लोग इसे खराब और बदतर कह रहे हैं.
बावजूद इसके सिनेक के नियम यह नहीं बता पाते कि आखिर तीन साल के बाद भी मोदी के चक्कर में भारत कैसे फंसा पड़ा है. एक कारण यह है कि मोदी को मजबूत और निर्णायक नेता के रूप में देखा जा रहा है, जो आधुनिक भारत के नजरिए को साकार करने को इच्छुक है जिससे वह लोगों को प्रेरित करना चाहता है. ऐसा करने में उन्होंने निजी उदाहरण को सामने रखा है और यह सुनिश्चित किया है कि केंद्रीय नौकरशाहों की नियुक्ति में योग्यता को तरजीह दी जाती है. वे व्यावहारिक प्रशासक हैं और अपने कार्यक्रमों की खुद निगरानी करते हैं तथा अपने मंत्रियों और अफसरों से उनकी प्रगति के संबंध में पावर पॉइंट प्रस्तुतियां मंगवाते हैं.
उनकी कैबिनेट के सहयोगियों का कहना है कि प्रधानमंत्री की याददाश्त जबरदस्त है, वे एक अच्छे श्रोता हैं और महीन विवरणों पर उनकी निगाह रहती है. जैसा कि एक सहयोगी कहते हैं, ''वे विचारों को गढ़े जाने के चरण से लेकर आख्यान बनने और लागू होने के चरण तक खुद देखते हैं." मोदी ने राजकाज को सक्षम बनाने तथा सरकारी प्रक्रियाओं को सरल करने और गति देने के लिए प्रौद्योगिकी का दोहन किया है. अपने संदेश को लोगों तक पहुंचाने के लिए उन्होंने चालू जुमलों और कहावतों का सहारा लिया है. संसद में ''भारत छोड़ो" आंदोलन की 75वीं सालगिरह के मौके पर मोदी ने कहा कि प्रसिद्ध नारा ''करेंगे या मरेंगे" को बदलकर ''करेंगे और कर के रहेंगे" कर देना चाहिए. स्वतंत्रता दिवस के संबोधन में लोगों को सुझाव दिया है, वे ''चलता है" वाला नजरिया छोड़ें और ''बदल सकते हैं" वाली दृष्टि को अपनाएं.
काम करने की शैली की बात आती है तो देश का मिज़ाज सर्वेक्षण के नतीजे काफी दिलचस्प और विरोधाभासी दिखते हैं. बिना भय के बड़े जोखिम लेने वालों की सूची में वे सबसे ऊपर हैं (24 फीसदी लोग) लेकिन सर्वेक्षण का एक नतीजा उन्हें कड़ी चेतावनी भी दे रहा है. इतनी ही संख्या उन लोगों की भी है जो मानते हैं कि मोदी केवल बात करते हैं और काम कुछ नहीं करते. इशारा इस ओर है कि उन्होंने जो तमाम योजनाएं शुरू की हैं, तीन साल बाद उन पर कुछ करते हुए दिखाई भी देना अब शुरू करें. एक तबका ऐसा है जो मानता है कि प्रधानमंत्री पंथ-संकीर्ण और अल्पसंख्यक-विरोधी हैं. गोरक्षकों लंपटों ने कानून हाथ में लेकर उनकी इस छवि को और चमकाया है. ऐसे तत्वों के साथ कठोरता का बरताव करना होगा. मोदी ने हाल ही में उनके द्वारा की गई हिंसा के खिलाफ एक कड़ा संदेश दिया था. स्वतंत्रता दिवस के संबोधन में भी इस बारे में खुलकर बात की. सर्वेक्षण में शामिल लोग उनकी गरीब-समर्थक छवि को स्वीकार करते हैं लेकिन किसानों की योजनाओं के संबंध में लोग उन्हें हल्के में लेते हैं और कहते हैं कि ये योजनाएं नाकाफी हैं.
इस सर्वेक्षण से कुछ और संकेत निकले हैं जो प्रधानमंत्री के लिए चेतावनी स्वरूप हैं. सबसे अहम चेतावनी रोजगार के मोर्चे पर आ रही है, जहां लोग इस बात से ङ्क्षचतित हैं कि पिछले देश का मिज़ाज सर्वेक्षण के बाद से नौकरियों का संकट बढ़ा है (देखें अर्थव्यवस्था पर साथ की स्टोरी). ऐसा नहीं है कि मोदी सरकार ने बिल्कुल ही कुछ भी नहीं किया. उनका जोर इन्फ्रास्ट्रक्चर पर सरकारी व्यय बढ़ाने पर रहा है, खासकर श्रम सघन सड़कों और आवास क्षेत्र में उन्होंने काफी बल दिया है. आने वाले साल में इन सबका फायदा उन्हें मिल सकता है. इसके अलावा उन्होंने विकास की कई और योजनाएं शुरू की हैं. प्रधानमंत्री ने बेरोजगार युवाओं से रोजगार खोजने की बजाए रोजगार पैदा करने का आह्वान करके पूरी कहानी को ही पलट दिया है. उनका कहना है कि स्वरोजगार योजनाओं का वे पूरा दोहन करें जो उनकी सरकार ने शुरू की हैं.
प्रधानमंत्री मोदी पैर फैलाने में कोई संकोच नहीं करते, चादर चाहे कितनी ही छोटी हो. उन्होंने एक नया लक्ष्य पकड़ लिया है. उन्होंने ''न्यू इंडिया" के विजन को स्पष्ट कर दिया है जिसे 2022 तक प्राप्त कर लिया जाना है- तब जबकि भारत अपनी आजादी के 75 साल पूरे करेगा. स्वतंत्रता दिवस के अपने भाषण में उन्होंने कहा, ''मैं टीम इंडिया का आह्वान करता हूं कि वह 2022 तक न्यू इंडिया बनाने के लिए दौड़ लगाए. उस समय तक गरीबों के पास कंक्रीट के पक्के घर होंगे. किसानों की आय दोगुना हो चुकी होगी. युवाओं और महिलाओं के पास ढेर सारे समृद्धि के अवसर होंगे. वह एक स्वच्छ भारत होना चाहिए. जातिवाद, सांप्रदायिकता, भ्रष्टाचार और भाई-भतीजावाद से मुक्त भारत." ऐसा कहकर मोदी ने काफी सूक्ष्म तरीके से मतदाताओं तक संदेश दे दिया है कि उनकी निगाह 2019 के चुनाव पर नहीं है जब उन्हें दोबारा मैदान में उतरना होगा. इसके बजाए मार्टिन लूथर किंग की तर्ज पर उन्होंने 2022 का एक खाका पेश किया है जो लोगों को उन्हें सत्ता में वापस लाने की वजह मुहैया कराता है. प्रबंधन के महारथियों को मोदी से सबक लेना चाहिए. |
10.or का बजट स्मार्टफोन D2 भारत में लॉन्च, जानें क्या है खास | अमेजन का लेटेस्ट
स्मार्टफोन
10.or D2 भारत में लॉन्च कर दिया गया है. 10.or (टेनॉर) का डेब्यू भारत में पिछले साल सितंबर में हुआ था. फिलहाल कंपनी के तीन हैंडसेट- 10.or G, 10.or E और 10.or D बाजार में मौजूद हैं. कंपनी ने 10.or D2 की कीमत भारत में 2GB रैम/ 16GB स्टोरेज वेरिएंट के लिए 6,999 रुपये रखी है. वहीं इस स्मार्टफोन के 3GB रैम/ 32GB स्टोरेज वेरिएंट के लिए ग्राहकों को 7,999 रुपये का भुगतान करना होगा.
ग्राहकों को ये स्मार्टफोन दो कलर मॉडल- बियॉन्ड ब्लैक और ग्लो गोल्ड में उपलब्ध होगा. ग्राहक इसे 28 अगस्त से खरीद पाएंगे. साथ ही आपको बता दें अमेजन प्राइम मेंबर्स को 27 अगस्त को ही इस स्मार्टफोन को खरीदने का मौका दिया जाएगा. लॉन्च ऑफर की बात करें PNB क्रेडिट और डेबिट कार्ड पर ग्राहकों को 10 प्रतिशत का डिस्काउंट, इंडसइंड बैंक क्रेडिट और डेबिट कार्ड पर 10 प्रतिशत डिस्काउंट, एक्सचेंज पर 1,000 रुपये तक अतिरिक्त डिस्काउंट, रिलायंस जियो की ओर से 2,200 रुपये का कैशबैक और नो-कॉस्ट EMI का ऑप्शन ग्राहकों को मिलेगा. साथ ही अमेजन प्राइम मेंबर्स को 1 साल की एडिशनल वारंटी भी ग्राहकों को दी जाएगी.
10.or D2 के स्पेसिफिकेशन्स
डुअल-सिम (नैनो) सपोर्ट वाला 10.or D2 स्टॉक एंड्रॉयड UI के साथ एंड्रॉयड 8.1 ओरियो पर चलता है. इस स्मार्टफोन में 18:9 रेश्यो के साथ 5.45-इंच HD+ (720x1440 पिक्सल) LTPS डिस्प्ले दी गई है. इसमें 2GB/3GB
रैम
और Adreno 308 GPU के साथ क्वॉलकॉम स्नैपड्रैगन 425 प्रोसेसर ग्राहकों को मिलेगा.
फोटोग्राफी के सेक्शन की बात करें तो 10.or D2 के रियर में PDAF, f/2.0 अपर्चर और सिंगल टोन LED फ्लैश के साथ 13 मेगापिक्सल का कैमरा दिया गया है. वहीं इसके फ्रंट कैमरे की बात करें तो यहां सेल्फी के लिए सिंगल टोन फ्लैश और f/2.0 अपर्चर के साथ 5 मेगापिक्सल का कैमरा दिया गया है.
इस स्मार्टफोन की इंटरनल
मेमोरी
16GB या 32GB की है जिसे कार्ड की मदद से 128GB तक बढ़ाया जा सकता है. कनेक्टिविटी के लिहाज से इसमें 4G VoLTE, VoWi-Fi, ViLTE, Wi-Fi 802.11 b/g/n, GPS/AGPS, GLONASS और Bluetooth 4.2 का सपोर्ट मौजूद है. इसकी
बैटरी
3200mAh की है. |
ऋतिक रोशन के बचपन का वीडियो वायरल, इस अंदाज में डांस करते दिखे | बॉलीवुड एक्टर ऋतिक रोशन अपनी एक्टिंग के साथ डांस के लिए भी जाने जाते हैं. ऋतिक रोशन की गिनती बॉलीवुड के उन चुनिंदा सितारों में होती है जो अपने फिल्म में बेहतरीन डांस देने की कोशिश करते हैं. ऋतिक का डांस के प्रति रुझान नया नहीं है, वह फिल्म इंडस्ट्री में एंट्री से पहले ही एक शानदार डांसर थे.
ऋतिक रोशन
के फैन पेज ने उनका एक
वीडियो
शेयर किया है. ये वीडियो ऋतिक के बचपन के डांस की है. इस वीडियो में वह शानदार डांस कर रहे हैं. हालांकि अभी तक ये साफ नहीं है कि यह कहां का वीडियो है, लेकिन ऋतिक के डांस मूव्ज बिल्कुल अलग हैं. ऋतिक रोशन सदी के महानायक
अमिताभ बच्चन
की फिल्म लावारिस के गाने अपनी तो जैसे-तैसे पर थिरक रहे हैं. ये फिल्म 1981 में रिलीज हुई थी.
He had the moves right from the start- watch a young Duggu burn up the dance floor! Thank you Pinkie Roshan.
#Hrithik
#Hrithikroshan
pic.twitter.com/5vEuSzDMJx
— HrithikRules.com (@HrithikRules)
November 17, 2019
ऋतिक रोशन लंबे से सिल्वर स्क्रीन से दूर थे, लेकिन उनकी हाल ही में आई फिल्म वॉर ने बॉक्स ऑफिस पर धूम मचा दी है. फिल्म ने कमाई के नए रिकॉर्ड हासिल किए हैं और इस साल की सबसे ज्यादा कमाई करने वाली फिल्मों की लिस्ट में शामिल हो गई है. फिल्म वॉर का कलेक्शन देश के साथ विदेशों में भी अच्छा खासा रहा है.
टाइगर श्रॉफ और ऋतिक रोशन स्टारर वॉर के वर्ल्डवाइड कलेक्शन ने चेन्नई एक्सप्रेस, अंधाधुन, 3 इडियट्स, प्रेम रतन धन पायो और दिलवाले को पीछे छोड़ दिया था और इस फिल्म ने 300 करोड़ से भी अधिक की कमाई की थी. |
SC से BJP विधायक नरोत्तम मिश्रा को झटका, नहीं मिली राष्ट्रपति चुनाव में वोट की इजाजत | मध्य प्रदेश के कैबिनेट मंत्री और बीजेपी विधायक नरोत्तम मिश्रा को सुप्रीम कोर्ट से राहत नहीं मिली है. सुप्रीम कोर्ट ने चुनाव आयोग के आदेश पर स्टे लगाने की अपील खारिज कर दी है. मिश्रा ने सुप्रीम कोर्ट से राष्ट्रपति चुनाव में हिस्सा लेने की इजाजत मांगी थी.
दिल्ली HC को ट्रांसफर
सुप्रीम कोर्ट ने निर्देश दिया कि दिल्ली हाई कोर्ट में बेंच बनाकर गुरुवार से मामले की सुनवाई शुरू की जाए. कोर्ट ने कहा कि 17 जुलाई को होने वाले राष्ट्रपति चुनाव से पहले सुनवाई पूरी कर मामले का निपटारा किया जाए. सुप्रीम कोर्ट ने ये भी कहा कि जरूरत पड़े तो शनिवार को भी सुनवाई की जाए.
दरअसल, पेड न्यूज के मामले में नरोत्तम मिश्रा को चुनाव आयोग ने दोषी माना था. आयोग ने नरोत्तम मिश्रा को 3 साल के लिए अयोग्य ठहराया था. चुनाव आयोग ने ये आदेश 23 जून को दिया था. जिसके बाद ये बात साफ हो गई थी कि नरोत्तम मिश्रा आगामी राष्ट्रपति चुनाव में वोटिंग नहीं कर सकेंगे.
हालांकि, सुप्रीम कोर्ट ने इस संबंध में सुनवाई के लिए मामला दिल्ली हाई कोर्ट को भेज दिया है. सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि दिल्ली हाई कोर्ट राष्ट्रपति चुनाव से पहले केस की सुनवाई करे.
एमपी HC में मामला
नरोत्तम मिश्रा ने आयोग के आदेश को पहले मध्यप्रदेश हाई कोर्ट में चुनौती दी थी. मगर एमपी हाई कोर्ट ने मिश्रा की याचिका पर सुनवाई दो सप्ताह के टाल दी थी. जिसके बाद नरोत्तम मिश्रा ने सुप्रीम कोर्ट में विशेष याचिका दायर की. सुप्रीम कोर्ट ने एमपी हाई कोर्ट से मामले की सुनवाई जल्दी पूरी करने के निर्देश भी दिए हैं.
ये है आरोप
चुनाव आयोग ने पाया था कि नरोत्तम मिश्रा ने साल 2008 के विधानसभा चुनाव में पेड न्यूज पर खर्च की गई रकम को अपने चुनावी खर्च में नहीं दर्शाया था. कांग्रेस के पूर्व विधायक राजेंद्र भारती की 2009 में की गई शिकायत पर यह फैसला आया था. राजेंद्र भारती ने नरोत्तम मिश्रा पर 2008 के चुनावों के दौरान करप्ट प्रैक्टिस और पेड न्यूज का आरोप लगाया था. |
Jamia से होगा उर्दू में एक साल का डिस्टेंस कोर्स, ऐसे मिलेगा एडमिशन | जामिया मिल्लिया इस्लामिया ने हिन्दी या अंग्रेजी माध्यम के जरिये उर्दू भाषा में एकवर्षीय पाठ्यक्रम में एडमिशन की पेशकश की है. इस कोर्स का उद्देश्य उर्दू सीखने की इच्छा रखने वालों को अवसर प्रदान करना है. डिस्टेंस माध्यम वाले इस पाठ्यक्रम में प्रवेश पूरे वर्ष किसी भी समय लिया जा सकता है. यह कोर्स छात्रों को उनकी सुविधा के अनुसार उर्दू सीखने की सुविधा प्रदान करेगा.
आपको बता दें कि जामिया ने भारत में इस कोर्स के लिए नामांकन शुल्क 100 रूपए रखा है. वहीं दक्षेस देशों के लोगों के लिए 20 अमेरिकी डालर और अन्य देशों के लिए 50 अमेरिकी डालर फीस है. यह कोर्स करने वालों से कोई ट्यूशन फीस नहीं ली जाएगी.
एडमिशन फार्म और प्रॉस्पेक्टस ऊर्द पत्राचार पाठ्यक्रम के आनरेरी डायरेक्टर कार्यालय, सेंटर फॉर डिस्टेंस एंड ओपन लर्निंग, जामिया मिल्लिया इस्लामिया, नई दिल्ली-110025 से प्राप्त किया जा सकता है. इसके लिए अपने पते के साथ, 10 रुपये की डाक टिकट वाले 24 X 12 सेंटीमीटर के लिफाफे को यहां दिए गए पते पर भेजना होगा. एडमिशन फार्म जामिया की वेबसाइट http://jmi.ac.in/upload/centres/cdol/uccform.pdf से भी डाउनलोड किया जा सकता है. |
शाम को खुलेंगे सबरीमाला मंदिर के कपाट, सुरक्षा बढ़ाई गई | केरल के प्रसिद्ध सबरीमाला मंदिर के द्वार आज एक बार फिर खुलने जा रहे हैं. विरोध प्रदर्शन को ध्यान में रखते हुए पूरे इलाके में 2300 से अधिक सुरक्षाकर्मी तैनात किए गए हैं. गौरतलब है कि पिछली बार जब मंदिर के गेट खुले थे, तो काफी हंगामा हुआ था.
मंदिर के कपाट शाम पांच बजे खुलेंगे और मंगलवार रात 10 बजे बंद होंगे. श्रद्धालुओं को केवल सोमवार दोपहर बाद ऊपर के रास्ते पर जाने की इजाजत दी जाएगी. महिलाओं के प्रवेश को लेकर सुप्रीम कोर्ट द्वारा दिए गए आदेश के बाद मंदिर के बाहर प्रदर्शन लगातार जारी है.
मंदिर के कपाट खुलने से पहले केरल हाईकोर्ट ने आदेश दिया है कि किसी भी श्रद्धालु और मीडियापर्सन को रोका ना जाए. सरकार को मंदिर की गतिविधियों में दखल नहीं देना चाहिए.
भाजपा व कई अन्य हिंदू संगठन
सबरीमाला मंदिर
में सभी आयु की महिलाओं को प्रवेश देने के सर्वोच्च न्यायालय के आदेश के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे हैं. केरल सरकार ने कहा है कि वह शीर्ष अदालत के आदेश को लागू करेगी.
निलक्कल से लेकर मंदिर कस्बे आधार शिविर पांबा तक जाने वाली सभी सड़कों पर बैरिकैड लगा दिए गए हैं और पुलिस द्वारा सोमवार सुबह तक निषिद्ध घोषित कर दिया गया है. पुलिस मंदिर कस्बे और उसके आस-पास से गुजरने वाले प्रत्येक वाहन की जांच कर रही है. रविवार को विरोध के बाद पुलिस ने मीडिया को निलक्कल जाने की इजाजत दे दी है.
क्या था सुप्रीम कोर्ट का फैसला?
बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने 10 से 50 साल की महिलाओं को मंदिर में प्रवेश से रोकने की सदियों पुरानी परंपरा को गलत बताते हुए उसे खत्म कर दिया था और सभी आयुवर्ग की महिलाओं को प्रवेश करने की इजाजत दी थी. सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद 17 अक्टूबर को पहली बार कपाट खुले थे और अब खुल रहे हैं. |
नरेंद्र मोदी को नहीं पसंद ‘देहाती औरत’’: सलमान खुर्शीद | विदेश मंत्री सलमान खुर्शीद ने बीजेपी के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार नरेंद्र मोदी पर प्रहार करते हुए कहा कि ‘देहाती औरत’ वाली कथित टिप्पणी को लेकर प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के खिलाफ की गई उनकी टिप्पणी से पता चलता है कि उन्हें देहाती औरत पसंद नहीं है. इसके साथ ही उन्होंने मोदी को तथ्यों की पुष्टि किए बिना ‘टांय टांय’ करने वाला ‘तोता’ करार दिया है.
खुर्शीद ने कहा कि मोदी जमीनी हकीकत से अंजान हैं और एक ‘देहाती औरत’ होने में कोई बुराई नहीं है.
न्यूयॉर्क में एक इंटरव्यू में उन्होंने कहा ‘मोदी को ‘देहाती औरत’ पसंद नहीं. बेशक वह देहाती औरत को पसंद नहीं करते. हमें देहाती औरत वाली टिप्पणी अपमानजनक क्यों लगनी चाहिए.’ खुर्शीद मोदी की उस टिप्पणी पर प्रतिक्रिया दे रहे थे, जिसमें उन्होंने पाकिस्तानी प्रधानमंत्री नवाज शरीफ द्वारा कथित रूप से एक ‘देहाती औरत’ से प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह की तुलना किए जाने को अपमानजनक करार दिया था.
‘देहाती औरत’ वाली शरीफ की टिप्पणी का खुलासा करने वाले पाकिस्तानी पत्रकार ने बाद में इसका खंडन करते हुए कहा कि पाकिस्तान प्रधानमंत्री ने इस शब्द का प्रयोग नहीं किया था.
विदेश मंत्री ने कहा कि मोदी ने एक ऐसी टिप्पणी को लेकर प्रधानमंत्री पर प्रहार किया, जिसके बारे में अभी तक साफ नहीं हो पाया है कि नवाज शरीफ ने ऐसे कहा भी है या नहीं. वह कभी तथ्यों की जांच नहीं करते, टीवी नहीं देखते, इसलिए उनके लिए यह जानना कठिन हो जाता है कि दूसरे लोग क्या कह रहे हैं. उन्हें जो बताया जाता है, वह उसी को सत्य मान लेते हैं.
खुर्शीद ने कहा, ‘उनके इर्द गिर्द ऐसे लोग मौजूद हैं, जिन्हें शायद भारतीय राजनीति का ज्यादा तजुर्बा नहीं है. वह उन्हें कुछ बताते हैं, जिसे वह तोते की तरह याद कर लेते हैं.’
उन्होंने कहा, ‘क्या उन्हें तथ्यों की जांच नहीं करनी चाहिए या क्या उन्हें तथ्यों से एलर्जी है? (केंद्रीय वित्त मंत्री पी) चिंदबरम ने कहा कि वह तथ्यों के साथ फर्जी मुठभेड़ करते हैं. मेरा निजी तौर पर मानना है कि उन्हें तथ्यों से एलर्जी है.’ खुर्शीद ने कहा कि न्यूयार्क में सिंह और शरीफ के बीच हुई बैठक में कोई विवाद नहीं दिखा.
उन्होंने कहा, ‘मोदी के पास कहने को कुछ और नहीं है, वह तर्क विहीन व्यक्ति हैं, उनमें तर्क का अभाव है, कूटनीतिक समझ का अभाव है और अपने कथन पर टिके रहने का अभाव है.’ इसके साथ उन्होंने कहा, ‘मैं इसमें अभी पाखंड को नहीं जोड़ रहा हूं.’ उन्होंने कहा, ‘कोई भी व्यक्ति जो इन तीन कमियों से जूझ रहा हो और मैं इसमें चौथी कमी को नहीं जोड़ रहा, उसे गंभीरता से नहीं लिया जा सकता है.’
खुर्शीद ने कहा, ‘मोदी के लिए हमारा संदेश यह है कि दूसरे लोगों के कार्यों पर टिप्पणी करना बंद कर आप अपने बारे में बात करना शुरू क्यों नहीं करते. वह अपने बारे में कुछ कहते ही नहीं. क्या उन्होंने पाकिस्तान पर अपनी नीति, एक पद एक पेंशन पर अपनी नीति, सांप्रदायिक हिंसा पर अपनी नीति, पुलिस और मानवाधिकार पर अपनी नीति बताई है? क्या उन्होंने किसी चीज भी संबंध में अपनी नीति बताई है?’ |
JioFiber के दो सस्ते प्लान लॉन्च, मिलेगी 10Mbps से 100Mbps तक की स्पीड | JioFiber नए दो सस्ते प्लान्स लॉन्च किए हैं.
199 रुपये और 351 रुपये के दो नए प्लान्स.
Reliance Jio ने JioFiber के लिए एक नया प्लान लॉन्च किया है. इस प्लान के बाद अब Jio Fiber FTTH प्लान की शुरुआती कीमत 351 रुपये होगी. चूंकि जैसी उम्मीद थी कि JioFiber देश भर में Jio सिम की तरह ही धूम मचा देगा, लेकिन ऐसा नहीं हुआ.
JioFiber के प्लान दूसरी ब्रॉडबैंड कंपनियों के मुकाबले महंगे हैं और शायद यही वजह है कि JioFiber को जियो सिम की तरह रफ्तार नहीं मिल पाई है. कंपनी ने कई आक्रामक प्लान भी लॉन्च किए थे जिसके साथ फ्री टीवी और राउटर भी दिए जाते हैं. इस प्लान के साथ कंपनी ने 199 रुपये का वीकली प्लान भी पेश कर दियाहै.
बहरहाल, अब बात करते हैं 351 रुपये के नए JioFiber प्लान के बारे में. ये JioFiber का सबसे सस्ता प्लान होगा. इसके तहत कंपनी उन यूजर्स को टार्गेट कर रही है जिन्हें स्पीड नहीं, सिर्फ कनेक्टिविटी की ज्यादा जरूरत होगी. इस प्लान के तहत यूजर्स को 50GB डेटा दिया जाएगा.
351 रुपये के प्लान में आपको 10Mbps की स्पीड मिलेगी. इस प्लान के साथ FUP है यानी 50GB डेटा खत्म होने के बाद आपको 1Mbps की अनलिमिटेड स्पीड मिलती रहेगी. इसके अलावा इस प्लान में अनिलिमिडेट कॉलिंग का भी ऑप्शन दिया जाएगा.
199 रुपये के प्लान में 100Mbps की स्पीड मिलेगी, लेकिन यहां भी FUP है जिसके बाद 1Mpbs की स्पीड दी जाएगी. इसकी वैलिडिटी 7 दिन की होगी. जीएसटी के बाद 351 रुपये का प्लान 414 रुपये में मिलेगा.
इससे पहले तक JioFiber का प्लान 699 रुपये से शुरू होता था. ये सभी नए प्लान प्रीपेड हैं और दोनों प्लान्स के साथ अनलिमिटेड कॉलिंग और टीवी की सर्विस दी गई है. |
बंद कमरे से 'खोल दो' का शोर | अमेरिकी राष्ट्रपति इस बार सतर्क थे. उन्होंने सीधे तौर पर भारत में खराब होते निवेश के वातावरण की आलोचना नहीं की, इसकी बजाए वे अमेरिकी कारोबारी समुदाय के सदस्यों की बात को रख रहे थे. उन्होंने खासकर रिटेल में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश पर प्रतिबंध जैसी महीन बातों पर आलोचना की. लेकिन दूसरे की बात को उद्धृत करने और जस का तस दुहरा देने में बहुत बारीक फर्क होता है.
बराक ओबामा चाहते हैं कि भारत अपनी अर्थव्यवस्था को खोल दे. आखिर क्यों? शायद इसलिए क्योंकि उदारीकरण ग्रोथ में सहायक होता है, इससे रोजगार बढ़ता है, गरीबी घटती है, जैसा कि उन्होंने अपने इंटरव्यू के बाद वाले हिस्से में बताया है. जाहिर है, उदारवादी अर्थशास्त्री का मत भी ऐसा ही होता है और इस बात पर उनसे कोई मतभेद नहीं हो सकता कि माल, सेवाओं, पूंजी और श्रम की सीमापार आवाजाही हो.
वह यह दलील भी देगा कि संरक्षण के कारण अक्षम घरेलू उत्पादकों को फायदा होता है और कंज्यूमर को नुकसान. पर यह दलील तब हमें सहमत कर पाती जब वह ऐसे किसी देश से आ रही होती जिसने खुद इसे लागू किया हो.
उदाहरण समेत बताया जा सकता है कि माल, सेवा, पूंजी और श्रम चारों के मामले में अमेरिका आदर्श नहीं है. पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति यूलिसिस ग्रांट ने कहा था, ''सदियों से इंग्लैंड संरक्षण के भरोसे रहा है, इस नीति को अतिवाद की हद तक ले गया और उससे उसे संतोषजनक लाभ भी मिला.
दो सदी बाद इंग्लैंड को लगा कि मुक्त व्यापार को अपनाना ज्यादा सहज होगा क्योंकि उसे अब लगता है कि संरक्षण से कुछ हासिल नहीं होने वाला. अपने देश के बारे में मेरी समझ कहती है कि 200 साल के भीतर अमेरिका भी संरक्षण की नीति से बाहर निकल आएगा और मुक्त व्यापार को अपना लेगा.'' इसके वर्षों बाद युद्ध के दिनों में स्मूट-हॉली टैरिफ आया.
ऐसे संरक्षण की कीमत पर अमेरिका में दस्तावेज भी उपलब्ध हैं. ऐसा लगता है कि ओबामा अपने मित्र मनमोहन सिंह को यह बताना चाह रहे थे कि उन्हें अमेरिका की अतीत में की गई गलतियों से सबक लेना चाहिए.
भारतीय प्रधानमंत्री ने 1964 में भारत के निर्यात पर जो किताब लिखी थी, उसके हिसाब से देखें तो उन्हें शायद विकसित देशों में किए जा रहे संरक्षण की कीमत विकासशील देशों द्वारा चुकाए जाने को लेकर सहानुभूति थी. बदकिस्मती से माल, सेवा, पूंजी और श्रम के चारों मोर्चों पर अमेरिकी गलतियां अभी इतिहास का हिस्सा नहीं बनी हैं और इसके पक्ष में अनगिनत उदाहरण गिनाए जा सकते हैं.
माल की श्रेणी में स्टील और कृषि, या फिर शुल्कगत से गैर-शुल्कगत अवरोधों की ओर बढ़ना, डंपिंग निरोधक शुल्क, काउंटरवेलिंग (सब्सिडी विरोधी) शुल्क, निर्यात सब्सिडी और पर्यावरण के बारे में अमेरिका का क्या ख्याल है? ऐसे ही सेवा और पूंजी के मामले में देखें तो अमेरिकी घरेलू उड्डयन में एफडीआइ के मानकों में उदारीकरण पर अमेरिका क्या कहेगा? श्रम के मामले में आव्रजन प्रावधानों के उदारीकरण और वीजा अहर्ताओं को लचीला बनाने को ही लें. ओबामा कह सकते हैं कि यह सब उन्हें विरासत में मिला था और वे संरक्षणवाद को पीछे धकव्लने की कोशिश कर रहे हैं.
लेकिन दो वजहों से यह बात पचती नहीं. पहली, राष्ट्रपति बनने से पहले ओबामा का वोटिंग रिकॉर्ड देखें तो वे बमुश्किल मुक्त व्यापार के समर्थक दिखते हैं. अमेरिकी संरक्षणवाद खास तौर से 2007 के बाद बढ़ा है. इस मामले में चीन के बरक्स संरक्षणवाद को जाने दीजिए (टायर, सौर पैनल, पोल्ट्री, विनिमय दर, इत्यादि).
मोटे तौर पर ऐसी नीतियों के तहत 2009 का अमेरिकन रीकंस्ट्रक्शन ऐंड रिकवरी ऐक्ट (और संबद्ध प्रावधान) जिन्हें बाय अमेरिकी प्रावधान भी कहते हैं, निर्यात संचालित रोजगार सृजन के लिए नेशनल एक्सपोर्ट इनीशिएटिव, अमेरिकन क्लीन एनर्जी ऐंड सिक्योरिटी ऐक्ट, एम्पलॉयमेंट अमेरिकन वर्कर्स ऐक्ट, डेयरी एक्सपोर्ट इंसेंटिव प्रोग्राम तथा ऑटो क्षेत्र को वित्तीय प्रोत्साहन आदि शामिल हैं. ये सिर्फ उदाहरण हैं, पूरा संरक्षणवाद और विस्तृत है. इसी तर्क पर कहा जा रहा है कि भारत अपने को उदारीकृत कर ले, भले ही रिटेल में एफडीआइ आर्थिक सुधारों के समूचे परिदृश्य का एक छोटा-सा हिस्सा भर है.
ओबामा दलील दे सकते हैं कि अमेरिकी नीतियां विश्व व्यापार संगठन के अनुकूल हैं. एक स्तर पर यह दलील अप्रासंगिक है. पहली बात तो यही है कि उदारीकरण की क्लासिकल दलील किसी लेन-देन की समानता पर आधारित नहीं होती. एकतरफा उदारीकरण लाभ देता है, लेकिन उसमें वक्त लगता है. भारत भले ही एफडीआइ पर उदार रवैया न अपनाए लेकिन अमेरिका को तो उदारीकरण लागू करने की जरूरत है ही.
दूसरे, यदि आप डब्ल्यूटीओ की बात करते हैं, फिर तो समझौतों में लेन-देन की बात भी 1984 की गैट संधि के रास्ते आ ही जाएगी. अगर भारत को बदले में कुछ मिल ही नहीं रहा, तो वह उदारीकरण का रास्ता क्यों चुने? यह बात भूलनी नहीं चाहिए कि दोहा दौर की वार्ता कृषि क्षेत्र को उदारीकृत न करने की विकसित देशों (अमेरिका और यूरोप) की जिद के चलते ही अटकी पड़ी है.
तीसरे, अमेरिकी नीतियां जब डब्ल्यूटीओ का उल्लंघन करती पाई गईं, तब भी अमेरिका ने इन्हें बदलने की कोई नीयत नहीं दिखाई. जरा सुनिए कौन यह बात कह रहा है, ''नहीं, हम आउटसोर्सिंग से कमजोर हो चुकी अर्थव्यवस्था का रास्ता नहीं पकड़ेंगे. नौकरियां और मुनाफा समुद्र पार पहुंचा कोई भी अमेरिकी कंपनी टैक्स की अपनी जवाबदेही से बच नहीं सकती है.'' ओबामा ने 2012 में स्टेट ऑफ द यूनियन अभिभाषण में यह बात कही थी. उन्होंने कहा था, ''मैं अमेरिकी उत्पादों के लिए बाजार ढूंढने दुनिया में कहीं भी जा सकता हूं.'' हां, इसका मतलब यह मत लगाइए कि अमेरिका विदेशी वस्तुओं के लिए अपने बाजार भी खोल देगा. इसी को कहते हैं पर उपदेश कुशल बहुतेरे.
बिबेक देबरॉय सेंटर फॉर पॉलिसी रिसर्च, दिल्ली में प्रोफेसर हैं. |
Redmi Note 7 Pro में होगा ये खास, 28 को आएगा Note 7 | ये तो कन्फर्म को चुका है कि भारत शाओमी 28 फरवरी को Redmi Note 7 लॉन्च कर रहा है. लेकिन अब तक ये कन्फर्म नहीं था कि इस Redmi Note 7 Pro लॉन्च हो रहा है. अब ये भी साफ हो चुका है. रेडमी के प्रेसिडेंट लू वेबिंगन माइक्रो ब्लॉगिंग वेबसाइट वेबो पर Note 7 Pro का लॉन्च कन्फर्म कर दिया है.
Xiaomi मोबाइल वर्ल्ड कांग्रेस से पहले यानी 24 फरवरी को Mi 9 का ग्लोबल लॉन्च बार्सिलोना में करेगी. MWC 2019 की शुरुआत 25 फरवरी से हो रही है.
कंपनी ने इस बात की भी पुष्टि कर दी है कि Redmi Note 7 Pro में दिया जाने वाले सेंसर Sony IMX586 होगा. आपको बता दें कि Redmi Note 7 में Samsung का GM1 सेंसर दिया गया है. हालांकि Redmi Note 7 Pro का फ्रंट कैमरा Redmi Note 7 जैसा ही होगा.
Redmi Note 7 Pro में क्या खास होगा, लीक से कई चीजें सामने आई हैं. पिछले हफ्ते Redmi Note 7 Pro को चीनी अथॉरिटी 3C से सर्टिफिकेशन मिली है. यह स्मार्टफोन 18W फास्ट चार्जिंग के साथ आएगा. इससे पहले कंपनी ने बताया था कि Redmi Note 7 Pro में फास्ट चार्जिंग का सपोर्ट दिया जाएगा.
Redmi Note 7 Pro के मुख्य फीचर्स लीक हए गए हैं. Redmi Note के
मुकाबले इस स्मार्टफोन
में बेहतर कैमरा, बड़ी बैटरी और हार्डवेयर स्पेसिफिकेशन्स होंगे. इस स्मार्टफोन में भी 48 मेगापिक्सल का रियर कैमरा दिया जाएगा और इसमें SONY IMX586 सेंसर दिया जाएगा.
इस स्मार्टफोन में Qualcomm Snapdragon 675 प्रोसेसर दिए जाने की उम्मीद है. इसके साथ 6GB रैम और 128GB की इंटर्नल मेमोरी भी दी जा सकती है. हालांकि डिजाइन ठीक Redmi Note 7 जैसा ही होगा. इसमें भी वॉटर ड्रॉप नॉच और ग्रेडिएंट डिजाइन दिया जाएगा.
रिपोर्ट्स के मुताबिक इस स्मार्टफोन 6.3 इंच आईपीएस एलसीडी डिस्प्ले होगी 4,000mAh की बैटरी दी जाएगी. कुछ रिपोर्ट्स में कहा गया है कि इसमें अंडर डिस्प्ले फिंगरप्रिंट स्कैनर भी दिया जा सकता है. आपको बता दें कि Redmi Note 7 चीन में पहले ही लॉन्च हो चुका है और वहां इसकी कीमत 999 युआन (लगभग 10500 रुपये) है. |
कुंबले के इस्तीफे के ये हैं 5 कारण, खुलकर विरोध में आ गए थे विराट | अनिल कुंबले पिछले साल टीम इंडिया के हेड कोच चुने गए. सालभर में उन्होंने शानदार प्रदर्शन किया. इसके बाद भी वे अपनी कुर्सी नहीं बचा सके. इसके पीछे कई कारण हैं, पर सबसे बड़ा कारण खुद कप्तान विराट कोहली माने जा रहे हैं. बताया जा रहा है कि पिछले कुछ दिन से विराट कोच कुंबले के विरोध में खुलकर आ गए थे.
इन 5 कारणों के चलते कुंबले इस्तीफे के लिए हुए मजबूर?
1. कुंबले के नाम पर खुलकर सामने आ गए थे विराट
चैंपियंस ट्रॉफी में पाकिस्तान के हाथों हार के बाद कोच कुंबले और कप्तान विराट के बीच सुलझता हुआ मामला फिर उलझ गया था. विराट ने फाइनल से एक दिन पहले क्रिकेट सलाहकार समिति (सीएसी) के समक्ष कुंबले को लेकर खुलकर आपत्ति जताई थी. जिससे सलाहकार समिति पसोपेश में थी.
2.कोच के तौर पर शास्त्री को चाहते हैं विराट
मीडिया रिपोर्ट्स की मानें, तो कोच के तौर पर विराट कोहली की पहली पसंद रवि शास्त्री हैं. वह कुंबले से पहले बतौर डायरेक्टर और कोच टीम इंडिया से जुड़े थे.
3.रविवार को ही कुंबले का कॉट्रैक्ट खत्म हुआ था
चैंपियंस ट्रॉफी के बाद अनिल कुंबले का बतौर कोच कार्यकाल खत्म हो रहा था, जिसे बीसीसीआई ने इंडीज दौरे तक बढ़ा दिया था. 25 मई को इस पद के लिए आवेदन मांगे गए थे. कोच के लिए बीसीसीआई के मंगाए आवेदनों में कुंबले को सीधे एंट्री मिली थी. वहीं, पूर्व बल्लेबाज वीरेंद्र सहवाग भी इस दौड़ में शामिल हैं.
4. बोर्ड में कोई तरफदारी वाला न होना
कुंबले का सिलेक्शन टीम इंडिया के धाकड़ क्रिकेटर्स रहे सचिन तेंदुलकर, सौरव गांगुली और वीवीएस लक्ष्मण ने किया था. पर उसके बाद कुंबले को बोर्ड में सपोर्ट करने वाला कोई नहीं था. ऐसे बड़े मौके कम ही आए थे जब बोर्ड में कोई कुंबले के सपोर्ट में खुलकर सामने आया.
5. अनुशासन का सख्ती से पालन
कहा जाता है कि कोच कुंबले टीम इंडिया में अनुशासन को लेकर काफी सख्त थे. कई मौकों पर वह प्रैक्टिस के दौरान खिलाड़ियों को लताड़ भी लगा चुके थे. साथ ही कई दौरों पर वे टीम के खिलाड़ियों की गर्लफ्रेंड, पत्नियों के जाने के भी खिलाफ थे. हालांकि, इस बारे में कभी उन्होंने खुलकर कोई बयान नहीं दिया. |
LG की हरी झंडी, दिल्ली के सरकारी स्कूलों में खुलेंगे 300 मोहल्ला क्लीनिक | दिल्ली के उपराज्यपाल अनिल बैजल ने केजरीवाल सरकार की महत्वाकांक्षी योजना मोहल्ला क्लीनिक को बड़ी राहत दी है. एलजी ने सरकारी स्कूलों में मोहल्ला क्लीनिक खोलने को मंजूरी दे दी है. ऐसे करीब 300 मोहल्ला क्लीनिक खोले जाने हैं.
हालांकि
बैजल
ने अपनी हरी झंडी के साथ ये शर्त भी लगाई है कि इसके लिए पहले संबंधित एजेंसियों से सरकार को एनओसी लेनी होगी ताकि एजुकेशन एक्ट के किसी प्रावधान का उल्लंघन न हो.
एलजी ने
मोहल्ला क्लीनिकों
के लिए दक्ष चिकित्सकों की भर्ती करने को कहा है. सूत्रों के मुताबिक एलजी ने प्रस्ताव को हरी झंडी दे दी है और अब जल्द ही स्कूल परिसरों में मोहल्ला क्लीनिक खोलने का काम शुरू कर दिया जाएगा.
गौरतलब है कि नवंबर में तत्कालीन उपराज्यपाल नजीब जंग ने इस प्रस्ताव की फाइल
केजरीवाल सरकार
को वापस लौटा दी थी. उनका तर्क था कि दिल्ली स्कूल एजुकेशन एक्ट के तहत स्कूल परिसरों का इस्तेमाल केवल शैक्षणिक उद्देश्यों के लिए ही हो सकता है. |
कोलकाता के पार्क स्ट्रीट स्थित चटर्जी बिल्डिंग में आग लगी | कोलकाता के पार्क स्ट्रीट स्थित मशहूर चटर्जी इटरनेशनल बिल्डिंग में मंगलवार सुबह भीषण आग लग गई. आग इमारत की की 15वीं और 16 वीं मंजिल पर लगी थी.
खबर मिलते ही दमकल की 5 गाड़ियां मौके पर रवाना हो गई और काफी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया जा सका. आग की वजह से पूरे इलाके में अफरा-तफरी मच गई. इमारत में कई सरकारी दफ्तर भी हैं.
फिलहाल दमकलकर्मियों ने किसी भी तरह के जान-माल के नुकसान से इनकार किया है. आग लगने के कारणों का अभी पता नहीं चल पाया है. |
ऑटो एक्सपो 2016: Tata ने लॉन्च की सब-कॉम्पैक्ट सेडान KITE 5 | इन दिनों चल रहे ऑटो एक्सपो में टाटा ने अपनी नई सब-कॉम्पैक्ट Kite सेडान लॉन्च की है. यह कार कंपनी की इससे पहले लॉन्च की गई Tata Zica की तर्ज पर तैयार की गई है.
Tata Kite मार्केट में Indigo eCS
को रिप्लेस करेगी. लेकिन इसे Tata Zica से एक स्टेप नीचे ही रखा जाएगा. बता दें कि Tata Zica सब-कॉम्पैक्ट सेडान सेगमेंट में टाटा की एक प्रीमियम कार है.
कंपनी ने Tata Kite में भी उन्हीं दो इंजन का इस्तेमाल किया गया है जो इससे पहले कंपनी Tata Zica में कर रहे हैं. इसमें 1.05-लीटर डीजल और 1.2-लीटर पेट्रोल इंजन लगा होगा. KITE 5 सेडान में
5-स्पीड मैनुअल और ऑप्शनल ऑटोमेटेड
मैनुअल ट्रांसमिशन (AMT) से लैस है.
टाटा की इस
नई कार का मुकाबला बाजार
में होंडा की अमेज, मारूति सुजुकी की डिजायर, फोर्ड एस्पायर और जल्द आ रही Volkswagen Ameo से होगा. |
मोबाइल तो दिया पर बिजली नहीं: नरेंद्र मोदी | कोलकाता में जब
नरेंद्र मोदी
ने पार्टी कार्यकर्ताओं को संबोधित किया तो गुजरात की तारीफ तो की ही, साथ ही कांग्रेस पार्टी और केंद्र सरकार को जमकर लताड़ा. मोदी ने अपने भाषण में गुजरात को विकास का पैमाना बताया तो पार्टी कार्यकर्ताओं से देश को कांग्रेस मुक्त बनाने का आह्वान किया.
प्रधानमंत्री पद की महत्वाकांक्षा से जुड़े सवाल टाल गए मोदी
मोदी ने कहा कि अब गुजरात विकास का पैमाना बन चुका है.
नरेंद्र मोदी ने कहा, 'जिन लोगों को गुजरात पसंद है, वे कहते हैं कि देखो गुजरात ने कितना अच्छा काम किया है और जिन्हें गुजरात पसंद नहीं है, वे कहते हैं कि हमने गुजरात से बेहतर काम किया है. बात पसंद की हो या नापसंद की, पैमाना गुजरात ही रहता है.'
नरेंद्र मोदी ने की ममता को मोहने की कोशिश
उन्होंने कहा, 'देश की तमाम राजनीतिक गतिविधियों के मॉडल का अध्ययन जरूरी है. देश कांग्रेस, कम्युनिस्ट और क्षेत्रीय दलों का शासन देख चुका हैं. सबसे अच्छा शासन बीजेपी ने दिया है. '
दिग्विजय सिंह बोले, नरेंद्र मोदी हैं शादी-शुदा
अपने भाषण में मोदी ने कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी पर भी निशाना साधा. उन्होंने कहा, 'कांग्रेस के नेता कहते हैं कि हमने देश को मोबाइल दिया. पर उनसे यही सवाल है कि बिजली कौन देगा?'
कैलेंडर नहीं, घड़ी देख रही है UPA सरकार: मोदी
मोदी ने कार्यकर्ताओं की पीठ थपथपाते हुए कहा कि उनकी मेहनत बंगाल में भी रंग लाएगी.
इसके बाद मोदी ने भारत सरकार की एक रिपोर्ट का जिक्र करते हुए कहा कि इस रिपोर्ट के मुताबिक सबसे कम बेरोजगार गुजरात में हैं और सबसे ज्यादा उन राज्यों में, जहां कांग्रेस या कम्युनिस्टों की सरकार है.
मोदी ने कहा कि युवा पीढ़ी को प्रशिक्षित करना हमारा कर्तव्य है. मोदी ने बीजेपी की नीतियों की तारीफ करते हुए कहा कि बीजेपी ही देश का भला कर सकती है, बंगाल का भी.
कांग्रेस में पावर सेंटर की बात पर चुटकी लेते हुए मोदी ने कहा कि यह मेरी समझ से बाहर है. उन्होंने कहा कि पावर सेंटर तो बाद की बात है, कहीं पावर ही नजर नहीं आती. कांग्रेसी ही मनमोहन सिंह को नेता नहीं मानते.
यूपीए सरकार की योजनाओं पर उंगली उठाते हुए मोदी ने कहा कि यह सरकार जनता के पैसे को उड़ा रही है, निवेश कहीं नहीं हो रहा है. यदि निवेश नहीं होगा तो रोजगार कैसे मिलेंगे? मोदी ने कहा कि सरकार टैक्स का पैसा अपना वोट बैंक बनाने के लिए इस्तेमाल कर रही है, जो कि देश के साथ बहुत बड़ा धोखा है.
यूपीए सरकार पर निशाना साधते हुए मोदी ने कहा कि वे सूचना का अधिकार देने की बात करते हैं और पीएमओ ही इस अधिकार के तहत जानकारी देने से इनकार कर देता है. मोदी ने कहा, 'आज देश में न सरकार है और न ही शासन.'
यूपीए सरकार के दौरान हुए घोटालों पर मोदी ने कहा कि इस सरकार के लोग अपने 10 अच्छे काम नहीं गिना सकते, लेकिन उनके घोटाले बड़े आराम से गिने जा सकते हैं. कॉमनवेल्थ गेम्स में अरबों-खरबों का घोटाला हुआ. दिल्ली और केंद्र में कांग्रेस की सरकार होने के बावजूद सरकार ने इसका कोई दायित्व नहीं लिया. इस घोटाले के कारण दुनिया के सामने देश की नाक कट गई.
बीजेपी कार्यकर्ताओं का उत्साह बढ़ाते हुए मोदी ने कहा कि देश को कांग्रेस से मुक्त कराना है. इसके लिए हमें कोई रोक नहीं सकता. यदि किसी ने रोकने की कोशिश की तो हम और ज्यादा ताकत से आगे बढ़ेंगे. |
शराब के लिए पैसे मांगने पर दोस्तों में झगड़ा, एक दोस्त का कत्ल | दिल्ली में मामूली सी बात पर शुरू हुआ झगड़ा एक शख्स के कत्ल तक पहुंच गया. वारदात नॉर्थ ईस्ट दिल्ली के चौथे पुश्ते की है. मंगलवार की सुबह 9 बजे पुलिस को फोन करके किसी ने बताया कि चौथे पुश्ते पर एक लड़के की गोली मार कर हत्या कर दी गई है. पुलिस की टीम जब मौके पर पहुंची तो देखा कि 22 साल के लड़के की डेड बॉडी पड़ी हुई है, पास में गोली के खोखे भी थे. गोली सर में और पेट में मारी गई थी.
मरने वाले की पहचान रोहित के रूप में हुई. रोहित के घरवालों से पूछताछ में पता चला कि रोहित मंगलवार की सुबह अपने दोस्त हरीश के साथ शराब पीने के लिए घर से निकला था. पुलिस ने फिर हरीश को हिरासत में लेकर पूछताछ की तो हरीश ने बताया कि वो दोनों सुबह के वक्त नाला रोड पर शराब पी रहे थे, तभी उधर से इनका पुराना दोस्त रवि सोलंकी
बाइक पर
जा रहा था, रोहित ने उसे रुकने के लिए कहा. रवि ने बाइक रोक दी. इसके बाद रोहित और हरीश उससे शराब के लिए रुपए मांगने लगे, रवि ने रुपए देने से मना कर दिया.
रवि से ना सुनकर रोहित जोकि पहले से ही नशे में था गुस्से में आ गया और हरीश के साथ मिलकर रवि की पिटाई करने लगा. तभी रवि ने पिस्टल निकाली और रोहित को दो गोली मार दी. एक गोली रोहित के सर में लगी और दूसरी उसके पेट में. रोहित वहीं गिर पड़ा. इसके तुरंत बाद हरीश मौके से भाग निकला.
पुलिस की तफ्तीश
में पता लगा है कि मरने वाला रोहित तीन साल पहले तक आरोपी रवि और हरीश साथ काम करता था. इनका काम लूटपाट और झपटमारी का था. इन पर दो से ज्यादा मामले भी दर्ज हैं, लेकिन दो साल पहले रवि ने इन सबका साथ छोड़ दिया और उसने अपना फाइनेंस का काम शुरु कर दिया. पुलिस के मुताबिक रवि अब सुधर गया था और वो अपना अतीत भी भूल गया था, लेकिन पुलिस के पास इस बात का जवाब नहीं था कि जब रवि सुधर गया था तो वो अवैध पिस्टल लेकर क्यों चलता था. पुलिस अब ये पता लगा रही है कि रवि ने जिस अवैध पिस्टल का इस कत्ल में इस्तेमाल किया वो उसने कहां से खरीदी थी. |
इंडियन सिक्योरिटी प्रेस में वैकेंसी | इंडियन सिक्योरिटी प्रेस में कई पदों पर
वैकेंसी निकली है.
इच्छुक उम्म्मीदवार 1 जून 2015 तक
आवेदन कर सकते हैं.
पदों का विवरण:
सुपरवाजर टेक्निकल ऑपरेशन : 26 पद
पे स्केल: 12300-25400/-
जूनियर ऑफिस असिस्टेंट: 20 पद
पे स्केल: 5200-20200/-
उम्र सीमा:
28 से 30 साल
ज्यादा जानकारी के लिए
यहां क्लिक करें. |
यूपी: 20 साल की लड़की ने 2 साल की बच्ची को जिंदा जलाया | उत्तर प्रदेश के मैनपुरी से एक दिल दहला देने वाली खबर है. यहां एक एक लड़की ने एक दो साल की मासूम बच्ची को सिर्फ इसलिए जिंदा जला दिया कि बच्ची की मां ने युवती पर चोरी का इल्जाम लगाया था. इलाज के दौरान अस्पताल में जहां बच्ची की मौत हो गई है, वहीं पांच साल की मासूम बच्ची इस घटना की चश्मदीद बनी है. पुलिस ने आरोपी युवती सहित दो लोगों के खिलाफ मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है.
घटना थाना विछवां इलाके के भोजपुर गांव की है. बताया जाता है कि यहां के अहिवरन सिंह की दो वर्षीय बेटी दीक्षा 23 जुलाई को घर के निकट छोटे बच्चों के साथ खेल रही थी. इस दौरान घर में कोई बड़ा मौजूद नहीं था. ऐसे में मौका पाकर उसी समय गांव की रहने वाली 20 वर्षीय युवती बेबी उर्फ शैली बाल्टी में एक गिलास मिटटी का तेल लेकर अहिवरन सिंह के घर पहुंच गई. देखते ही देखते उसने दीक्षा के ऊपर मिटटी का तेल उड़ेल दिया और फिर मासूम को
आग के हवाले कर दिया
.
घटना के बाद हंगामा हुआ तो आनन-फानन में
गंभीर रूप से घायल
बच्ची को जिला अस्पताल ले जाया गया, लेकिन डॉक्टरों ने उसे मिनी पीजीआई सैफई रेफर कर दिया. जिंदगी और मौत के बीच झूल रही मासूम दीक्षा की इलाज के दौरान मौत हो गई, वहीं उसकी एक पांच साल की दोस्त घटना की चश्मदीद बनी है. खासबात यह है कि चश्मदीद बनी बच्ची शबनम आरोपी युवती के परिवार की ही है.
युवती पर लगाया था चोरी का इल्जाम
बताया जाता है कि इस वारदात के पीछे बदले की भावना थी. असल में कुछ समय पहले दीक्षा की मां अनिता ने आरोपी युवती पर कुंडल चुरा लेने का आरोप लगाया था. अनिता के मुताबिक, शैली ने कुंडल चुराकर एक सुनार के यहां 6000 रुपये में गिरवी रख दिए.
मामले का खुलासा
होने बाद पंचायत बैठी. पंचायत में युवती से 6000 रुपये वापस दिलाए गए, जिसके बाद से ही शैली बदला लेने की सोच रही थी. हालांकि, इसके लिए वह इस हद तक गिर जाएगी, इसका अंदाजा किसी को नहीं था.
मैनपुरी के एसपी उदयशंकर जायसवाल ने कहा, 'यह बहुत ही अमानवीय घटना है. बीते 23 तारीख को मासूम को
जला दिया
गया. जलाने वाली लड़की इंटर पास है. आरोपियों को जल्द ही गिरफ्तार कर लिया जाएगा.' |
दुनिया के पहले 3 रियर कैमरे वाले स्मार्टफोन पर मिलेगी 10 हजार की छूट | ई-कॉमर्स कंपनी अमेजन ने पहले से ही घोषणा कर दी है कि वो 10 अक्टूबर से ग्रेट इंडियन फेस्टिवल का आयोजन करेगी. ये पांच दिवसीय सेल 15 अक्टूबर तक जारी रहेगी. इस दिवाली सेल के दौरान कंपनी ढेरों स्मार्टफोन्स पर दमदार डिस्काउंट और आकर्षक
ऑफर
उपलब्ध कराएगी.
अमेजन ने एक टीजर जारी कर जानकारी दी है कि सेल के दौरान OnePlus 6 पर फ्लैट 4,000 रुपये का डिस्काउंट दिया जाएगा. अब कंपनी ने Huawei P20 Pro के संदर्भ में कुछ जानकारी साझा की है. कंपनी की वेबसाइट पर एक बैनर दिखाई दे रहा है जिस पर जानकारी दी गई है कि सेल के दौरान दुनिया के पहले ट्रिपल रियर कैमरे वाले स्मार्टफोन पर कम से कम 10 हजार रुपये का डिस्काउंट दिया जाएगा.
इस स्मार्टफोन को इस साल
अप्रैल
में लॉन्च किया गया था. फिलहाल अमेजन पर इसे 69,999 रुपये की जगह 64,999 रुपये में उपलब्ध कराया गया है. इसके अलावा ये भी उम्मीद है कि अमेजन फ्लैट डिस्काउंट के अलावा एक्सचेंज ऑफर या नो-कॉस्ट EMI का भी ऑफर दे सकता है.
Huawei P20 Pro के स्पेसिफिकेशन्स
P20 Pro डुअल सिम स्मार्टफोन है जो एंड्रॉयड 8.1 ओरियो बेस्ड EMUI 8.1 पर चलता है. ये गूगल ARCore और बेहतर तरीके से कस्टमाइडज्ड गूगल असिस्टेंट को भी सपोर्ट करता है.
इस स्मार्टफोन में 360 डिग्री फेस अनलॉक फीचर दिया गया है, जो कंपनी के दावे के मुताबिक महज 0.6 सेकेंड में ही स्मार्टफोन्स को अनलॉक कर देगा. इस स्मार्टफोन में हुवावे Share 2.0, हुवावे फोन क्लोन ऐप, हुवावे हेल्थ ऐप और हुवावे PC मोड जैसे फीचर्स दिए गए हैं. इसमें Dolby Atmos और Dolby AC-4 ऑडियो के साथ स्टीरियो स्पीकर्स भी दिए गए हैं.
P20 Pro में 6.1-इंच फुल-HD+ (1080x2240 पिक्सल) OLED डिस्प्ले दिया गया है. P20 Pro को डस्ट और वाटर रेसिस्टेंस के लिए IP67 रेटिंग दी गई है और इसकी बैटरी 4000mAh की है. ये स्मार्टफोन सुपरचार्ज फास्ट चार्जिंग को सपोर्ट करता है.
इसके बैक में दिए गए ट्रिपल कैमरों ने लोगों का सबसे ज्यादा ध्यान बटोरा था. इसका टॉप मोस्ट
कैमरा
एक टेलीफोटो लेंस वाला है. जोकि 8 मेगापिक्सल का है और इसमें 3x ऑप्टिकल
जूम
दिया गया है. दूसरा कैमरा 40 मेगापिक्सल (RGB) का है और तीसरा कैमरा 20 मेगापिक्सल (मोनोक्रोम) का है.
इन कैमरों में ISO 102400 तक लाइट सेंसिटिविटी दी गई है. जोकि कंपनी के दावे के मुताबिक बिल्कुल Canon 5D Mark IV DSLR कैमरे की तरह ही है. कंपनी ने जानाकारी दी है कि इसकी लो-लाइट परफॉर्मेंस P20 से भी अच्छी है. कंपनी का दावा है कि इस स्मार्टफोन में सबसे पावरफुल जूम है, इसमें 5x लॉसलेस हाइब्रिड जूम और 10x डिजिटल जूम दिया गया है. ये स्मार्टफोन 960fps सुपर स्लो मोशन वीडियो रिकॉर्डिंग को सपोर्ट करता है. साथ ही इसमें फोटोग्राफी को बेहतर बनाने के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस सपोर्ट भी मौजूद है. |
विवादास्पद प्रावधानों वाले गुजरात श्रमिक कानून को मिली राष्ट्रपति की मंजूरी | नए प्रावधानों और कुछ विवादास्पद नियमों के साथ गुजरात के श्रम सुधार विधेयक को राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी की मंजूरी मिल गई है. राष्ट्रपति ने श्रम कानून (गुजरात संशोधन) विधेयक 2015 को अपनी मंजूरी दे दी है, जिसमें अपराधों के समझौते का उल्लेख है.
इसके तहत औद्योगिक कर्मचारी बिना अदालत गए अपने नियोक्ता के साथ सुलह कर सकते हैं. विधेयक ने विभिन्न
श्रमिक कानूनों
में कुल 14 संशोधनों की पेशकश की है. गुजरात सरकार के संसदीय सचिव सीजे गोठी ने बुधवार को कहा, 'हमें श्रमिक कानून (गुजरात संशोधन) विधेयक 2015 के लिए राष्ट्रपति की संस्तुति मिल गई है. संस्तुति सितंबर में मिली थी, लेकिन इसे लागू करने के लिए हमने गजट में इसे अधिसूचित नहीं किया है. विधेयक में प्रावधान है कि दोनों पक्ष (श्रमिक और उद्योग) अपराध का समझौता के जरिए अपने विवादों का समाधान कर सकते हैं.
अपराध का समझौता के नए तंत्र के तहत कामगार बिना अदालत गए नियोक्ता के साथ समझौता कर सकते हैं. इसके लिए सरकार जुर्माने के तौर पर नियोक्ता से 21,000 रुपये तक वसूल कर सकेगी और 75 फीसदी जुर्माने की राशि प्रभावित कर्मचारी या कर्मचारियों को दे सकेगी.
-इनपुट भाषा से |
'सुल्तान' में खेतों में ट्रैक्टर चलाते नजर आएंगे सलमान खान | इस ईद भाईजान के फैन अपने सुपारस्टार को 'सुल्तान' के अवतार में देखने के लिए बेकरार हैं. ईद पर रिलीज होने जा रही सलमान खान की फिल्म 'सुल्तान' की शूटिंग का आज आखिरी दिन(10 मई) है.
इस फिल्म के डायरेक्टर अली अब्बास जफर ने शूट के आखिरी दिन के सेट से
सलमान
की शानदार तस्वीर शेयर की है. इस तस्वीर में सलमान खान खेतों में ट्रैक्टर दौड़ाते हुए नजर आ रहे हैं. अली अब्बास ने
सलमान
की इस तस्वीर को शेयर करते हुए लिखा है, 'सुल्तान के आखिरी दिन के शूट के साथ शुरू हुई सुबह की खेती. आ रही है ईद.'
Last day of
@SultanTheMovie
shoot begins with some early morning farming
@BeingSalmanKhan
.Eid is coming
#JonSnow
😉
pic.twitter.com/11F19X3OEx
— ali abbas zafar (@aliabbaszafar)
May 10, 2016
सिर्फ
सलमान
ही नहीं बल्कि इस फिल्म में सलमान की लेडी लव का किरदार अदा कर रहीं
अनुष्का शर्मा भी ट्रैक्टर की सवारी
करती नजर आएंगी. फिल्म में अनुष्का आरफा नाम की रेस्लर के किरदार में नजर आएंगी.
Half n hour of driving lessons and
@AnushkaSharma
#aarfa
@SultanTheMovie
takes off on the tractor..
pic.twitter.com/T06Y1ePcGj
— ali abbas zafar (@aliabbaszafar)
May 7, 2016 |
भारत ने PAK को दिया कड़ा संदेश- हुर्रियत से बात की, तो रद्द हो सकती है वार्ता! | क्या भारत और पाकिस्तान के बीच 23 अगस्त को होने वाली NSA स्तर की बातचीत खटाई में पड़ सकती है? यह सवाल इसलिए उठ रहा है, क्योंकि वार्ता से पहले भारत सरकार ने पाकिस्तान और हुर्रियत नेताओं को सख्त संदेश दिए हैं.
सूत्रों के मुताबिक, भारत सरकार ने यह साफ कर दिया है कि अगर हुर्रियत से बातचीत जारी रखी गई, तो NSA स्तर की मीटिंग खटाई में पड़ सकती है. गृह मंत्रालय लगातर अलगाववादियों पर नजर बनाए हुए है.
नजरबंद करने के बाद छोड़े गए हुर्रियत नेता
दिल्ली में पाकिस्तान के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार सरताज अजीज के साथ बैठक से पहले हुर्रियत नेताओं को जम्म-कश्मीर में उनके घरों में नजरबंद करने के कुछ घंटे बाद छोड़ दिया गया. जम्मू-कश्मीर लिबरेशन फ्रंट (JKLF) के प्रमुख यासीन मलिक को भी गिरफ्तारी के बाद रिहा कर दिया गया.
Shame on Mufti Syed for arresting on demand. He had no business following his masters orders & detaining the Hurriyat leaders like this.
— Omar Abdullah (@abdullah_omar)
August 20, 2015
यासीन मलिक को गिरफ्तार करके कोठीबाग पुलिस स्टेशन ले जाया गया. पाकिस्तान का झंडा फहराने वाली अलगाववादी आसिया अंद्राबी के घर पर भी छापेमारी हुई. जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने ट्वीट करके हुर्रियत नेताओं को नजरबंद करने के लिए मुख्यमंत्री मुफ्ती मोहम्मद सईद की आलोचना की है. पाकिस्तानी उच्चायोग ने 23 अगस्त को हुर्रियत नेताओं को बातचीत के लिए दिल्ली बुलाया है.
पाकिस्तान ने चली पुरानी चाल
दरअसल
पाकिस्तान
ने राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (NSA) स्तर की वार्ता को पटरी से उतारने के लिए एक बार फिर अलगाववादियों को बातचीत के लिए न्योता दिया. इस आमंत्रण को हुर्रियत नेताओं ने स्वीकार भी कर लिया. पाकिस्तान के इस प्रस्ताव के बाद अलगाववादी नेता मीरवाइज उमर फारूक ने बुधवार सुबह श्रीनगर में आपात बैठक बुलाई थी और APHC चेयरमैन फारूक ने हुर्रियत कांफ्रेंस की एग्जीक्यूटिव काउंसिल की बैठक बुलाई, जिसमें पाकिस्तानी उच्चायोग के न्योते को स्वीकार कर लिया.
सरताज अजीज से मुलाकात का न्योता
गौरतलब है कि 23 अगस्त को भारत के एनएसए अजित डोभाल और उनके पाकिस्तानी समकक्ष सरताज अजीज के बीच दिल्ली में आधिकारिक बैठक होनी है. सूत्रों के मुताबिक, कश्मीर के शीर्ष अलगाववादी नेताओं को इसी दिन सरताज अजीज से मुलाकात का न्योता भेजा गया था. मीरवाइज उमर फारूक के पास पाक उच्चायोग का लिखित न्योता है. उनके अलावा सैयद अली शाह गिलानी और यासीन मलिक को भी सरताज अजीज से मिलने के लिए बुलाया गया. |